इलेक्ट्रानिक्स एवं आईटी मंत्रालय

आरोग्यसेतु ऐप के संबंध में आरटीआई के तहत मांगी गई जानकारी पर केंद्रीय सूचना आयोग द्वारा पारित आदेश के बारे में इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने स्पष्टीकरण जारी किया

Posted On: 28 OCT 2020 7:01PM by PIB Delhi

आरोग्यसेतु ऐप के संबंध में आरटीआई के तहत मांगी गई जानकारी पर केंद्रीय सूचना आयोग द्वारा पारित आदेश से जुड़ी मीडिया रिपोर्ट ने ध्यान आकृष्ट किया है। केंद्रीय सूचना आयोग (सीआईसी) के आदेश के अनुसार, इलेक्ट्रॉनिक एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी (सीपीआईओ), राष्ट्रीय ई-अभिशासन प्रभाग (एनईजीडी) और राष्ट्रीय सूचना-विज्ञान केंद्र (एनआईसी) को 24 नवंबर 2020 को पेश होने के निर्देश दिए गए हैं। केंद्रीय सूचना आयोग के आदेश के अनुपालन में इलेक्ट्रॉनिक एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय आवश्यक कदमों को उठा रहा है।

उपरोक्त के संबंध में, यह स्पष्ट किया जाता है कि आरोग्यसेतु ऐप और भारत में कोविड-19 महामारी को रोकने में इसकी सहायक भूमिका के संबंध में कोई भी संदेह नहीं होना चाहिए। जैसा कि 2 अप्रैल 2020 की प्रेस विज्ञप्ति और सोशल मीडिया पोस्ट के माध्यम से घोषणा की गई थी, कोविड-19 के विरुद्ध लड़ाई में भारत के लोगों को एक-साथ लाने के लिए भारत सरकार द्वारा सार्वजनिक निजी भागीदारी मोड में आरोग्यसेतु ऐप को लॉन्च किया गया था। लॉकडाउन के प्रतिबंधों के साथ महामारी के संकटकाल से निपटने के लिए आरोग्यसेतु ऐप को लगभग 21 दिन के रिकॉर्ड समय में विकसित किया गया, इसका एकमात्र उद्देश्य मेड इन इंडिया के तहत उद्योग जगत, शिक्षा जगत एवं सरकारी क्षेत्र के क्षमतावान लोगों, जिन्होंने इस दिशा में दिन-रात जुटकर काम किया, के सहयोग से एक मजूबत, टिकाऊ और सुरक्षित कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग ऐप को तैयार करना था। 2 अप्रैल 2020 के बाद से आरोग्यसेतु ऐप पर नियमित रूप से प्रेस विज्ञप्ति और अपडेट जारी किए गए हैं, इसमें 26 मई 2020 को ओपन डोमेन में सुरक्षित कोड को उपलब्ध कराना भी सम्मिलित है। जब कोड को ओपन/पब्लिक में जारी किया गया तब ऐप के विकास और ऐप परितंत्र के प्रबंधन से जुड़े सभी लोगों के नाम विभिन्न चरणों में साझा किए गए थे और इसे व्यापक रूप से मीडिया से भी साझा किया गया था।

इसे https://github.com/nic-delhi/AarogyaSetu_Android/blob/master/Contributors.md. पर जाकर भी देखा जा सकता है। ऐसे सभी अवसरों पर इस बात का स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया कि आरोग्यसेतु ऐप उद्योग और शिक्षा जगत के स्वयंसेवियों के सहयोग से राष्ट्रीय सूचना-विज्ञान केंद्र (एनआईसी) द्वारा विकसित किया गया है। आरोग्यसेतु ऐप को सर्वाधिक पारदर्शी तरीके से विकसित किया गया है और प्राइवेसी पॉलिसी और आरोग्यसेतु डेटा ऐक्सेस एंड नॉलेज शेयरिंग प्रोटोकॉल समेत सभी विवरण 11 मई 2020 को आरोग्यसेतु पोर्टल- aarogyasetu.gov.in पर अपलोड कर दिए गए हैं। पोर्टल में ऐप कैसे काम करता है, कोविड अपडेट और क्यों किसी व्यक्ति को आरोग्यसेतु ऐप प्रयोग करना चाहिए, समेत ऐप के बारे में सभी जानकारी है। आरोग्यसेतु ऐप के बारे में नियमित अपडेट सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म और सरकारी पोर्टल पर भी साझा किए गए हैं। बहुत से टीवी कार्यक्रमों और मीडिया ब्रीफिंग में भी ऐप के बारे में पूरी जानकारी, इसका विकास और कोविड-19 के विरुद्ध लड़ाई में यह कैसे सहायता कर रहा है, इसको साझा किया गया।

जैसा कि पहले उल्लेख किया गया है, ऐप को सरकार और निजी क्षेत्र के एक सहयोगपूर्ण प्रयास से विकसित किया गया है। ऐप को 16.23 करोड़ से अधिक उपयोगकर्ताओं द्वारा डाउनलोड किया जा चुका है और कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में इसने अग्रिम पंक्ति के स्वास्थ्य कर्मियों के प्रयासों को बहुत संवर्धित किया है। इसने कोविड पॉजिटिव यूजर्स के ब्लूटूथ संपर्कों की पहचान में मदद की है और अलर्ट जारी कर लोगों को सुरक्षित बनाए रखने में सहायता की है। इन ब्लूटूथ संपर्कों को कोविड-19 यूजर के साथ संपर्क में आने की सीमा के आधार पर सावधानी, क्वारंटाइन या परीक्षण की सलाह दी गई है। जिन लोगों को परीक्षण की सलाह दी गई उनमें लगभग 25 प्रतिशत का परीक्षण पॉजिटिव आया है। यह कुल पॉजिटिव होने की दर 7-8 प्रतिशत की तुलना में काफी अधिक है। इस प्रकार आरोग्यसेतु के साथ परीक्षण की क्षमता बढ़ गई। इसके अतिरिक्त, लोकेशन डेटा के साथ आरोग्यसेतु इतिहास (ITIHAS) इंटरफेस ने उभरते हुए हॉटस्पॉट की पहचान करने में मदद की है, जहां वायरस के प्रसार को रोकने के लिए स्वास्थ्य प्राधिकारियों और प्रशासन द्वारा पहले ही सक्रिय कदम उठा लिए गए। इस प्रकार, आरोग्यसेतु ऐप कोविड-19 के विरुद्ध भारत की लड़ाई में बहुत उपयोगी सिद्ध हुआ है। हाल ही में, डब्ल्यूएचओ ने भी भारत में महामारी को रोकने में आरोग्यसेतु की भूमिका की प्रशंसा की है।

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