सामाजिक न्‍याय एवं अधिकारिता मंत्रालय

24X7 टोल-फ्री मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास हेल्पलाइन किरण (1800-599-0019) का 13 भाषाओं में शुभारंभ

Posted On: 08 SEP 2020 1:36PM by PIB Delhi

सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय के डीईपीडब्ल्यूडी विभाग द्वारा एक 24X7 टोल-फ्री मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास हेल्पलाइन किरण (1800-599-0019) का 13 भाषाओं में शुभारंभ किया गया। इस हेल्पलाइन का उद्देश्य विशेष रूप से कोविड-19 महामारी के मद्देनजर मानसिक रोगों की बढ़ती हुए संख्या को देखते हुए मानसिक रोग से पीड़ित लोगों को राहत और सहायता प्रदान करना है। केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री श्री थावरचंद गहलोत ने कल वेबकास्ट के माध्यम से हेल्पलाइन पर इसका पोस्टर, विवरणिका और संसाधन पुस्तक का उद्घाटन किया।

इस हेल्पलाइन को भारत के किसी भी हिस्से से किसी भी दूरसंचार नेटवर्क के किसी भी मोबाइल या लैंड लाइन फोन से टोल फ्री नंबर 1800-599-0019 पर डॉयल करके उपयोग में लाया जा सकता है: स्वागत संदेश के बाद, सही बटन दबाकर भाषा का चयन करें; भाषा के चयन के बाद, राज्य/केंद्र शासित प्रदेश का चयन करें, इसके बाद आप मूल या इच्छित राज्य के हेल्पलाइन केंद्र से जुड़ जाएंगे, मानसिक स्वास्थ्य विशेषज्ञ आपकी समस्या का समाधान करने या बाहरी मदद (नैदानिक ​​मनोवैज्ञानिक/पुनर्वास मनोवैज्ञानिक/मनोचिकित्सक) से जोड़ने या संदर्भित करने में आपकी मदद करेंगे।

टोल फ्री हेल्पलाइन बीएसएनएल के तकनीकी सहयोग से सप्ताह को सातों दिन 24 घंटे काम करेगी। इस हेल्पलाइन में 8 राष्ट्रीय संस्थानों सहित 25 संस्थान शामिल हैं। इसे 660 क्लीनिकल / पुनर्वास मनोवैज्ञानिकों और 668 मनोरोग चिकित्सकों का भी सहयोग मिलेगा। हेल्पलाइन में शामिल 13 भाषाएं हैं : हिन्दी, असमी, तमिल, मराठी, उड़िया, तेलुगु, मलयालम, गुजराती, पंजाबी, कन्नड़, बांगला, ऊर्दू एवं अंग्रेजी।

मनोरोग किसी भी व्यक्ति की भावनात्मक मानसिक स्थिति और सामाजिक कल्याण को प्रभावित कर सकता है। इसके लिए मदद लेना एक सकारात्मक कदम है जिससे स्वास्थ्य कल्याण और खुशहाली बढ़ती है। हेल्पलाइन शुरुआत में स्क्रिनिंग प्राथमिक चिकित्सा मनोविज्ञान संबंधी सहायता, संकट प्रबंधन, मानसिक भलाई, सकारात्मक व्यवहारों को बढ़ावा देना, मनोवैज्ञानिक संकट प्रबंधन आदि के उद्देश्य से मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास सेवा प्रदान करने की पेशकश करती है। इसका उद्देश्य ऐसे लोगों की मदद करना है जो तनाव, चिंता, अवसाद, पैनिक अटैक, तालमेल बैठाने संबंधी विकारों, पोस्ट-ट्रॉमेटिक स्ट्रेस डिसऑर्डर, मादक द्रव्यों के सेवन, आत्महत्या के विचारों, महामारी से प्रेरित मनोवैज्ञानिक मुद्दों और मानसिक स्वास्थ्य आपात स्थितियों का सामना कर रहे हैं। यह देश भर में किसी भी व्यक्ति, गैर-सरकारी संगठनों, माता-पिता के संघों, पेशेवर संगठनों, पुनर्वास संस्थानों, अस्पतालों या किसी को भी सहायता के लिए पहले चरण की सलाह प्रदान करने के लिए जीवन रेखा के रूप में कार्य करेगी।

इस हेल्‍पलाइन के उद्देश्‍यों में शीघ्र जांच (स्‍क्रीनिंग) सुनिश्चित करनाप्राथमिक चिकित्‍सा, मनोवैज्ञानिक मदद, भारी तनाव को नियंत्रण में करना, मानसिक खुशहाली सुनिश्चित करना, असामान्‍य व्‍यवहार की रोकथाम करना, मनोवैज्ञानिक तनाव में कमी लाना और मानसिक स्‍वास्‍थ्‍य विशेषज्ञों के पास भेजना शामिल हैं। यह हेल्पलाइन चिंता; आसक्त बाध्यकारी विकार (ओसीडी); आत्महत्या; अवसाद; पैनिक अटैक (तीव्र एवं निर्योग्यकारी चिंता) समायोजन विकार; अभिघातजन्य तनाव उपरांत विकार और मादक द्रव्यों के सेवन जैसी मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के समाधान के लिए समर्पित है। यह हेल्पलाइन उन लोगों के लिए काफी मददगार है जो भारी मानसिक तनाव; महामारी से जुड़ी मनोवैज्ञानिक समस्‍याओं और मानसिक स्वास्थ्य संबंधी आपातकालीन स्थितियों से गुजर रहे हों।

इस हेल्‍पलाइन के लिए चेन्‍नई स्थित राष्‍ट्रीय बहु-दिव्‍यांग सशक्तिकरण संस्‍थान (एनआईईपीएमडी) और सीहोर स्थित राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास संस्थान (एनआईएमएचआर) आवश्‍यक समन्‍वय कर रहे हैं। इंडियन एसोसिएशन ऑफ क्लिनिकल साइकोलॉजिस्ट (आईएसीपी), भारतीय मनोचिकित्सक संघ (आईपीए) और भारतीय मनोरोग सामाजिक कार्यकर्ता संघ (आईपीएसडब्‍ल्‍यूए) इस हेल्‍पलाइन के लिए प्रोफेशनल सहयोग उपलब्‍ध करा रहे हैं।

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