उप राष्ट्रपति सचिवालय

उपराष्ट्रपति ने देश में खेल संस्कृति को पुनर्जीवित करने का आह्वान किया


असाधारण खिलाड़ी उत्कृष्ट नेता भी बन सकते हैं: उपराष्ट्रपति

उपराष्ट्रपति ने युवा खेल प्रतिभाओं की पहचान करने के लिए प्रभावी प्रतिभा निगरानी प्रणाली का आह्वान किया

देश में विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में खेल के बुनियादी ढांचे को बेहतर बनाने की आवश्यकता है: उपराष्ट्रपति

अधिक कुशल भारतीय कोचों के बड़े पूल का निर्माण करना चाहिए: उपराष्ट्रपति

खेल प्रबंधन में पाठ्यक्रम की पेशकश करने के लिए अधिक शैक्षणिक संस्थानों से आग्रह

देश में प्रतिभा की कोई कमी नहीं है; हमें मजबूत सपोर्ट सिस्टम की जरूरत है: उपराष्ट्रपति

पंजाब विश्वविद्यालय को वर्ष 2020 के लिए मौलाना अबुल कलाम आज़ाद ट्रॉफी जीतने पर बधाई दी

Posted On: 11 SEP 2020 1:59PM by PIB Delhi

उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू ने भारत में खेल संस्कृति को पुनर्जीवित करने का आह्वान किया है। उन्होंने कहा कि लोगों को तनाव मुक्त जीवन और अच्छे स्वास्थ्य के लिए खेल, योग या फिर किसी अन्य शारीरिक गतिविधि को अपनी दिनचर्या का अभिन्न अंग बनाना चाहिए।

श्री नायडू पंजाब विश्वविद्यालय को वर्ष 2020 के लिए लगातार दूसरी बार खेलों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने के लिए प्रतिष्ठित मौलाना अबुल कलाम आज़ाद ट्रॉफी जीतने पर बधाई भाषण दे रहे थे। उन्होंने स्कूलों और अन्य शैक्षणिक संस्थानों को सक्रिय रूप से खेलों को और अधिक बढ़ावा देने पर ज़ोर दिया।

श्री नायडू ने पंजाब विश्वविद्यालय के अधिकारियों को इस ट्रॉफी के लिए संक्षिप्त नाम के उपयोग नहीं करने की हिदायत दी, बल्कि उन्हें हमेशा इसे मौलाना अबुल कलाम आज़ाद ट्रॉफी के रूप में उल्लेख करने की सलाह दी।

उन्होंने कहा कि छात्रों को अपना आधा समय कक्षाओं में और शेष आधा वक़्त मैदान में बिताना चाहिए। श्री नायडू ने कहा कि मैदान से उनका तात्पर्य खेल मैदान, कृषि क्षेत्र और सामाजिक क्षेत्र से है।

यह देखते हुए कि खेलों में उत्कृष्टता अथक परिश्रम, योजना और दृढ़ संकल्प से आएगी, उपराष्ट्रपति ने शैक्षणिक प्रतिभा के साथ-साथ खेल उत्कृष्टता प्राप्त करने के लिए पंजाब विश्वविद्यालय के प्रशिक्षकों, प्रबंधन, कर्मचारियों और छात्रों की काफी सराहना की।

देश में, खासकर युवाओं में जीवनशैली से सम्बंधित बीमारियों की बढ़ती घटनाओं पर चिंता व्यक्त करते हुए, उपराष्ट्रपति ने कहा कि हमारे युवाओं को अस्वास्थ्यकर आहार और आरामतलब जीवनशैली के खतरों से अवगत कराना सर्वाधिक महत्वपूर्ण है।

श्री नायडू ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा शुरू किए गए "फिट इंडिया अभियान" की सराहना की और कहा कि यह निश्चित रूप से लोगों को फिट और स्वस्थ रहने के लिए प्रोत्साहित करेगा।

श्री नायडू ने कहा कि खेल और खेल संबंधी अन्य गतिविधियां हमारे जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं और ये हमारी शारीरिक फिटनेस में सुधार करती हैं। उन्होंने कहा कि खेल हमारी संज्ञानात्मक क्षमताओं में सुधार करता है और समूहिक खेल हमारे सामाजिक कौशल को बढ़ाते हैं। उपराष्ट्रपति ने कहा कि खेल एकरूपता का दृष्टिकोण विकसित करने में मदद करता है। उन्होंने कहा कि यह संतुलन बिना किसी कटुता, कुंठित इच्छा या कुत्सित भावना के असफलताओं और बाधाओं को स्वीकार करने के लिए आवश्यक है।

श्री नायडू ने कम उम्र से ही खेल प्रतिभाओं की पहचान करने की आवश्यकता पर भी बल दिया। साथ ही उन्होंने इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए एक प्रभावी और व्यापक प्रतिभा निगरानी और स्काउटिंग प्रणाली की व्यवस्था का आह्वान किया।

देश में विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में, खेल के बुनियादी ढांचे को बेहतर करने की आवश्यकता पर ज़ोर देते हुए, श्री नायडू ने देश में ही प्रशिक्षित उच्च कुशल भारतीय कोचों का पूल बनाने आह्वान किया। उन्होंने कहा कि कोच काफी महत्वपूर्ण ज़िम्मेदारी निभाते हैं।

उपराष्ट्रपति ने कॉलेजों और विश्वविद्यालयों से खेल प्रबंधन में अधिक संख्या में डिग्री और डिप्लोमा प्रदान करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों का प्रदर्शन अधिक बेहतर करने के लिए कुशल खेल चिकित्सा विशेषज्ञों और पेशेवरों का एक संगठन बनाना चाहिए।

श्री नायडू ने उन क्षेत्रों में अधिक संसाधनों के निवेश के महत्व को रेखांकित किया जिनमें भारत को प्रतिस्पर्धात्मक लाभ है। खिलाड़ियों को राष्ट्रीय गौरव के रूप में करार देते हुए, उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि परिश्रम के साथ, भारत अंतर्राष्ट्रीय खेल आयोजनों में कई और पुरस्कार जीतकर आगे बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि हमारे देश में प्रतिभा की कोई कमी नहीं है और इसके लिए हमें मजबूत समर्थन प्रणाली की जरूरत है।

इस अवसर पर पंजाब विश्वविद्यालय के कुलपति श्री राज कुमार और खेल निदेशक, कोच तथा पुरस्कार विजेता उपस्थित थे।

***

एमजी/एएम/एनकेएस/एसके



(Release ID: 1653421) Visitor Counter : 199