विद्युत मंत्रालय

एनटीपीसी मौदा की नदी कायाकल्प परियोजना ने जल संकट से उबरने में 150 से अधिक गांवों की सहायता की

Posted On: 22 MAY 2021 11:17AM by PIB Delhi

बिजली मंत्रालय के तहत केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रम एनटीपीसी ने महाराष्ट्र के मौदा में भूजल कायाकल्प परियोजना के माध्यम से अपने प्रचालन क्षेत्र के 150 गांवों तथा इसके आसपास के क्षेत्रों को जल संकट से उबरने में सहायता की है। अपनी सीएसआर पहल के एक हिस्से के रूप में, एनटीपीसी मौदा जलयुक्त शिवर योजना, परियोजना की सहायता कर रही है जिसने सफलतापूर्वक मौदा नदी को एक जल अधिशेष तहसील में बदलना संभव बनाया है। यह परियोजना कुछ अन्य संगठनों तथा राज्य सरकार की मदद से आर्ट ॅफ लिविंग के महाराष्ट्र विंग द्वारा आरंभ की गई थी।

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/IMG-20210522-WA0007YO5L.jpg

 

इससे पूर्व, मौदा नागपुर के सबसे अधिक जल की कमी वाले तहसीलों में एक था। 2017 में आरंभ इस परियोजना ने मौदा, हिंगना और कम्पटी तहसीलों में 200 किमी से अधिक क्षेत्र को कवर किया है। पिछले चार वर्षों में, इससे 150 से अधिक गांवों को लाभ पहुंचा है। एनटीपीसी मौदा ने संबंधित मशीनरी और उपकारणों के ईंधन प्रभारों के लिए 78 लाख रुपये का योगदान दिया है। 1000 एकड़ के क्षेत्र में पांच तालाबों की समान कायाकल्प परियोजना के लिए एनटीपीसी मौदा द्वारा 1 करोड़ रुपये की राशि भी उपलब्ध कराई जा रही है।

एनटीपीसी मौदा के समूह महाप्रबंधक श्री हरि प्रसाद जोशी ने कहा, ‘हम नजदीक के समुदाय के विकास के लिए प्रतिबद्ध हैं और एनटीपीसी मौदा यह सुनिश्चित करेगी कि यह ऐसा करने में अपनी भूमिका निभाए।

जल जहां गिरे, वहीं इसे जमा करोतकनीक में नदी के पूरे विस्तार में तालाबों तथा नालों का निर्माण शामिल होता है जिससे कि वर्षा जल को एक लंबी अवधि तक रोक कर रखा जा सके। इससे पूर्व, वर्षा जल बह जाता था लेकिन अब इस जल को धीरे-धीरे जमीन में गहरे चले जाने का पर्याप्त समय मिल जाता है। इससे भूजल स्तरों में भारी बढोतरी हुई है।

दो वर्ष पहले तक, इस क्षेत्र के किसान कटाई उपरांत सीजनों के दौरान धान, गेहूं तथा मिर्च जैसी फसलों के लिए पानी पाने के लिए संघर्ष करते थे। अब भंडारित वर्षा जल ने उनकी सहायता की है और उन्हें उनकी फसलों के लिए एक नया जीवन दिया है तथा आय के स्तरों में बढोतरी की है।

***

एमजी/एएम/एसकेजे/एसएस



(Release ID: 1720830) Visitor Counter : 286