स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय
असाध्य रोगों के लिए राष्ट्रीय नीति का विवरण
केंद्रीय तकनीकी समिति की सिफारिश पर असाध्य रोगों के लिए राष्ट्रीय नीति के अंतर्गत 63 असाध्य रोगों को शामिल किया गया
असाध्य रोगों के लिए अधिसूचित उत्कृष्टता केंद्रों में उपचार के लिए प्रति रोगी 50 लाख रुपये तक की वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है
असाध्य रोगों के लिए राष्ट्रीय नीति के तहत कुल 1,118 रोगी लाभान्वित हुए
Posted On:
09 AUG 2024 1:16PM by PIB Delhi
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने मार्च 2021 में असाध्य रोगों के लिए राष्ट्रीय नीति (एनपीआरडी) का शुभारंभ किया। एनपीआरडी, 2021 की प्रमुख विशेषताएं इस प्रकार हैं:
● असाध्य रोगों की पहचान की गई है और उन्हें नीचे दिए 3 समूहों में वर्गीकृत किया गया है:
समूह 1: एक बार के उपचारात्मक उपचार से ठीक होने वाले रोग।
समूह 2: अपेक्षाकृत कम लागत वाले दीर्घकालिक/आजीवन उपचार की आवश्यकता वाले रोग।
समूह 3:- ऐसे रोग जिनके लिए निश्चित उपचार उपलब्ध है, लेकिन लाभ, बहुत अधिक लागत और आजीवन उपचार के लिए ऑप्टिमल रोगी का चयन करना चुनौती है।
● अब तक 12 (बारह) उत्कृष्टता केंद्रों (सीओई) की पहचान की गई है, जो असाध्य बीमारियों के निदान, रोकथाम और उपचार की सुविधाओं वाले प्रमुख सरकारी तृतीयक अस्पताल हैं। उत्कृष्टता केंद्रों (सीओई) की सूची अनुलग्नक I में दी गई है।
● असाध्य रोग के उपचार के लिए वित्तीय सहायता प्राप्त करने के लिए, रोगी पंजीकरण कराने के लिए अपने करीबी या किसी उत्कृष्टता केंद्र से संपर्क कर सकता है।
● स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने व्यक्तिगत उपयोग के लिए और सीओई के माध्यम से असाध्य बीमारियों के लिए आयातित दवाओं पर माल और सेवा कर (जीएसटी) और मूल सीमा शुल्क पर व्यय विभाग से छूट प्राप्त की है।
● नीति की अवधारणा के अनुसार स्वास्थ्य अनुसंधान विभाग ने असाध्य रोगों के लिए अनुसंधान गतिविधियों को सुव्यवस्थित करने के लिए असाध्य रोगों के लिए चिकित्सा विज्ञान पर अनुसंधान और विकास के लिए राष्ट्रीय कंसोर्टियम (एनसीआरडीटीआरडी) की स्थापना की है।
वर्तमान में, असाध्य रोगों के लिए केंद्रीय तकनीकी समिति (सीटीसीआरडी) की सिफारिश पर असाध्य रोगों के लिए राष्ट्रीय नीति के तहत 63 असाध्य बीमारियों को शामिल किया गया है। असाध्य रोगों की सूची अनुलग्नक II में दी गई है। असाध्य रोगों के लिए अधिसूचित उत्कृष्टता केंद्रों (सीओई) में उपचार के लिए प्रति रोगी 50 लाख रुपये तक की वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है।
नीति के शुभारंभ के बाद से, एनपीआरडी के तहत कुल एक हजार एक सौ अठारह (1,118) रोगियों को लाभ मिला है। रोगी अपनी सुविधा के अनुसार देश भर में किसी भी सीओई से संपर्क कर सकते हैं।
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केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री श्रीमती अनुप्रिया सिंह पटेल ने आज लोकसभा में एक लिखित उत्तर में यह जानकारी दी।
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