वित्‍त मंत्रालय

आंध्र प्रदेश बिजली के क्षेत्र में सुधार लागू करने वाला दूसरा राज्य बना


1,515 करोड़ रुपये के अतिरिक्त वित्तीय संसाधन जुटाने की अनुमति प्राप्त हुई

राज्य को चार नागरिक केंद्रित क्षेत्रों में सुधार करने के लिए 9,190 करोड़ रुपये जुटाने की अनुमति प्रदान की गई

Posted On: 04 FEB 2021 6:00PM by PIB Delhi

आंध्र प्रदेश, वित्त मंत्रालय के व्यय विभाग द्वारा बिजली क्षेत्र में निर्धारित किए गए सुधारों को लागू करने वाला दूसरा राज्य बन गया है। सुधारों के अंतर्गत, राज्य द्वारा सितंबर, 2020 से किसानों को डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) के माध्यम सेबिजली सब्सिडीप्रदान की जा रही है। इस प्रकार राज्य द्वारा बिजली क्षेत्र में निर्धारित किए गए तीन सुधारों में से एक सुधार को सफलतापूर्वक लागू कर दिया गया है।

सुधार का सफलतापूर्वक कार्यान्वयन करने के साथ ही यह राज्य अपने सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) का 0.15 प्रतिशत के बराबर अतिरिक्त वित्तीय संसाधन जुटाने का पात्र बन गया है।तदनुसार, व्यय विभाग ने राज्य को 1,515 करोड़ रुपये के अतिरिक्त संसाधनको जुटाने की अनुमति प्रदान कर दी है। इसके द्वारा राज्य को कोविड-19 महामारी से लड़ने के लिए बहुत आवश्यक अतिरिक्त वित्तीय संसाधन प्राप्त हुआ है।

आंध्र प्रदेश के अलावा मध्य प्रदेश ने भी बिजली के क्षेत्र में सुधार को लागू किया है। तदनुसार, राज्य को 18 जनवरी, 2020-21 को अपने सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) का 0.15 प्रतिशत के बराबर 1,423 करोड़ रुपये की अतिरिक्त संसाधन जुटाने की अनुमति प्रदान की गई है।

वित्त मंत्रालय द्वारा बिजली क्षेत्र में लागू किए गए सुधारों का उद्देश्य, किसानों के लिए बिजली सब्सिडी के प्रावधानों को पारदर्शी और परेशानी मुक्त बनाना और लीकेज को रोकना है। इसका उद्देश्य दीर्घकालिक रूप से चल निधि के तनाव को समाप्त करके, बिजली वितरण कंपनियों की स्थिति में सुधार लाना भी है।

व्यय विभाग द्वारा जारी किए गए दिशानिर्देशों के अनुसार, बिजली क्षेत्र में सुधार करने वाले राज्यों को उनके जीएसडीपी का 0.25 प्रतिशत तक अतिरिक्त वित्तीय संसाधन जुटाने की अनुमति प्रदान की गई है। इस क्षेत्र में 3 सुधारों के समूह से यहजुड़ा हुआ है:

  1. निर्धारित लक्ष्यों के अनुसार, राज्य में कुल तकनीकी और वाणिज्यिक नुकसान में कमी लाने के लिए जीएसडीपी का 0.05 प्रतिशत प्राप्त करने की अनुमति।
  2. निर्धारित लक्ष्यों के अनुसार,राज्य में आपूर्ति की औसत लागत और औसत राजस्व वसूली (एसीएस-एआरआर अंतर) के बीच के अंतर को कम करने के लिए जीएसडीपी का एक अन्य 0.05 प्रतिशत प्राप्त करने की अनुमति।
  3. अंत में, राज्य द्वारा सभी किसानों को मुफ्त/सब्सिडी वाली बिजली के लिएडायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) का कार्यान्वयन करने पर राज्य के जीएसडीपी का 0.15%। इसके लिए राज्य सरकार को 31 दिसंबर, 2020 तक नगद हस्तांतरणकी योजना बनाने और इस योजना को कम से कम एक जिले में लागू करना आवश्यक था।

आंध्र प्रदेश द्वारा राज्य में कृषि उपभोक्ताओं के लिए एक डीबीटी योजना बनाई गई। इस योजना को सितंबर, 2020 से राज्य के श्रीकाकुलम जिले में लागू किया गया। राज्य द्वारा सूचित किया गया कि अप्रैल, 2021 से पूरे राज्य में डीबीटी योजना की शुरूआत की जाएगी।   

भारत सरकार द्वाराकोविड-19 महामारी से उत्पन्न हुई चुनौतियों का सामना करने के लिए संसाधनों की आवश्यकाता को ध्यान में रखते हुए 17 मई, 2020 को राज्यों की ऋण सीमा में वृद्धि करके उनके जीएसडीपी का 2 प्रतिशत कर दिया गया। इस विशेष छूट का आधा हिस्सा राज्यों द्वारा नागरिक केंद्रित सुधारों की शुरूआत करने से जुड़ा हुआ है।

प्रत्येक क्षेत्र में सुधारों को पूरा करने पर राज्यों को उनके जीएसडीपी के 0.25 प्रतिशत के बराबर अतिरिक्त संसाधन जुटाने की अनुमति प्राप्त होती है। सुधार के लिए चार नागरिक केंद्रित क्षेत्रों की पहचान की गई है (क) वन नेशन वन राशन कार्ड प्रणाली का कार्यान्वयन (ख) ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में सुधार (ग) शहरी स्थानीय निकाय/उपयोगिता में सुधार और (घ) बिजली क्षेत्र में सुधार।

बिजली क्षेत्र में सुधार के अलावा, आंध्र प्रदेश ने वन नेशन वन राशन कार्ड में सुधार, शहरी स्थानीय निकाय/उपयोगिता में सुधार और ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में सुधार को भी पूरा कर लिया है। इसलिए राज्य को इन नागरिक केंद्रित क्षेत्रों में सुधार लाने के लिए प्रोत्साहन के रूप में कुल 9,190 करोड़ रुपये की अतिरिक्त राशि जुटाने की अनुमति प्रदान की गई है।  

अब तक, 16 राज्यों द्वारा निर्धारित सुधारों में से कम से एक को पूरा किया गया है और उन्हें सुधार से जुड़ी हुई ऋण प्राप्त करने की अनुमति प्रदान की गई है।इनमें से 12 राज्यों ने वन नेशन वन राशन कार्ड प्रणाली को लागू किया है, 11 राज्यों ने ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को लागू किया है, 5 राज्यों ने स्थानीय निकाय सुधार कोलागू किया है जबकि 2 राज्यों ने बिजली क्षेत्र में सुधार को लागू किया है।राज्यों को अब तक सुधार से जुड़ी हुई कुल 73,257 करोड़ रुपये की अतिरिक्त ऋण प्राप्त करने की अनुमति प्रदान की गई है।

****.**

एमजी/एएम/एके/एसएस



(Release ID: 1695867) Visitor Counter : 203


Read this release in: English , Urdu , Tamil