सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय

हरित राजमार्ग नीति

Posted On: 07 AUG 2024 1:04PM by PIB Delhi

हरित राजमार्ग नीति (वृक्षारोपण, प्रत्यारोपण, सौंदर्यीकरण और रखरखाव), 2015 के उद्देश्य निम्नानुसार थे:

  1. राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे वृक्षारोपण के लिए नीतिगत ढांचा विकसित करना।
  2. वायु प्रदूषण और धूल के प्रभाव को कम करने के लिए, क्योंकि पेड़ों और झाड़ियों को वायु प्रदूषकों के लिए प्राकृतिक सिंक के रूप में जाना जाता है।
  3. गर्मियों के दौरान दहकती गर्म सड़कों पर आवश्यक छाया प्रदान करना।
  4. वाहनों की बढ़ती संख्या के कारण लगातार बढ़ते ध्वनि प्रदूषण के प्रभाव को कम करना;
  5. तटबंध की ढलानों पर मिट्टी के कटाव को रोकना।
  6. आने वाले वाहनों की हेडलाइट की चकाचौंध को रोकने के लिए।
  7. हवा और आने वाली विकिरण के प्रभाव को कम करना।
  8. स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा करना।

एनएचएआई ने हरित राजमार्ग नीति 2015 के अनुसार राष्ट्रीय राजमार्गों पर अब तक 402.28 लाख पौधे सफलतापूर्वक लगाए हैं।

अब तक (2023-24 तक) किए गए वृक्षारोपण का ब्यौरा अनुलग्नक में संलग्न है।

वृक्षारोपण का कार्य स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी), निजी एजेंसियों, राज्य वन विभाग और वन निगम तथा स्वीकृत कार्य के दायरे के अनुसार ठेकेदारों द्वारा किया जा रहा है।

सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, एनएचएआई और एनएचआईडीसीएल के लिए जीएचपी (वृक्षारोपण, प्रत्यारोपण, सौंदर्यीकरण और रखरखाव) की योजना, कार्यान्वयन और निगरानी के लिए एनएचएआई, एनएचआईडीसीएल और सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की अन्य एजेंसियों के क्षेत्रीय कार्यालयों के माध्यम से वृक्षारोपण की सभी परियोजनाओं की समग्र निगरानी के लिए सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय में एक वृक्षारोपण प्रकोष्ठ की स्थापना की गई है।

यह मंत्रालय मुख्य रूप से राष्ट्रीय राजमार्गों के विकास और रखरखाव के लिए उत्तरदायी है। हालांकि, राष्ट्रीय राजमार्गों के अलावा अन्य राज्यों से संबंधित नीतियां उनके पास हैं।

अनुलग्नक

यह जानकारी केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री श्री नितिन गडकरी ने आज राज्य सभा में एक लिखित उत्तर में दी।

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