वित्त मंत्रालय
जीएसटी परिषद की 50वीं बैठक की सिफारिशें
जीएसटी परिषद ने कैसीनो, हॉर्स रेसिंग और ऑनलाइन गेमिंग के लिए पूर्ण अंकित मूल्य पर 28 प्रतिशत की एक समान दर से टैक्स लगाने की सिफारिश की है
जीएसटी परिषद ने केंद्र द्वारा जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरण की अधिसूचना की सिफारिश की, जो 01.08.2023 से प्रभावी होगी
जीएसटी परिषद ने कैंसर से संबंधित दवाओं, असामान्य बीमारियों की दवाओं और विशेष चिकित्सा प्रयोजनों से जुड़े खाद्य उत्पादों को जीएसटी टैक्स से छूट देने की सिफारिश की है
4 वस्तुओं - बिना पकाए, बिना तले और तैयार किए गए स्नैक पैलेट, मछली में घुलनशील पेस्ट, एलडी स्लैग को ब्लास्ट फर्नेस स्लैग के बराबर, और नकली ज़री धागा - पर टैक्स को 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत करने की सिफारिश की गई है
जीएसटी परिषद ने जीएसटी-अनुपालन को सुव्यवस्थित करने के लिए कई उपायों की भी सिफारिश की है
Posted On:
11 JUL 2023 9:18PM by PIB Delhi
माल एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद की 50वीं बैठक आज यहां केंद्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट कार्य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में आयोजित हुई।
जीएसटी परिषद की 50वीं बैठक के महत्त्व को चिह्नित करने के लिए, अध्यक्ष ने परिषद के सदस्यों की गरिमामयी उपस्थिति में 'जीएसटी परिषद- एक यात्रा की ओर 50 कदम' शीर्षक से एक लघु वीडियो फिल्म जारी की। यह फिल्म जीएसटी परिषद की यात्रा का चित्रण करती है और इसे हिंदी, अंग्रेजी व 11 क्षेत्रीय भाषाओं में निर्मित किया गया है।
इसके अलावा, इस अवसर को रेखांकित करने के लिए, मुख्य पोस्ट मास्टर जनरल, दिल्ली द्वारा परिषद के अध्यक्ष और सदस्यों को एक विशेष कवर और इस अवसर के लिए विशेष रूप से तैयार किये गए 'माई स्टैम्प' का पहला सेट भी प्रस्तुत किया गया।
जीएसटी परिषद की 50वीं बैठक में, अन्य बातों के साथ-साथ जीएसटी टैक्स की दरों में बदलाव, व्यापार की सुविधा से जुड़े उपायों और जीएसटी-अनुपालन को सुव्यवस्थित करने के उपायों से संबंधित निम्नलिखित सिफारिशें की गईं:
जीएसटी टैक्स की दरों में बदलाव:
वस्तुओं पर जीएसटी टैक्स से संबंधित सिफारिशें
ए ) वस्तुओं की जीएसटी टैक्स में बदलाव
1. बिना पके/बिना तले हुए स्नैक पेलेट्स, चाहे किसी भी नाम से जाना जाए, पर दर को घटाकर 5% करने और पिछली अवधि के दौरान बिना पके/बिना तले हुए स्नैक पेलेट्स पर जीएसटी के भुगतान को "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
बी ) वस्तुओं से संबंधित अन्य परिवर्तन
1. व्यक्तिगत उपयोग के लिए आयात किए जाने पर डिनुटुक्सिमैब (क्वार्जिबा) दवा पर आईजीएसटी से छूट देने का निर्णय लिया गया है।
2. राष्ट्रीय नीति, 2021 के तहत सूचीबद्ध असामान्य बीमारियों के उपचार में उपयोग की जाने वाली दवाओं और विशेष चिकित्सा उद्देश्यों (एफएसएमपी) के खाद्य पदार्थों पर आईजीएसटी से छूट देने का निर्णय लिया गया है, जब इन्हें व्यक्तिगत उपयोग के लिए आयात किया जाता है, लेकिन यह मौजूदा शर्तों के अधीन होगी। इसी प्रकार, असामान्य बीमारियों के सन्दर्भ में, उत्कृष्टता केंद्रों या किसी व्यक्ति या संस्था द्वारा सूचीबद्ध उत्कृष्टता केंद्रों में से किसी की सिफारिश पर आयात किए जाने पर एफएसएमपी को भीआईजीएसटी छूट के अंतर्गत शामिल किया जा रहा है।
3. यह स्पष्ट करने का निर्णय लिया गया है कि कृषकों द्वारा सहकारी समितियों को काला कपास सहित कच्चे कपास की आपूर्ति, रिवर्स चार्ज व्यवस्था के तहत कर योग्य है और पिछली अवधि से संबंधित मुद्दों को "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
4. नकली ज़री धागे या कारोबारी की भाषा में किसी भी नाम से जाने जाने वाले धागे पर जीएसटी 12% से घटाकर 5% करने और पिछली अवधि के दौरान इस मामले से संबंधित जीएसटी भुगतान को "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
5. मुआवजा उपकर अधिसूचना में प्रविष्टि 52 बी में संशोधन करने का निर्णय लिया गया है ताकि सभी उपयोगिता वाहनों, चाहे किसी भी नाम से जाने जाते हों, को शामिल किया जा सके, शर्त यह है कि वे 4000 मिमी से अधिक लंबाई, 1500 सीसी से अधिक इंजन क्षमता और 170 मिमी और इससे अधिक की भूमि से ऊपर (ग्राउंड क्लीयरेंस) के मानकों को पूरा करते हों। यह स्पष्ट किया जाता है कि 'भूमि से ऊपर' का अर्थ बगैर-लदान के भूमि से ऊपर की स्थिति है।
6. एलडी स्लैग के बेहतर उपयोग को प्रोत्साहित करने और पर्यावरण की सुरक्षा के लिए, इस उत्पाद पर जीएसटी दर को 18% से घटाकर 5% करने का निर्णय लिया गया है।
7. वास्तविक व्याख्यात्मक मुद्दों के मद्देनजर आघात, रीढ़ और आर्थ्रोप्लास्टी प्रत्यारोपण से संबंधित मामलों को 18.07.2022 से पहले की अवधि के लिए "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
8. मछली घुलनशील पेस्ट पर जीएसटी दर 18% से घटाकर 5% करने और पिछली अवधि के दौरान मछली घुलनशील पेस्ट पर जीएसटी के भुगतान को "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
9. वास्तविक व्याख्यात्मक मुद्दों के मद्देनजर सूखे नारियल से संबंधित मामलों को 1.7.2017 से 27.7.2017 की अवधि के लिए "जैसा है आधार" पर नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
10. यह निर्णय लिया गया है कि पान मसाला, तंबाकू उत्पादों आदि पर, जहां खुदरा बिक्री मूल्य घोषित करना कानूनी रूप से आवश्यक नहीं है, मुआवजा उपकर लगाने के लिए 31 मार्च 2023 को लागू पूर्व यथामूल्य दर को अधिसूचित किया जा सकता है।
11. आरबीएल बैंक और आईसीबीसी बैंक को उन निर्दिष्ट बैंकों की सूची में शामिल करने का निर्णय लिया गया है, जिनके लिए सोने, चांदी या प्लैटिनम के आयात पर आईजीएसटी छूट उपलब्ध है और विदेश व्यापार नीति 2023 के अनुबंध 4बी(एचबीपी) के अनुसार, ऐसे आईजीएसटी छूट के लिए पात्र बैंकों/संस्थाओं की सूची को अद्यतन किया जाएगा।
12. नई विदेश व्यापार नीति 2023 के मद्देनजर अधिसूचनाओं में परिणामी बदलाव किए जा सकते हैं।
13. 01.10.2019 से पहले सुपारी के पत्तों से बने प्लेट और कप पर जीएसटी से संबंधित मुद्दों को नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
14. 01.7.2017 से 12.10.2017 की अवधि के लिए बायोमास ब्रिकेट पर जीएसटी से संबंधित मुद्दों को नियमित करने का निर्णय लिया गया है।
सेवाओं पर जीएसटी दरों से संबंधित सिफारिशें
ए) सेवाओं की जीएसटी दरों में बदलाव
1. यह निर्णय लिया गया है कि स्टार्ट अप को प्रोत्साहित करने के लिए इसरो, एंट्रिक्स कॉर्पोरेशन लिमिटेड और न्यू स्पेस इंडिया लिमिटेड (एनएसआईएल) द्वारा आपूर्ति की जाने वाली उपग्रह प्रक्षेपण सेवाओं पर जीएसटी छूट का विस्तार निजी क्षेत्र के संगठनों द्वारा आपूर्ति की जाने वाली ऐसी सेवाओं के लिए भी किया जा सकता है।
बी) सेवाओं से संबंधित अन्य परिवर्तन
सेवाएं
1 )व्यापार अनुकूल उपाय के रूप में, यह निर्णय लिया गया है कि हर साल फॉरवर्ड चार्ज के तहत जीएसटी का भुगतान करने के लिए घोषणा पत्र दाखिल करने के लिए जीटीए की आवश्यकता नहीं होगी। यदि उन्होंने किसी विशेष वित्त वर्ष के लिए इस विकल्प का प्रयोग किया है, तो यह माना जाएगा कि उन्होंने अगले और भविष्य के वित्त वर्षों के लिए इसका प्रयोग किया है, जब तक कि वे यह घोषणा दाखिल नहीं करते कि वे रिवर्स चार्ज व्यवस्था (आरसीएम) पर वापस आना चाहते हैं।
2) यह भी निर्णय लिया गया है कि फॉरवर्ड चार्ज के तहत जीएसटी का भुगतान करने के लिए जीटीए द्वारा विकल्प का प्रयोग करने की अंतिम तिथि 15 मार्च के बजाय पिछले वित्तीय वर्ष की 31 मार्च होगी। विकल्प के प्रयोग के लिए पूर्ववर्ती वित्त वर्ष की 1 जनवरी आरंभ तिथि होगी।
3) यह स्पष्ट करने का निर्णय लिया गया है कि किसी कंपनी के निदेशक द्वारा अपनी निजी या व्यक्तिगत क्षमता में कंपनी को आपूर्ति की जाने वाली सेवाएँ जैसे कि कंपनी या निकाय कॉर्पोरेट को अचल संपत्ति किराए पर लेने के माध्यम से सेवाएँ प्रदान करना आरसीएम के तहत कर योग्य नहीं हैं। केवल कंपनी या निकाय कॉर्पोरेट के निदेशक द्वारा आपूर्ति की गई वे सेवाएँ, जो उसके द्वारा उस कंपनी या निकाय कॉर्पोरेट के निदेशक की क्षमता में प्रदान की जाती हैं, अधिसूचना संख्या 13/2017-सीटीआर (क्रम संख्या 6) दिनांक 28.06.2017 के तहत कंपनी या निकाय कॉर्पोरेट के लिए आरसीएम के तहत कर योग्य होंगी।
4) यह स्पष्ट करने का निर्णय लिया गया है कि सिनेमा हॉलों में भोजन और पेय पदार्थों की आपूर्ति रेस्तरां सेवा के रूप में कर योग्य है, जब तक कि (ए) उन्हें किसी सेवा के माध्यम से या उसके हिस्से के रूप में आपूर्ति की जाती है और (बी) सिनेमा प्रदर्शनी सेवा से स्वतंत्र रूप में आपूर्ति की जाती है। जहां सिनेमा टिकट की बिक्री और भोजन और पेय पदार्थों की आपूर्ति को एक साथ जोड़ दिया जाता हैऔर ऐसी संयुक्त आपूर्ति समग्र आपूर्ति के परीक्षण को पूरा करती है, तो प्रमुख आपूर्ति के रूप में सिनेमा की प्रदर्शनी की सेवा पर लागू दर के अनुरूप पूरी आपूर्ति पर जीएसटी लगेगा।
III) कैसीनो, रेस कोर्स और ऑनलाइन गेमिंग पर मंत्रियों के समूह (जीओएम) की दूसरी रिपोर्ट
कैसीनो, रेस कोर्स और ऑनलाइन गेमिंग पर कराधान से संबंधित मुद्दों पर विचार करने के लिए मंत्रियों का एक समूह (जीओएम) गठित किया गया था। जीओएम ने अपनी पहली रिपोर्ट जून, 2022 में प्रस्तुत की और इसे जीएसटी परिषद की जीएसटी परिषद की 47वीं बैठक में जीएसटी परिषद के समक्ष रखा गया, जिसमें यह निर्णय लिया गया कि जीओएम सभी मुद्दों पर एक बार फिर से विचार कर सकता है। जीओएम ने अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की और इसे 50वीं जीएसटी परिषद की बैठक के समक्ष रखा गया। जीओएम ने अपनी दूसरी रिपोर्ट में सिफारिश की है कि चूंकि ऑनलाइन गेमिंग, घुड़ दौड़ और कैसीनो की गतिविधियों पर लगाए गए दांव के पूर्ण अंकित मूल्य पर 28% या जीजीआर पर कर लगाया जाना चाहिए या नहीं, इस पर कोई सहमति नहीं बन पाई है, इसलिए जीएसटी काउंसिल इससे संबंधित निर्णय ले सकती है। जीएसटी परिषद ने मुद्दों पर विचार-विमर्श किया है और निम्नलिखित की सिफारिश की है:
- ऑनलाइन गेमिंग और घुड़दौड़ को कर योग्य कार्रवाई योग्य दावों के रूप में अनुसूची III में शामिल करने के लिए कानून में उपयुक्त संशोधन किए जाएंगे।
- कैसीनो, घुड़दौड़और ऑनलाइन गेमिंग; तीनों पर 28% की एक समान दर से टैक्स लगाया जाएगा।
- कैसिनो के मामले में खरीदे गए चिप्स के अंकित मूल्य पर, घुड़दौड़के मामले में सट्टेबाज/टोटलाइज़र के साथ लगाए गए दांव के पूरे मूल्य पर और ऑनलाइन गेमिंगके मामले में लगाए गए दांव के पूरे मूल्य पर टैक्स लागू होगा।
व्यापार की सुविधा के लिए उपाय:
वस्तु और सेवा कर अपीलीय न्यायाधिकरण (अध्यक्ष और सदस्यों की नियुक्ति और सेवा की शर्तें) नियम, 2023: परिषद ने जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरणके सुचारू गठन और कामकाज को सक्षम करने के लिए प्रस्तावित जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरण के अध्यक्ष और सदस्यों की नियुक्ति एवं शर्तों से जुड़े नियमों की सिफारिश की है। परिषद ने यह भी सिफारिश की कि जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरण से संबंधित वित्त अधिनियम, 2023 के प्रावधानों को केंद्र द्वारा अधिसूचित किया जा सकता है, जो 01.08.2023 से प्रभावी होगा;ताकि इसे जल्द से जल्द शुरू किया जा सके। इसके अलावा परिषद ने सीजीएसटी अधिनियम 2017 की धारा 110(4)(बी)(iii) के अनुसार महाराष्ट्र के मुख्य सचिव को खोज सह चयन समिति के सदस्यों में से एक के रूप में नामित करने की सिफारिश की है। राज्य पीठों की संख्या के संबंध में, यह निर्णय लिया गया कि इन्हें चरणबद्ध तरीके से शुरू किया जाएगा।
वित्त वर्ष 2022-23 के लिए वार्षिक रिटर्न: परिषद ने सिफारिश की है कि फॉर्म जीएसटीआर-9 और फॉर्म जीएसटीआर-9सी की विभिन्न तालिकाओं के संबंध में वित्त वर्ष 2021-22 में प्रदान की गई छूट वित्त वर्ष 2022-23 के लिए जारी रखी जाए। इसके अलावा, छोटे करदाताओं पर अनुपालन बोझ को कम करने के लिए, दो करोड़ रुपये तक के कुल वार्षिक कारोबार वाले करदाताओं के लिए वार्षिक रिटर्न (फॉर्म जीएसटीआर-9/9ए में) दाखिल करने से छूट वित्त वर्ष 2022-23 के लिए भी जारी रहेगी।
परिषद ने एक परिपत्र के माध्यम से यह स्पष्ट करने की सिफारिश की है कि जीएसटी कानून के वर्तमान प्रावधानों के अनुसार, तीसरे पक्ष से खरीदी गई सामान्य इनपुट सेवाओं के इनपुट टैक्स क्रेडिट को विशिष्ट व्यक्तियों को वितरित करने के लिए इनपुट सेवा वितरक (आईएसडी) व्यवस्था अनिवार्य नहीं है। इसके साथ,एक विशिष्ट व्यक्ति द्वारा दूसरे विशिष्ट व्यक्ति को प्रदान की गई आंतरिक रूप से उत्पन्न सेवाओं की कर योग्यता से संबंधित मुद्दों को स्पष्ट करने की भी सिफारिश की गयी है। परिषद ने यह भी सिफारिश की है कि तीसरे पक्ष से प्राप्त ऐसी सामान्य इनपुट सेवाओं के इनपुट टैक्स क्रेडिट के वितरण के लिए आईएसडी व्यवस्था को संभावित रूप से अनिवार्य बनाने के लिए जीएसटी कानून में संशोधन किया जा सकता है।
जीएसटी देनदारी से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर स्पष्टता प्रदान करने के साथ-साथ ग्राहकों से बिना किसी भुगतान के वारंटी अवधि के दौरान हिस्सों के वारंटी प्रतिस्थापन और मरम्मत सेवाओं से जुड़े मामलों में इनपुट टैक्स क्रेडिट को रिवर्स करने की देनदारी के बारे में स्पष्टता प्रदान करने के लिए परिपत्र जारी किया जाएगा, जिसमें अन्य बातों के साथ-साथ यह भी स्पष्ट किया जाएगा कि हिस्सों के ऐसे प्रतिस्थापन और/या मरम्मत सेवा पर निर्माता द्वारा जीएसटी नहींलगाया जाएगा,और साथ ही, निर्माता द्वारा इनपुट टैक्स क्रेडिट को रिवर्स करने की भी आवश्यकता नहीं है।
धन-वापसी (रिफंड) संबंधी विभिन्न मुद्दों को स्पष्ट करने के लिए परिपत्र जारी किया जाएगा:
01.01.2022 से प्रभावी, सीजीएसटी नियम 2017 के नियम 36(4) में संशोधन के परिणामस्वरूप, कर अवधि के लिए सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 54(3) के तहत संचित इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) की धन-वापसी(रिफंड) आईटीसी तक सीमित रहेगी, जैसा कि उक्त कर अवधि या किसी पिछली कर अवधि की आवक आपूर्ति फॉर्म जीएसटीआर-2बी में परिलक्षित है।
अधिसूचना संख्या 14/2022-सीटी दिनांक 05.07.2022 के माध्यम से सीजीएसटी नियमों के नियम 89(4) में स्पष्टीकरण शामिल किए जाने के परिणामस्वरूप, नियम 89(4)के तहत सूत्र में "समायोजित कुल कारोबार" की गणना करते समय शामिल किये जाने वाले निर्यात माल का मूल्य, उक्त स्पष्टीकरण के अनुसार निर्धारित किया जायेगा।
ऐसे मामलों में रिफंड की स्वीकार्यता के संबंध में स्पष्टीकरण; जहां माल का निर्यात, या सेवाओं के निर्यात के लिए भुगतान की वसूली, चाहे जैसा भी मामला हो, सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 96 ए के तहत प्रदान की गई समय सीमा के बाद की जाती है।
ऐसे मामलों में, जहां कई ई-कॉमर्स संचालक (ईसीओ) माल या सेवाओं या दोनों की आपूर्ति के एक ही लेनदेन में शामिल हैं, सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 52 के तहत टीसीएस देनदारी के बारे में स्पष्टीकरण प्रदान करने के लिए परिपत्र जारी किया जाएगा।
करदाताओं के अनुपालन बोझ को कम करने के लिए, सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 46 के खंड (एफ) में संशोधन किया जाएगा, ताकि ईसीओ द्वारा या उसके माध्यम से या ओआईडीएआर सेवाओं के आपूर्तिकर्ता द्वारा किसी अपंजीकृत प्राप्तकर्ता को कर योग्य सेवाओं की आपूर्ति के मामलों में टैक्स चालान पर प्राप्तकर्ता के केवल राज्य का नाम, न कि प्राप्तकर्ता का नाम और पूरा पता,दर्ज किया जा सके।
विभिन्न मुद्दों पर अस्पष्टता और कानूनी विवादों को दूर करने के लिए निम्नलिखित परिपत्र जारी करना, जिससे करदाताओं को बड़े पैमाने पर लाभ होगा :
यह स्पष्ट करते हुए कि पंजीकृत व्यक्ति, जिसका कारोबार ई-चालान तैयार करने के लिए निर्धारित सीमा से अधिक है, को सीजीएसटी नियमों के नियम 48(4) के तहत ई-चालान जारी करना आवश्यक है। केवल टीडीएस के प्रयोजन के लिए पंजीकृत सरकारी विभागों या प्रतिष्ठानों/सरकारी एजेंसियों/स्थानीय प्राधिकरणों/पीएसयू आदि को की गई आपूर्ति के संबंध में, गलत तरीके से प्राप्त और उपयोग किए गए आईजीएसटी क्रेडिट के संबंध में।
आईजीएसटी ऋण के गलत लाभ व उपयोग के मामलों में, सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 50 (3) के तहत भुगतान की जाने वाली ब्याज राशि की गणना के तरीके के बारे में स्पष्टीकरण, अन्य बातों के साथ-साथ यह स्पष्ट करते हुए कि आईजीएसटी ऋण के गलत लाभ के मामलों में शेष राशि, सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 88बी के अनुसार ऐसी ब्याज देनदारी की गणना करते समय आईजीएसटी, सीजीएसटी और एसजीएसटी के मद में इलेक्ट्रॉनिक क्रेडिट लेजर में इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) को ध्यान में रखा जाना चाहिए।
यह स्पष्ट करते हुए कि किसी होल्डिंग कंपनी द्वारा किसी सहायक कंपनी की प्रतिभूतियों को रखने मात्र को सेवाओं की आपूर्ति के रूप में नहीं माना जा सकता है और इसलिए, जीएसटी के तहत टैक्स नहीं लगाया जा सकता है।
परिषद की 48वीं बैठक की सिफारिशों के अनुसार, परिपत्र संख्या 183/15/2022-जीएसटी दिनांक 27 दिसंबर, 2022 जारी की गई, ताकि फॉर्म जीएसटीआर-3बी में लाभ लिया गया इनपुट टैक्स क्रेडिट के अंतर तथा जो वित्त वर्ष 2017-18 और 2018-19 के दौरान फॉर्म जीएसटीआर-2ए के अनुसार उपलब्ध हो, से संबंधित मामलों में इनपुट टैक्स क्रेडिट के सत्यापन की प्रक्रिया प्रदान की जा सके। करदाताओं को और राहत प्रदान करने के लिए, परिषद ने फॉर्म जीएसटीआर-3बी में प्राप्त इनपुट टैक्स क्रेडिट में अंतर वाले मामलों में इनपुट टैक्स क्रेडिट के सत्यापन के लिए 01.04.2019 से 31.12.2021 की अवधि के दौरान जीएसटीआर-2ए फॉर्म के अनुसार उपलब्ध समान प्रक्रिया प्रदान करने के लिए एक परिपत्र जारी करने की सिफारिश की।
'भारत संघ बनाम फिल्को ट्रेड सेंटर प्राइवेट लिमिटेड के मामले में सर्वोच्च न्यायालय के निर्देशों के अनुसरण में पंजीकृत व्यक्तियों के टीआरएएन-1/टीआरएएन-2 दावों के संबंध में उचित अधिकारियों द्वारा पारित आदेशों के खिलाफ मैन्युअल रूप से अपील दायर करने में सक्षम बनाने के लिए सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 148 के तहत विशेष प्रक्रिया प्रदान की जाएगी।
सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 108(1) और नियम 109(1) में संशोधन किए जाएंगे, ताकि कुछ विशेष परिस्थितियों में मैन्युअल रूप से अपील दायर की जा सके।
परिषद ने फॉर्म जीएसटीआर-4, फॉर्म जीएसटीआर-9 और फॉर्म जीएसटीआर-10 रिटर्न दाखिल न करने वालों के संबंध में दिनांक 31.03.2023 की अधिसूचना के माध्यम से अधिसूचित माफी योजनाओं का विस्तार करने, सीजीएसटी अधिनियम, 2017, 31.08.2023 तक पंजीकरण रद्द करने को वापस लेने और धारा 62 के तहत जारी मूल्यांकन आदेशों को वापस लेने की सिफारिश की।
मणिपुर राज्य में मौजूदा कानून और व्यवस्था की स्थिति को देखते हुए, परिषद ने अप्रैल, मई और जून 2023 के महीनों के संदर्भ में मणिपुर राज्य के पंजीकृत व्यक्तियों के लिए फॉर्म जीएसटीआर-1, फॉर्म जीएसटीआर-3बी और फॉर्म जीएसटीआर-7 दाखिल करने की नियत तारीखों को 31.07.2023 तक बढ़ाने की सिफारिश की।
जीएसटी अनुपालन को सुव्यवस्थित करने के उपाय:
अध्याय 71 के तहत सोने/कीमती पत्थरों की आवाजाही के लिए ई-वे बिल की आवश्यकता के कार्यान्वयन पर मंत्रियों के समूह (जीओएम) की सिफारिशों के अनुसार, परिषद ने सीजीएसटी नियम, 2017 के साथ-साथ उन राज्यों के एसजीएसटी नियम, 2017 में नियम 138एफ जोड़ने की सिफारिश की है, जो अपने राज्यों के भीतर अध्याय 71 के तहत सोने और कीमती पत्थरों के अंतर-राज्य आवाजाही के लिए ई-वे बिल बनाने की आवश्यकता को अनिवार्य करना चाहते हैं।
49वीं बैठक में परिषद द्वारा अनुमोदित क्षमता आधारित कराधान और विशेष संरचना योजना पर मंत्रियों के समूह (जीओएम) की सिफारिशों के अनुसार, परिषद ने निम्नलिखित सिफारिशें की हैं:
सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 148 के तहत अधिसूचना जारी करना, जिसमें तंबाकू, पान मसाला और इस प्रकार की अन्य वस्तुओं के निर्माताओं द्वारा अन्य बातों के साथ-साथ मशीनों के पंजीकरण और विशेष मासिक रिटर्न दाखिल करने के लिए एक विशेष प्रक्रिया निर्धारित की गई है, जिसका पालन किया जाना चाहिए।
ऐसे निर्माताओं द्वारा मशीनों का पंजीकरण न कराने पर विशेष दंड का प्रावधान करते हुए सीजीएसटी अधिनियम, 2017 में धारा 122ए को जोड़ना;
वित्त अधिनियम, 2021 की धारा 123 के प्रावधान, आईजीएसटी अधिनियम की धारा 16 में संशोधन अधिसूचित किया जाएगा, जो 01.10.2023 से प्रभावी होगा और आईजीएसटी अधिनियम 2017 की धारा 16(4) के तहत तंबाकू, पान मसाला और अन्य समान वस्तुओं के साथ-साथ मेंथा तेल के निर्यात के संबंध में आईजीएसटी रिफंड मार्ग पर प्रतिबंध लगाने के लिए अधिसूचना जारी की जाएगी।
पंजीकरण के संबंध में सीजीएसटी नियम, 2017 में संशोधन: परिषद ने पंजीकरण प्रक्रिया को मजबूत करने और जीएसटी में नकली और धोखाधड़ी वाले पंजीकरण के खतरे से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए सीजीएसटी नियम, 2017 में निम्नलिखित संशोधनों की सिफारिश की है:
नियम 10ए में संशोधन यह प्रावधान करने के लिए कि पंजीकृत व्यक्ति के बैंक खाते का विवरण, नाम और पैन, पंजीकरण की अनुमति के 30 दिनों के भीतर या सीजीएसटी अधिनियम की धारा 37 के तहत बाहरी आपूर्ति का विवरण दाखिल करने से पहले प्रस्तुत किया जाना आवश्यक है। फॉर्म जीएसटीआर-1/आईएफएफ, जो भी पहले हो।
ऐसे पंजीकृत व्यक्तियों के संबंध में पंजीकरण के प्रणाली-आधारित निलंबन का प्रावधान करने के लिए नियम 21ए(2ए) में संशोधन, जो उक्त नियम के तहत निर्धारित समय अवधि के साथ नियम 10ए के तहत वैध बैंक खाते का विवरण प्रस्तुत नहीं करते हैं।
नियम 10ए के प्रावधानों के अनुपालन पर ऐसे प्रणाली-आधारित निलंबन को स्वत: रद्द करने का प्रावधान करने के लिए नियम 21ए(4) में तीसरा प्रावधान जोड़ना।
इस प्रावधान के लिए नियम 59(6) में संशोधन, जहां एक पंजीकृत व्यक्ति ने नियम 10ए के तहत वैध बैंक खाते का विवरण प्रस्तुत नहीं किया है, उक्त पंजीकृत व्यक्ति को फॉर्म जीएसटीआर-1 में या आईएफएफ का उपयोग करके बाहरी आपूर्ति का विवरण प्रस्तुत करने की अनुमति नहीं दी जा सकती है। .
नियम 9 और नियम 25 में संशोधन से इस आवश्यकता को समाप्त कर दिया गया है कि व्यावसायिक परिसर का भौतिक सत्यापन आवेदक की उपस्थिति में किया जाना है और उच्च जोखिम वाले मामलों में भी भौतिक सत्यापन प्रदान करना है, यहां तक कि जहां आधार सत्यापित किया जा चुका है।
पंजीकरण वाले आवेदकों के जोखिम-आधारित व बायोमेट्रिक-आधारित आधार सत्यापन के लिए केन्द्रशासित प्रदेश पुडुचेरी में पायलट परियोजना संचालित की जाएगी। गुजरात और केन्द्रशासित प्रदेश पुडुचेरी में प्रणाली की तैयारी का परीक्षण होने के बाद आंध्र प्रदेश राज्य ने भी इस पायलट प्रोजेक्ट में शामिल होने की इच्छा जाहिर की।
नियम 88सी(3) के संदर्भ में टैक्स और ब्याज की वसूली की प्रक्रिया: 17.12.2022 को आयोजित जीएसटी परिषद की 48वीं बैठक की सिफारिशों पर, नियम 88सी को सीजीएसटी नियम, 2017 में शामिल किया गया था, जो 26.12.2022 से प्रभावी हुआ था, ताकि ऐसे मामलों में पंजीकृत व्यक्ति को प्रणाली आधारित सूचना दी सके, ताकि जहां किसी विशेष महीने के लिए पंजीकृत व्यक्ति के फॉर्म जीएसटीआर-1 के संदर्भ में आउटपुट टैक्स देनदारी उक्त व्यक्ति द्वारा फॉर्म जीएसटीआर-3बी में रिटर्न में बताए गए आउटपुट कर देनदारी से अधिक है। परिषद ने अब सीजीएसटी नियम, 2017 में नियम 142बी को शामिल करने और नियम 88सी के तहत सूचित राशि के संबंध में टैक्स और ब्याज की वसूली का तरीका प्रदान करने के लिए फॉर्म जीएसटी डीआरसी-01डी को शामिल करने की सिफारिश की है, जिसका भुगतान नहीं किया गया है और जिसके लिए पंजीकृत व्यक्ति द्वारा कोई संतोषजनक स्पष्टीकरण प्रस्तुत नहीं किया गया है।
फॉर्म जीएसटीआर-2बी और फॉर्म जीएसटीआर-3बी के बीच आईटीसी में अंतर से निपटने के लिए व्यवस्था : परिषद ने फॉर्म जीएसटीआर-3बी में आईटीसी के अतिरिक्त लाभ के संबंध में करदाताओं को प्रणाली-आधारित सूचना के लिए एक व्यवस्था की सिफारिश की है। उक्त अंतर के कारणों को समझाने या ऐसे अंतर के संबंध में उपचारात्मक कार्रवाई करने के लिए करदाताओं की ओर से स्वत: अनुपालन की प्रक्रिया के साथ एक निश्चित सीमा से ऊपर फॉर्म जीएसटीआर-2बी में उपलब्ध है। इस उद्देश्य के लिए, सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 59(6) में संशोधन के साथ सीजीएसटी नियम, 2017 में नियम 88डी और फॉर्म डीआरसी-01सी शामिल किया जाएगा। इससे जीएसटी में आईटीसी विसंगतियों और आईटीसी सुविधा के दुरुपयोग को कम करने में मदद मिलेगी। .
वार्षिक रिटर्न दाखिल करने से संबंधित अनुशासन में सुधार के लिए, फॉर्म जीएसटीआर-3ए में संशोधन किया जाएगा, ताकि निर्धारित तिथि तक फॉर्म जीएसटीआर-9 या फॉर्म जीएसटीआर-9ए में वार्षिक रिटर्न प्रस्तुत करने में विफल रहने पर पंजीकृत करदाताओं को नोटिस जारी किया जा सके।
सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 64 और फॉर्म जीएसटीआर-5ए में संशोधन किया जाएगा ताकि ओआईडीएआर सेवा प्रदाताओं को फॉर्म जीएसटीआर-5ए में अपने रिटर्न में भारत में पंजीकृत व्यक्तियों को की गई आपूर्ति का विवरण प्रदान करना पड़े। इससे ओआईडीएआर सेवा प्रदाताओं से प्राप्त आपूर्ति के संबंध में भारत में ऐसे पंजीकृत व्यक्तियों द्वारा रिवर्स चार्ज के आधार पर कर के देय भुगतान की निगरानी करने में मदद मिलेगी।
सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 43 के बाद स्पष्टीकरण 3 जोड़ा जाएगा, ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डों में आगमन टर्मिनल पर ड्यूटी फ्री दुकानों से आने वाले यात्रियों को माल की आपूर्ति का इनपुट टैक्स क्रेडिट को मूल्य उलटने के उद्देश्य से छूट वाली आपूर्ति के मूल्य में शामिल किया जाएगा।
सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 132 के तहत विभिन्न अपराधों के लिए समझौता राशि निर्धारित करने के लिए सीजीएसटी नियम, 2017 के नियम 162 में उप-नियम (3ए) जोड़ा जाएगा।
परिषद ने सामान्य पोर्टल पर उपलब्ध पंजीकृत व्यक्तियों की जानकारी को अन्य प्रणालियों के साथ सहमति-आधारित साझा करने के तरीके और शर्तों को प्रदान करने के लिए सीजीएसटी नियम, 2017 में नियम 163 को शामिल करने की सिफारिश की है। परिषद ने सीजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 158ए के तहत "अकाउंट एग्रीगेटर्स" को सिस्टम के रूप में अधिसूचित करने के लिए एक अधिसूचना जारी करने की भी सिफारिश की है, जिसके साथ, सामान्य पोर्टल द्वारा जानकारी साझा की जानी है।
परिषद ने अपंजीकृत व्यक्तियों को माल की आपूर्ति के संबंध में आपूर्ति के स्थान को स्पष्ट करने के लिए आईजीएसटी अधिनियम, 2017 की धारा 10 की उप-धारा (1) में एक खंड (सीए) जोड़ने की सिफारिश की है।
जीएसटी परिषद ने जीएसटी मामलों पर ज्ञान साझा करने और प्रशासनिक और निवारक उपायों के लिए समन्वित प्रयासों के लिए राज्य और केंद्रीय जीएसटी प्रशासन दोनों के जीएसटी अधिकारियों को शामिल करते हुए एक राज्य स्तरीय समन्वय समिति बनाने की सिफारिश की है।
आईटी प्रणाली सुधारों पर मंत्रियों के समूह (जीओएम) की दूसरी अंतरिम रिपोर्ट पर भी परिषद द्वारा चर्चा की गई। जीओएम ने जीएसटी में पंजीकरण प्रक्रिया को मजबूत करने, जोखिम प्रबंधन के लिए तीसरे पक्ष के डेटा का अधिक उपयोग और आपूर्ति श्रृंखला में नकली इनपुट टैक्स क्रेडिट के प्रवाह को नियंत्रित करने के लिए सिस्टम आधारित उपायों के माध्यम से जीएसटी में धोखाधड़ी को रोकने के लिए विभिन्न उपायों की सिफारिश की है।
नोट: इस विज्ञप्ति में जीएसटी परिषद की सिफारिशों में शामिल प्रमुख निर्णयों को हितधारकों की जानकारी के लिए सरल भाषा में प्रस्तुत किया गया है। इसे प्रासंगिक परिपत्रों/अधिसूचनाओं/कानून संशोधनों के माध्यम से प्रभावी किया जाएगा, जिसमें कानून की शक्ति होगी।
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(Release ID: 1939062)
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