स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्रालय

कैबिनेट ने 1,600 करोड़ रुपये के बजट के साथ पांच साल के लिए आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन के कार्यान्वयन को मंजूरी दी


एबीडीएम टेलीमेडिसिन जैसी तकनीकों के उपयोग को प्रोत्साहित करके और स्वास्थ्य सेवाओं के राष्ट्रीय स्तर पर विकल्प चयन (पोर्टेबिलिटी) को सक्षम करके गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य देखभाल तक न्यायसंगत पहुंच में सुधार करेगा

नागरिक अपना आभा (आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता) नंबर बना सकेंगे, जिससे उनके डिजिटल स्वास्थ्य रिकॉर्ड को जोड़ा जा सकेगा

Posted On: 26 FEB 2022 2:00PM by PIB Delhi

प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी की अध्‍यक्षता में केन्‍द्रीय मंत्रिमंडल ने भारत सरकार के स्‍वास्‍थ्‍य और परिवार कल्‍याण मंत्रालय की केंद्रीय क्षेत्र की योजना, आयुष्‍मान भारत डिजिटल मिशन (एबीडीएम) को 1600 करोड़ रुपये के बजट के साथ पांच वर्ष के लिए राष्‍ट्रीय स्तर पर शुरू करने को मंजूरी दे दी है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण (एनएचए), आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन (एबीडीएम) की कार्यान्वयन एजेंसी होगी।

स्वास्थ्य इकोसिस्टम में डिजिटल स्वास्थ्य समाधान पिछले कुछ वर्षों में अत्यधिक लाभकारी सिद्ध हुए हैं तथा को-विन, आरोग्य सेतु और ई-संजीवनी ने यह दिखाया है कि स्वास्थ्य सेवा तक पहुंच को सक्षम करने में प्रौद्योगिकी की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। हालांकि, देखभाल की निरंतरता और संसाधनों के प्रभावी उपयोग के लिए ऐसे समाधानों को एकीकृत करने की आवश्यकता है।

जन-धन, आधार और मोबाइल (जेएएम) ट्रिनिटी तथा सरकार की अन्य डिजिटल पहलों पर आधारित, आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन (एबीडीएम) विस्तृत डेटा के प्रावधान, सूचना और अवसंरचना सेवाओं के माध्यम से एक आसान ऑनलाइन प्लेटफार्म का निर्माण कर रहा है एवं खुले, परस्पर संचालन-योग्य व मानक-आधारित डिजिटल प्रणाली का विधिवत लाभ उठाते हुए स्वास्थ्य संबंधी व्यक्तिगत जानकारी की सुरक्षा, गोपनीयता और निजता भी सुनिश्चित कर रहा है।

एबीडीएम के तहत, नागरिक अपना आभा (आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता) नंबर बना सकेंगे, जिससे उनके डिजिटल स्वास्थ्य रिकॉर्ड को जोड़ा जा सकेगा। यह विभिन्न स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं में व्यक्तियों के लिए विस्तृत स्वास्थ्य रिकॉर्ड बनाने में सक्षम होगा और स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं द्वारा नैदानिक ​​निर्णय लेने को बेहतर बनाएगा। मिशन टेलीमेडिसिन जैसी तकनीकों के उपयोग को प्रोत्साहित करके और स्वास्थ्य सेवाओं के राष्ट्रीय स्तर पर विकल्प चयन (पोर्टेबिलिटी) को सक्षम करके गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य देखभाल तक न्यायसंगत पहुंच में सुधार करेगा।    

एबीडीएम की प्रायोगिक परियोजना छह केंद्र शासित प्रदेशों लद्दाख, चंडीगढ़, दादरा और नगर हवेली, दमन और दीव, पुडुचेरी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह तथा लक्षद्वीप में एनएचए द्वारा विकसित प्रौद्योगिकी प्लेटफार्म के सफल प्रदर्शन के साथ पूरी की गयी है। प्रायोगिक परियोजना के दौरान, डिजिटल सैंडबॉक्स बनाया गया था जिसमें 774 से अधिक भागीदार समाधान एकीकरण के दौर से गुजर रहे हैं। 24 फरवरी 2022 तक, 17,33,69,087 आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाते बनाए गए हैं और एबीडीएम में 10,114 डॉक्टरों और 17,319 स्वास्थ्य सुविधाओं को पंजीकृत किया गया है।

एबीडीएम प्रभावी सार्वजनिक स्वास्थ्य उपायों के संबंध में न केवल साक्ष्य आधारित निर्णय लेने की सुविधा प्रदान करेगा, बल्कि यह नवाचार को बढ़ावा देगा और स्वास्थ्य सेवा इकोसिस्टम में रोजगार के अवसर भी पैदा करेगा।

*****

डीएस/एमजी/एएम/जेके/एसके



(Release ID: 1801375) Visitor Counter : 269