कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय

‘कोविड-19’ से उत्पन्न खतरे के मद्देनजर कंपनी अधिनियम, 2013 और उसके अंतर्गत बनाए गए नियमों के तहत कंपनियों द्वारा सामान्य एवं विशेष प्रस्तावों को पारित किए जाने पर स्पष्टीकरण

Posted On: 13 APR 2020 8:26PM by PIB Delhi

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग (वीसी) या अन्य श्रव्‍य दृश्‍य माध्यमों (ओएवीएम) के जरिए असाधारण सामान्य बैठकों (ईजीएम) के संचालन के संबंध में कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय (एमसीए) द्वारा 8 अप्रैल, 2020 को जारी किए गए पहले परिपत्र (सामान्य परिपत्र संख्या 14/2020) की निरंतरता को बरकरार रखते हुए एमसीए ने आज एक और परिपत्र (सामान्य परिपत्र संख्या 17/2020) जारी किया है। इसका उद्देश्‍य कोविड-19 से संबंधित लॉकडाउन और सामाजिक दूरी बनाए रखने की आवश्यकताओं के मद्देनजर केवल इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों का ही उपयोग करके इस तरह की बैठकों के लिए सदस्यों को नोटिस जारी करने के बारे में और भी अधिक स्पष्टता प्रदान करना है। इसका एक और उद्देश्‍य यह सुनिश्चित करना है कि संबंधित कंपनियां उन सदस्यों के ईमेल एड्रेस के पंजीकरण की सुविधा प्रदान करें, जिन्होंने अब तक ऐसा नहीं किया है। इसका एक अन्‍य उद्देश्‍य समाचार पत्रों में सार्वजनिक नोटिस देने के समय इस संबंध में समुचित जानकारी प्रदान करना है।

 

संबंधित कंपनियों द्वारा जारी किए जाने वाले सार्वजनिक नोटिस में यह निर्दिष्ट करने की भी आवश्यकता होगी कि वे सदस्य जिनके पास भौतिक या कागजी रूप में शेयर उपलब्‍ध हैं या जिन्होंने कंपनी में अपने ईमेल एड्रेस पंजीकृत नहीं किए हैं, वे रिमोट या दूरस्थ ई-वोटिंग के माध्यम से या बैठक के दौरान ई-वोटिंग प्रणाली के जरिए अपना वोट किस तरीके से डाल सकते हैं।

 

 छोटी कंपनियों यानी ऐसी कंपनियों, जिन्हें अपने सदस्यों को ई-वोटिंग की सुविधा प्रदान करने की आवश्यकता नहीं है, के लिए समान फ्रेमवर्क या रूपरेखा को भी इस परिपत्र में निर्दिष्ट किया गया है। दरअसल, डाक सेवाओं में आए व्यवधान के कारण ही इस प्रक्रिया की अनुमति दी जा रही है, क्‍योंकि डाक द्वारा नोटिस भेजना या प्राप्त करना मुश्किल हो गया है।

 

परिपत्र (सर्कुलर) में यह भी कहा गया है कि कुछ कंपनियां यदि कंपनी अधिनियम, 2013 / उसके अंतर्गत बनाए गए नियमों के लागू प्रावधानों के अनुसार केवल पोस्टल बैलट या डाक मतपत्र (किसी सामान्य बैठक के आयोजन के बिना ही) के माध्यम से संबंधित कामकाज का संचालन करना चाहती हैं, तो इस तरह के मामलों में इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों से मतदान के संबंध में कंपनी (प्रबंधन और प्रशासन) नियम, 2014 के संबंधित प्रावधान और एमसीए द्वारा जारी मौजूदा परिपत्र और पूर्व में दिनांक 08 अप्रैल, 2020 को जारी परिपत्र में ई-वोटिंग के लिए प्रदान की गई रूपरेखा यथोचित परिवर्तनों सहित लागू होगी।  

उपर्युक्‍त स्पष्टीकरणों से इन अप्रत्‍याशित परिस्थितियों में कंपनियों द्वारा अपने कामकाज के संचालन में काफी सुविधा होने की उम्मीद है। अधिक जानकारी के लिए सामान्‍य परिपत्र संख्‍या 17/2020, दिनांक 13 अप्रैल 2020, को उल्लिखित या संदर्भित किया जा सकता है जो एमसीए की वेबसाइट पर उपलब्ध है ; http://www.mca.gov.in/Ministry/pdf/Circular17_13042020.pdf

 

 

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एएम/आरआरएस- 6487                                                         



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