विद्युत मंत्रालय

ऊर्जा प्रमुखों की 12वीं बैठक में भारत और यूके ने औद्योगिक ऊर्जा दक्षता को प्रोत्साहन के लिये नई कार्य-प्रक्रियाओं की शुरुआत की


कम कार्बन उत्सर्जन वाले औद्योगिक साजो-सामान की मांग बढ़ाने और हरित प्रौद्योगिकियों को लागू करने का सरकार का लक्ष्य

Posted On: 03 JUN 2021 12:47PM by PIB Delhi

भारत ने यूनाइटेड किंगडम (यूके) के साथ मिलकर नई कार्य-प्रक्रियाओं की शुरुआत की है। ये कार्य-प्रक्रियायें साफ ऊर्जा सम्बंधी पहलों के तहत औद्योगिक ऊर्जा दक्षता को प्रोत्साहन देने के लिये शुरू की गई हैं। उल्लेखनीय है कि ऊर्जा प्रमुखों की 12वीं बैठक क्लीन एनर्जी मिनिस्टेरियल (सीईएम) – इंडस्ट्रियल डीप डीकार्बनाइजेशन इनीशियेटिव (आईडीडीआई) 31 मई से नई दिल्ली में चल रही है और छह जून, 2021 तक चलेगी। इसका आयोजन यूनाइटेड नेशन्स इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट ऑर्गनाईजेशन (यूनीडू) के सौजन्य से हो रहा है।

आईडीडीआई की पहलों को जर्मनी और कनाडा का समर्थन प्राप्त है और आशा है कि कई अन्य देश भी जल्द इससे जुड़ जायेंगे। इसका उद्देश्य हरित प्रौद्योगिकियों को लागू करना और कम कार्बन उत्सर्जन करने वाले औद्योगिक साजो-सामान की मांग बढ़ाना है।

बिजली मंत्रालय के सचिव श्री आलोक कुमार ने कहा कि भारत 2030 तक सकल घरेलू उत्पाद की प्रति इकाई के हिसाब से उत्सर्जन सघनता को 33 से 35 प्रतिशत तक कम करने के लिये प्रतिबद्ध है।

यह संकल्प लौह व इस्पात, सीमेंट और पेट्रो-रसायन जैसे ऊर्जा आधारित क्षेत्रों में कम कार्बन उत्सर्जन वाली प्रौद्योगिकियों के कारगर विकास द्वारा पूरा किया जायेगा। श्री आलोक कुमार ने बताया कि सरकारी नीतियों के कारण मांग के मद्देनजर ऊर्जा में जबरदस्त बचत दर्ज की गई है।

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एमजी/एएम/एकेपी/एसएस


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