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नव्या


विकसित भारत के लिए किशोरियों का सशक्तिकरण

Posted On: 28 SEP 2025 10:47AM by PIB Delhi

प्रमुख बातें

 

  • 24 जून, 2025 को शुरू की गई नव्या (एनएवीवाईए) पहल का उद्देश्य पीएमकेवीवाई 4.0 के तहत 16-18 वर्ष की आयु की लड़कियों को डिजिटल मार्केटिंग, साइबर सुरक्षा और अन्य जैसे गैर-पारंपरिक, उभरते क्षेत्रों में प्रशिक्षित करना है।
  • इसमें 7 घंटे का एक प्रशिक्षण मॉड्यूल भी शामिल है जो स्वच्छता, संघर्ष प्रबंधन, संचार कौशल, कार्यस्थल सुरक्षा (पॉशपोक्सो कानून) जैसे पारस्परिक कौशल और बजट, आय प्रबंधन सहित वित्तीय साक्षरता पर केंद्रित है।
  • यह पहल 19 राज्यों के 27 आकांक्षी और पूर्वोत्तर जिलों की 3850 लड़कियों को कवर करेगी और वर्तमान में इसे 9 राज्यों के 9 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में चलाया जा रहा है।

 

परिचय

24 जून, 2025 को शुरू की गई नव्या (युवा किशोरियों के लिए व्यावसायिक प्रशिक्षण के माध्यम से आकांक्षाओं का पोषण) पहल, कौशल विकास एवं उद्यमशीलता मंत्रालय (एमएसडीई) और महिला एवं बाल विकास मंत्रालय (एमडब्ल्यूसीडी) का एक अग्रणी संयुक्त प्रयास है। इसका उद्देश्य किशोरियों को उभरते क्षेत्रों में नौकरी के लिए कौशल प्रशिक्षण प्रदान करना है, साथ ही उन्हें व्यक्तिगत स्वच्छता से लेकर संचार, कार्यस्थल सुरक्षा और वित्तीय साक्षरता जैसे कौशलों से सशक्त बनाना है। इसका उद्देश्य उनमें आत्मविश्वास, रोजगारपरकता और उद्यमशीलता की भावना को बढ़ावा देना है। उत्तर प्रदेश के सोनभद्र में शुरू की गई यह पहल 16-18 वर्ष की आयु की न्यूनतम दसवीं कक्षा उत्तीर्ण लड़कियों के लिए है। इसमें विशेष रूप से वंचित और आदिवासी क्षेत्रों की 3850 लड़कियों को शामिल किया जाएगा।

नव्या, प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) और पीएम विश्वकर्मा जैसी प्रमुख योजनाओं के संसाधनों को एकीकृत करके, डिजिटल मार्केटिंग, साइबर सुरक्षा, एआई-सक्षम सेवाएं, ग्राफिक डिजाइन, ड्रोन असेंबली, पेशेवर मेकअप आर्टिस्ट, सीसीटीवी और सोलर पीवी इंस्टॉलेशन जैसी गैर-पारंपरिक और उभरती हुई नौकरियों में मांग-आधारित प्रशिक्षण प्रदान करती है। इसके अलावा, यह पहल शिक्षा और आजीविका के बीच की खाई को पाटने और स्वास्थ्य, पोषण, वित्तीय साक्षरता और जीवन कौशल पर मॉड्यूल के माध्यम से समग्र विकास प्रदान करके स्व-रोजगार, इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप के अवसर पैदा करने का प्रयास करती है।

15 जुलाई, 2015 को शुरू की गई प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) युवाओं को कौशल प्रमाणन के लिए निःशुल्क, अल्पकालिक प्रशिक्षण और मौद्रिक पुरस्कार प्रदान करके कौशल विकास को बढ़ावा देती है। पीएमकेवीवाई 2016-2020 ने उद्योग की प्रासंगिकता और युवाओं की रोजगार क्षमता बढ़ाने के लिए मेक इन इंडिया और डिजिटल इंडिया जैसी राष्ट्रीय पहलों के साथ तालमेल बिठाते हुए अपनी क्षेत्रीय व भौगोलिक पहुँच का विस्तार किया।

 

सितंबर 2023 में शुरू की गई प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना, कुम्हारों, सुनारों, मूर्तिकारों और कारीगरों जैसे पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को कौशल प्रशिक्षण, आधुनिक उपकरण और वित्तीय सहायता प्रदान करके सशक्त बनाती है। इसका उद्देश्य स्थायी आर्थिक अवसरों के माध्यम से उनकी आजीविका को बढ़ाना, स्व-रोजगार को बढ़ावा देना और भारत की सांस्कृतिक विरासत का संरक्षण करना है। प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना 13,000 करोड़ के वित्तीय परिव्यय के साथ शुरू की गई थी, जो वित्त वर्ष 2023-24 से वित्त वर्ष 2027-28 तक चलेगी।

 क्षेत्रीय और भौगोलिक पहुंच का विस्तार किया।

मुख्य उद्देश्य

"नव्या किशोरियों को आत्मनिर्भर बनाने में एक मील का पत्थर साबित होगी। हमारी साझा प्रतिबद्धता लड़कियों को ऐसे कौशल प्रदान करना है जिससे वे स्वतंत्र और सशक्त नागरिक बन सकें। यह पहल उन्हें सम्मान और आत्मविश्वास से भरा जीवन जीने में मदद करेगी।"

श्रीमती सावित्री ठाकुर, महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री

नव्या पहल युवा महिलाओं को तकनीकी कौशल प्रदान करती है, जिससे वे प्रतिस्पर्धी नौकरी बाजारों में सफल होने या उद्यमशीलता के क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए आवश्यक आत्मविश्वास और लचीलापन विकसित कर पाती हैं। इस समग्र दृष्टिकोण के माध्यम से, नव्या यह सुनिश्चित करती है कि प्रतिभागी सामाजिक-आर्थिक स्वतंत्रता प्राप्त करने और अपने समुदायों में सार्थक योगदान देने के लिए पूरी तरह तैयार हों। यह पहल मानकीकृत, उद्योग-समन्वित प्रशिक्षण और प्रमाणन तक पहुंच सुनिश्चित करती है, जिससे रोजगार क्षमता को बढ़ावा मिलता है।

19 राज्यों के 27 आकांक्षी और पूर्वोत्तर जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में कार्यान्वित, और पीएमकेवीवाई 4.0 के तहत 3,850 लड़कियों को प्रशिक्षित करने के लक्ष्य के साथ, नव्या पहल प्रधानमंत्री के Viksit Bharat@2047 के विजन के अनुरूप है।


 

इस पहल के कुछ प्रमुख उद्देश्य इस प्रकार हैं:

· पारंपरिक और गैर-पारंपरिक क्षेत्रों के अनुरूप मांग-आधारित व्यावसायिक प्रशिक्षण प्रदान करना: नव्या प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य सेवा और शिल्प जैसे क्षेत्रों में विशिष्ट प्रशिक्षण प्रदान करती है, जिसमें पारंपरिक कौशल को कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) और डिजिटल मार्केटिंग जैसी आधुनिक भूमिकाओं के साथ मिश्रित किया जाता है। पाठ्यक्रम वर्तमान उद्योग की मांगों को पूरा करने के लिए डिजाइन किए गए हैं, जिससे प्रासंगिकता और रोजगारपरकता सुनिश्चित होती है।

  • स्वास्थ्य, पोषण, स्वच्छता, वित्तीय साक्षरता, जीवन कौशल और कानूनी जागरूकता पर मॉड्यूल के माध्यम से समग्र विकास को सुगम बनाना: नव्या किशोरियों को आवश्यक जीवन कौशल से सशक्त बनाने के लिए व्यापक प्रशिक्षण मॉड्यूल एकीकृत करती है। इनमें स्वास्थ्य और पोषण शिक्षा, आर्थिक स्वतंत्रता के लिए वित्तीय साक्षरता और अधिकारों व सुरक्षा को समझने के लिए कानूनी जागरूकता शामिल है।
  • रोजगार, स्व-रोज़गार और इंटर्नशिप, अप्रेंटिसशिप और रोज़गार के अवसरों जैसे अग्रिम संपर्कों को बढ़ावा देना: यह कार्यक्रम उच्च-मांग वाले क्षेत्रों में इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप के माध्यम से प्रशिक्षुओं को रोज़गार बाज़ार से जोड़ता है। यह स्व-रोजगार उपक्रमों के लिए संसाधन और मार्गदर्शन प्रदान करके उद्यमिता को भी बढ़ावा देता है।
  • लैंगिक-समावेशी कौशल को मज़बूत करना और एक सुरक्षित, सहायक प्रशिक्षण वातावरण का निर्माण करना: यह पहल वजीफे और लचीले कार्यक्रम के साथ सुरक्षित, महिला-अनुकूल प्रशिक्षण स्थलों को प्राथमिकता देती है। यह लड़कियों को साइबर सुरक्षा जैसे गैर-पारंपरिक क्षेत्रों में प्रवेश के लिए प्रोत्साहित करके लैंगिक समानता को बढ़ावा देता है।

· खासकर वंचित और दूरदराज के इलाकों की लड़कियों के लिए, शिक्षा और आजीविका के बीच की खाई को पाटना: आकांक्षी जिलों और पूर्वोत्तर राज्यों की लड़कियों को लक्षित करते हुए, नव्या शिक्षा को स्थायी आजीविका से जोड़ती है। यह दूरदराज के इलाकों में सामाजिक-आर्थिक बाधाओं को दूर करने के लिए प्रमाणन और रोजगार उपलब्ध कराती है।

चार महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करते हुए, विशेष रूप से डिजाइन किया गया 7 घंटे का पूरक प्रशिक्षण मॉड्यूल कार्यक्रम के प्रभाव को और बढ़ाता है:

  • पारस्परिक कौशल: पेशेवर व्यवहार बनाने के लिए स्वच्छता, आत्म-प्रस्तुति और संघर्ष प्रबंधन को शामिल करना;
  • संचार कौशल: कार्यस्थल पर बातचीत को बेहतर बनाने के लिए सक्रिय श्रवण और प्रभावी संचार पर जोर देना;
  • कार्यस्थल सुरक्षा: सुरक्षित कार्य वातावरण सुनिश्चित करने के लिए पॉश (यौन उत्पीड़न निवारण) और पोक्सो (यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण) कानूनों की जानकारी प्रदान करना;
  • वित्तीय साक्षरता: आर्थिक सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए बजट, आय प्रबंधन और बुनियादी वित्तीय अवधारणाओं को सिखाना।

यह व्यापक ढांचा सुनिश्चित करता है कि नव्या प्रतिभागी तकनीकी विशेषज्ञता और आवश्यक जीवन कौशल दोनों से लैस हों, जिससे वे भारत की समावेशी विकास गाथा में उत्प्रेरक के रूप में स्थापित हों।

वर्तमान में, यह पहल 9 राज्यों - महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक, पंजाब, उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश, झारखंड और हिमाचल प्रदेश के 9 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में संचालित की जा रही है। इन जिलों को नीति आयोग द्वारा 'आकांक्षी' जिलों के रूप में चिन्हित किया गया है।

 

निष्कर्ष

नव्या पहल भारत के आकांक्षी और पूर्वोत्तर जिलों में किशोरियों को सशक्त बनाने की दिशा में एक परिवर्तनकारी कदम है। पीएमकेवीवाई 4.0 के अंतर्गत व्यावसायिक प्रशिक्षण को समग्र जीवन कौशल विकास के साथ एकीकृत करके, नव्या युवा महिलाओं को सामाजिक-आर्थिक स्वतंत्रता प्राप्त करने और भारत के 'Viksit Bharat@2047' के विजन में सक्रिय योगदान देने के लिए आवश्यक साधन प्रदान करती है। डिजिटल मार्केटिंग और साइबर सुरक्षा जैसे उभरते क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करने के साथ-साथ वित्तीय साक्षरता और कार्यस्थल सुरक्षा जैसे आवश्यक कौशलों के माध्यम से, यह पहल शिक्षा और स्थायी आजीविका के बीच की खाई को पाटती है। नौ राज्यों में पायलट प्रोजेक्ट के कार्यान्वयन से समावेशी, लैंगिक-समान अवसर पैदा करने और प्रतिभागियों में लचीलापन और उद्यमशीलता की भावना को बढ़ावा देने की इसकी क्षमता प्रदर्शित होती है। जैसे-जैसे नव्या का विकास जारी है, यह आशा का प्रतीक बनकर युवा लड़कियों को भारत के समावेशी विकास की आत्मविश्वासी, कुशल और आत्मनिर्भर चालक बनने के लिए सशक्त बना रही है।

 

संदर्भ:

 

Press Information Bureau:

https://www.pib.gov.in/PressReleaseIframePage.aspx?PRID=2139299

https://www.pib.gov.in/PressReleasePage.aspx?PRID=2139006

https://www.pib.gov.in/PressNoteDetails.aspx?NoteId=154880&ModuleId=3

https://www.pib.gov.in/PressNoteDetails.aspx?NoteId=155216&ModuleI=3

https://www.pib.gov.in/PressNoteDetails.aspx?NoteId=155216&ModuleId=3#:~:text=PM%20Vishwakarma%20Scheme%20was%20launched,24%20to%20FY%202027%2D28

https://www.pib.gov.in/PressReleseDetailm.aspx?PRID=2139341

https://www.pib.gov.in/PressReleasePage.aspx?PRID=2157512

 

Ministry of Skill Development and Entrepreneurship:

https://sansad.in/getFile/loksabhaquestions/annex/185/AU3989_BJooPJ.pdf?source=pqals

https://www.instagram.com/skill_india_official/

https://www.msde.gov.in/offerings/schemes-and-services/details/pradhan-mantri-kaushal-vikas-yojana-4-0-pmkvy-4-0-2021-ITO3ATMtQWa

 

Ministry of Micro, Small and Medium Enterprises:

https://www.india.gov.in/spotlight/pradhan-mantri-vishwakarma-scheme

https://pmvishwakarma.gov.in/

 

Ministry of Women and Child Development:

https://www.instagram.com/p/DLSRLbOyxDg/

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