सहकारिता मंत्रालय
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केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह 3 मार्च को भारत मंडपम, नई दिल्ली में “डेयरी क्षेत्र में सस्टेनेबिलिटी और सर्कुलरिटी पर कार्यशाला” का उद्घाटन करेंगे


कार्यशाला में कई राज्यों में बायोगैस संयंत्रों की स्थापना के लिए समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए जाएंगे

डेयरी क्षेत्र में सस्टेनेबिलिटी, कुशलता और संसाधनों के सर्कुलरिटी से प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के ‘सहकार से समृद्धि’ के दृष्टिकोण को साकार किया जा सकेगा

कार्यशाला में सर्कुलर डेयरी प्रथाओं के विस्तार पर चर्चा की जाएगी तथा डेयरी फार्मिंग को अधिक कुशल बनाने में उन्नत प्रौद्योगिकी की भूमिका पर प्रकाश डाला जाएगा

Posted On: 02 MAR 2025 7:29PM by PIB Delhi

केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह 3 मार्च 2025 को भारत मंडपम, नई दिल्ली में "डेयरी क्षेत्र में सस्टेनेबिलिटी और सर्कुलरिटी पर कार्यशाला" का उद्घाटन करेंगे। कार्यशाला में सहकारिता मंत्रालय और मत्स्य पालन, पशुपालन और  डेयरी मंत्रालय की नीतियों और पहलों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा, जिसका उद्देश्य डेयरी फार्मिंग में संधारणीयता के साथ आर्थिक विकास सुनिश्चित करते हुए पर्यावरण की सुरक्षा सुनिश्चित करना है। सर्कुलरिटी एक आर्थिक अवधारणा है जिससे संसाधनों, उत्पादों और सामग्रियों के पुनः उपयोग, पुनर्जनन, और पुनर्चक्रण पर ध्यान दिया जाता है जिससे की उपलब्ध संसाधनों का पर्यावरण अनुकूल सर्वोत्तम इस्तेमाल हो सके ।

कार्यशाला में कई राज्यों में बायोगैस संयंत्रों की स्थापना के लिए समझौता ज्ञापनों (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए जाएंगे, डेयरी फार्मिंग में पर्यावरण के प्रति जिम्मेदार प्रथाओं को बढ़ावा देने के उद्देश्य से व्यापक दिशा-निर्देश जारी किए जाएंगे और राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (NDDB) एवं नाबार्ड की बड़े पैमाने पर बायोगैस/सीबीजी परियोजनाओं और सस्टेन प्लस (sustain plus) परियोजना के तहत नई वित्तपोषण पहल की जाएगी। कार्यशाला में टिकाऊ खाद प्रबंधन मॉडल पर तकनीकी सत्र होंगे जो डेयरी अपशिष्ट को बायोगैस, कंप्रेस्ड बायोगैस (सीबीजी) और जैविक उर्वरकों में परिवर्तित करते हैं।

राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (NDDB), उद्योग और वैश्विक संगठनों के विशेषज्ञ सर्कुलरिटी प्रेरित डेयरी प्रथाओं का विस्तार करने, वित्तपोषण विकल्प तलाशने, कार्बन क्रेडिट अवसरों का फायदा उठाने और अपशिष्ट से ऊर्जा समाधान का पता लगाने के तरीकों पर चर्चा करेंगे और डेयरी फार्मिंग को और अधिक कुशल बनाने में उन्नत प्रौद्योगिकी की भूमिका पर प्रकाश डालेंगे। डेयरी क्षेत्र में सस्टेनेबिलिटी और सर्कुलरिटी के साथ-साथ बढ़ी हुई दक्षता से प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के ‘सहकार से समृद्धि’ के सपने को साकार किया जा सकेगा।

कार्यशाला का आयोजन भारत सरकार के पशुपालन एवं डेयरी विभाग (DAHD) द्वारा राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (NDDB) के सहयोग से किया जा रहा है। इस कार्यक्रम में केंद्रीय मत्स्यपालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री श्री राजीव रंजन सिंह उर्फ ​​ललन सिंह, केंद्रीय राज्य मंत्री, मत्स्य पालन, पशुपालन और  डेयरी   मंत्रालय ,  प्रोफेसर एस. पी.सिंह बघेल एवं श्री जॉर्ज कुरियन,  श्रीमती अलका उपाध्याय DAHD के सचिव, और नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा, वन एवं जलवायु परिवर्तन, पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस, रसायन एवं उर्वरक, जल शक्ति जैसे मंत्रालयों के वरिष्ठ अधिकारी सहित प्रमुख गणमान्य व्यक्ति शामिल होंगे।

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