उपभोक्ता कार्य, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्रालय
श्री प्रल्हाद जोशी कल नई दिल्ली में राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस समारोह की अध्यक्षता करेंगे
राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस 2024 का विषय होगा वर्चुअल सुनवाई और उपभोक्ता न्याय तक डिजिटल पहुंच
13 प्रमुख ई-कॉमर्स कंपनियां उपभोक्ता सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सुरक्षा संकल्प-पत्र पर हस्ताक्षर करेंगी
उपभोक्ताओं को डार्क पैटर्न से सुरक्षित बनाने के लिए जागो ग्राहक जागो एप, जागृति एप और जागृति डैशबोर्ड का कल शुभारंभ होगा
सभी सेवाओं के लिए ई-मैप पोर्टल विधिक मापिकी सेवाएं आरंभ की जाएंगी
एआई-युक्त दूसरी राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन आरंभ होगी
भारतीय मानक ब्यूरो 2025 से स्मार्ट मानक अपनाएगा
प्रविष्टि तिथि:
23 DEC 2024 2:56PM by PIB Delhi
राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस पर केंद्रीय उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण तथा नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री श्री प्रल्हाद जोशी, उपभोक्ता अधिकारों के संरक्षण संबंधी विभिन्न प्रमुख पहल का शुभारंभ करेंगे और आयोजन को संबोधित करेंगे।
उपभोक्ता अधिकार संरक्षण पहल में निम्नलिखित उपाय शामिल हैं:
प्रमुख ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म द्वारा सुरक्षा संकल्प-पत्र पर हस्ताक्षर (उपभोक्ता सुरक्षा सुनिश्चित करने की स्वैच्छिक प्रतिबद्धता): उपभोक्ता मामले विभाग ने हितधारकों से व्यापक परामर्श के बाद एक संकल्प-पत्र को अंतिम रूप दिया है, जो ऑनलाइन विक्रय किए जाने वाले सामानों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और उपभोक्ता अधिकारों की रक्षा से संबंधित ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म की एक स्वैच्छिक सार्वजनिक प्रतिबद्धता है। वैश्विक सर्वोत्तम प्रचलनों के अनुरूप यह पहल ई-वाणिज्यिक बिक्री में उपभोक्ता संरक्षण सुदृढ़ करेगी।
राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस 2024 पर रिलायंस रिटेल समूह, टाटा संस समूह, ज़ोमैटो, ओला और स्विगी से संबंधित 13 ई-कॉमर्स प्लेटफ़ॉर्म के शीर्ष अधिकारियों द्वारा सुरक्षा संकल्प-पत्र पर हस्ताक्षर किए जाएंगे। सुरक्षा संकल्प-पत्र का पालन करने के प्रति उनका समर्थन और सहमति उपभोक्ता अधिकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।
डार्क पैटर्न से उपभोक्ताओं की सुरक्षा के लिए 'जागो ग्राहक जागो एप', 'जागृति एप' और 'जागृति डैशबोर्ड' की शुरुआत: ये सभी एप उपभोक्ता मामले विभाग को ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर डार्क पैटर्न पहचानने के उपाय और संसाधनयुक्त बनाएंगे और इनसे उपभोक्ता सशक्त होंगे। ये एक इंटेलिजेंट साइबर-फिजिकल प्रणाली का हिस्सा हैं जो वास्तविक समय में संचालित होती है और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और डेटा एनालिटिक्स के लिए राष्ट्रीय सुपरकंप्यूटिंग मिशन के ऐरावत एआई सुपरकंप्यूटर से जुड़ी है। यह नवीन प्रणाली ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर मौजूदा टेक्स्ट और डिज़ाइन एलिमेंट का विश्लेषण करती है ताकि निर्धारित किया जा सके कि इनका उपयोग उपभोक्ता मनोविज्ञान को प्रभावित करने के लिए किया जा रहा है या नहीं। जागो ग्राहक जागो एप उपभोक्ताओं की ऑनलाइन गतिविधियों के दौरान सभी यूनिफ़ॉर्म रिसोर्स लोकेटर (यूआरएल) के बारे में आवश्यक ई-कॉमर्स जानकारी देता है और सचेत करता है कि क्या कोई यूआरएल असुरक्षित है और सावधानी बरतने की आवश्यकता है। जागृति एप उपयोगकर्ताओं को उन यूआरएल की रिपोर्ट करने में सक्षम बनाता है जहां उन्हें अवैध घोषित किए गए एक या अधिक डार्क पैटर्न की मौजूदगी का संदेह हो। इन रिपोर्टों को संभावित समाधान और उपरान्त कार्रवाई के लिए केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) में शिकायत के रूप में पंजीकृत किया जाता है। इसके अतिरिक्त सीसीपीए को जागृति डैशबोर्ड के साथ संलग्न किया जा रहा है। इसका उपयोग डार्क पैटर्न की उपस्थिति पर ई-कॉमर्स यूआरएल की वास्तविक समय रिपोर्ट बनाने के लिए किया जाता है। इससे ऑनलाइन उपभोक्ता इंटरैक्शन की निगरानी और विनियमन क्षमता में बढोतरी होती है। यह समाधान सीसीपीए को डार्क पैटर्न की पहचान करने, उपभोक्ता विवादों के समाधान में तेजी लाने और उपभोक्ता हितों को हानि पहुंचाने वाले प्रचलन पर अंकुश लगाने में सहायक होगा।
सभी सेवाओं के लिए ई-मैप पोर्टल विधिक मापिकी सेवाएं: यह राज्यों की विधिक मापिकी सेवा पोर्टलों को एकल राष्ट्रीय प्रणाली से जोड़ने का एकीकृत डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है। यह पहल व्यवसायों के लिए लाइसेंसिंग, सत्यापन और पंजीकरण प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित बनाएगी, अनुपालन बोझ कम करेगी और पारदर्शिता को बढ़ावा देगी। ई-मैप का उद्देश्य व्यवसाय सुगमता बढ़ाना, उपभोक्ता अधिकारों का संरक्षण करना और डाटा-संचालन काम-काज को सक्षम बनाना है। इससे उद्योग के लिए व्यवसाय में आसानी होगी, उपभोक्ताओं को सही जानकारी प्राप्त होगी और विभिन्न राज्यों के विधिक मापिकी नियंत्रकों के बीच सहज सम्पर्क रहेगा।
एआई-सक्षम द्वितीय राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन का आरंभ: आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का अब सभी क्षेत्रों में इस्तेमाल किया जा रहा है। एआई की नवीन सुविधाओं और समाधानों को अपनाना अब हर क्षेत्र में अनिवार्य हो गया है। ये उपभोक्ताओं को दीर्घकाल तक सशक्त बनाए रखेगा। विभाग ने अपने राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन पोर्टल को नया रूप देकर इसमें उन्नत सुविधाएं शामिल की हैं। इसे कुशल कार्यक्षमता, बेहतर नेविगेशन और तीव्र शिकायत समाधान प्रणाली से युक्त बनाया गया है। यह बहुभाषी है और इसमें एआई-संचालित चैटबॉट भी शामिल हैं जो पूरे देश के उपभोक्ताओं के लिए सहज और समावेशी उपाय सुनिश्चित करेगा।
भारतीय मानक ब्यूरो 2025 से स्मार्ट मानक अपनाएगा: पारंपरिक रूप से मानकों को वर्ड प्रोसेसिंग डॉक्यूमेंट में लिखा जाता है और फिर इसे मानव उपयोग के लिए पीडीएफ में परिवर्तित किया जाता है। ये मानक पढ़ने में तो बहुत अच्छे हैं पर कंप्यूटर के लिए इन्हें समझना मुश्किल होता है। आज के डिजिटल युग में सिस्टम और मशीनें अधिक जटिल, अधिक ग्राही, स्वचालन और अनुकूलन में सक्षम होती जा रही हैं। इसलिए मानक भी ऐसे विकसित होने चाहिए जो मशीनों द्वारा पठनीय हों। स्मार्ट मानकों को मनुष्यों और मशीनों दोनों द्वारा आसानी से समझने के लिए विकसित किया गया है। इनकी निम्नलिखित विशिष्टताएं हैं:
- इंटरैक्टिव: आसानी से नेविगेट कर विशिष्ट जानकारी शीघ्रता से देती हैं।
- बुद्धिमतायुक्त: ये आसानी से एक से अधिक स्रोतों से खोजकर आवश्यक जानकारी प्रदान करती हैं।
- गतिशील: क्रॉस-रेफरेंस और संबंधित सामग्री त्वरित रूप से प्रदान करती है।
भारतीय मानक ब्यूरो ने डिजिटल विकास को अपनाते हुए अपनी स्मार्ट यात्रा आरंभ कर दी है। इससे मानकों के निर्धारण और हितधारकों द्वारा इनके उपयोग के तरीके में क्रांतिकारी बदलाव आएगा।
राष्ट्रीय परीक्षण शाला, गुवाहाटी में जैविक खाद्य परीक्षण प्रयोगशाला और राष्ट्रीय परीक्षण शाला, मुंबई में निम्न वोल्टेज स्विच गियर परीक्षण सुविधा का उद्घाटन:
राष्ट्रीय परीक्षण शाला (एनटीएच) देश का एक अग्रणी वैज्ञानिक संस्थान है, जो परीक्षण, अंशांकन और विशेषज्ञ गुणवत्ता मूल्यांकन करता है। राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस पर एनटीएच की दो अत्याधुनिक सुविधाओं का उद्घाटन किया जाएगा। ये पहल पूरे देश में उत्पाद सुरक्षा, गुणवत्ता और उपभोक्ताओं का भरोसा बढ़ाएगी।
पहली पहल एनटीएच (पूर्वोत्तर क्षेत्र), गुवाहाटी में एक जैविक खाद्य परीक्षण प्रयोगशाला है। इसका प्राथमिक उद्देश्य सार्वजनिक स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए खाद्य पदार्थां का गुणवत्ता परीक्षण करना है। इस प्रयोगशाला को भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) द्वारा अधिसूचित किया गया है और यह भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा मान्यता प्राप्त है।
दूसरी पहल विद्युत सुरक्षा और गुणवत्ता सुनिश्चित करने से संबंधित है। इसके तहत राष्ट्रीय परीक्षण शाला मुंबई में एक लो वोल्टेज स्विचगियर परीक्षण प्रयोगशाला स्थापित की गई है। यह उन्नत केंद्र विशेष शॉर्ट-सर्किट परीक्षण सहित व्यापक सुविधाएं और प्रमाणन सेवाएं प्रदान करेगी। इसके अतिरिक्त यह निर्माताओं और शैक्षणिक संस्थानों के अनुसंधान और विकास (आरएंडडी) के लिए महत्वपूर्ण संसाधन के रूप में कार्य करेगा।
क्षेत्रीय संदर्भ मानक प्रयोगशाला, अहमदाबाद में वजन और माप उपकरणों की सॉफ्टवेयर परीक्षण सुविधा राष्ट्र को समर्पित : उपभोक्ता मामले विभाग वजन और माप उपकरणों की सटीकता, विश्वसनीयता और वैश्विक अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए, सी-डैक के सहयोग से 6 क्षेत्रीय संदर्भ मानक प्रयोगशालाओं (आरआरएसएल) में सॉफ्टवेयर परीक्षण सुविधाएं स्थापित कर रहा है। अभी सी-डैक ने आरआरएसएल अहमदाबाद में परीक्षण सुविधा स्थापित की है। सॉफ्टवेयर परीक्षण सुविधा से घरेलू निर्माताओं को अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुपालन में मदद मिल रही है, प्रमाणन व्यय कम हुआ है और वैश्विक बाजार प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देने में सक्षमता से मेक इन इंडिया अभियान आगे बढ़ रहा है।
टोमैटो ग्रैंड चैलेंज की विजेता टीमों और मेंटर्स का अभिनंदन
उपभोक्ता मामले विभाग ने शिक्षा मंत्रालय (नवाचार प्रकोष्ठ) के सहयोग से 30 जून 2023 को टोमैटो ग्रैंड चैलेंज (टीजीसी) आरंभ किया है। इसका उद्देश्य कृषि भूमि/ग्रामीण/शहरी स्तरों पर स्थापित किए होने वाले टमाटर के उत्पादन-पूर्व, प्राथमिक प्रसंस्करण, उत्पादन पश्चात, भंडारण और मूल्य निर्धारण के लिए प्रौद्योगिकी विकसित करना है। टोमैटो ग्रैंड चैलेंज छात्रों और शोधकर्ताओं, स्टार्ट-अप्स और छोटे और मध्यम उद्यमों के लिए आरंभ किया गया है। इसके लिए कुल 1376 सुझाव प्राप्त हुए। तीन चरण की मूल्यांकन प्रक्रिया और उपभोक्ता मामले विभाग और अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआईसीटीई) अधिकारियों की टीम द्वारा उत्पादन स्थल के दौरे के बाद तीन टीमों को विजेता समाधान चुना गया है। विजेता टीमें निम्नलिखत हैं।
(i) मानव रचना अंतर्राष्ट्रीय अनुसंधान एवं अध्ययन संस्थान टीम ने एक जैव कीटनाशक टोमेटोलिक्सिर विकसित किया है। यह कम व्यय पर टमाटर में पर्ण रोग जनकों को नष्ट करेगा।
(ii) राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान, राउरकेला, ओडिशा की टीम ने जीरो एनर्जी कूलिंग मोबाइल यूनिट विकसित की है, जो टिकाऊ, ऊर्जा-मुक्त समाधान है। यह टमाटर को संरक्षित करता है, कटाई के बाद होने वाले नुकसान को कम करता है। यह बिजली या बाहरी ऊर्जा स्रोतों पर बिना निर्भर हुए वाष्पीकरण शीतलन सिद्धांतों के उपयोग से टमाटर की शेल्फ लाइफ बढ़ाता है।
iii) फ्रूवेटेक प्राइवेट लिमिटेड, आईआईटी, दिल्ली की टीम ने टोमोस्टेट टोमोट्रांस नामक एक नवीन उपकरण विकसित किया है। यह फसल के बाद भंडारण में टमाटर की शेल्फ लाइफ बढ़ाता है।
उपभोक्ता मामले विभाग के सहयोग से राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालयों द्वारा आयोजित विभिन्न प्रतियोगिताओं की विजेता टीमों को सम्मानित किया गया।
(i) उपभोक्ता पीठ, राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय, नई दिल्ली द्वारा उपभोक्ता कानून पर आयोजित छठी राष्ट्रीय प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता के विजेताओं का सम्मान
(ii) राष्ट्रीय विधि अध्ययन एवं अनुसंधान विश्वविद्यालय रांची के उपभोक्ता अनुसंधान एवं नीति विभाग द्वारा उपभोक्ता संरक्षण कानून पर आयोजित राष्ट्रीय मूट कोर्ट प्रतियोगिता के विजेताओं का सम्मान
(iii) नेशनल लॉ स्कूल ऑफ इंडिया यूनिवर्सिटी, बेंगलुरु के उपभोक्ता कानून और प्रैक्टिस विभाग द्वारा निबंध प्रतियोगिता के विजेताओं का सम्मान
राज्य विधिक मापिकी विभागों के सशक्तीकरण के लिए राज्य सरकारों को मानक बाट और माप सौंपे गए : उपभोक्ता मामले विभाग समय-समय पर व्यापार और वाणिज्य में सटीक माप सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकारों को मानक बाट और माप प्रदान करता है। ये द्वितीयक और कार्यकारी मानक अंतर्राष्ट्रीय प्रणालियों से जुड़े हुए मापन हैं। यह पहल उपभोक्ता संरक्षण, निष्पक्ष व्यापार और वैश्विक माप के साथ संरेखण को बढ़ावा देती है। केंद्रीय उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस 2024 पर 4 राज्यों के विधिक मापिकी नियंत्रकों को ये मानक बाट सौंपेंगे।
परस्पर हित के क्षेत्रों में सहयोग के लिए विधिक मापिकी विभाग और गुजरात विधि विश्वविद्यालय के बीच समझौता ज्ञापन: उपभोक्ता संरक्षण और विधिक मापिकी विशेषज्ञता बढ़ाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए उपभोक्ता मामले विभाग ने गुजरात राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय (जीएनएलयू) के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं। इस विशिष्ट साझेदारी का उद्देश्य संस्थागत सहयोग बढ़ाकर, विधिक मापिकी अधिनियम, 2009 के तहत बाट और माप के मानकों के कार्यान्वयन और व्याख्या, सेमिनार, सम्मेलन, कार्यशालाओं और व्याख्यानों जैसे कार्यक्रमों का आयोजन, उपभोक्ता अधिकारों और जागरूकता पर केंद्रित लक्षित प्रशिक्षण कार्यक्रम, प्रभावी शिकायत निवारण तंत्र की सुविधा; अनुसंधान और विकास (आरएंडडी) सुविधाएं साझा करना तथा व्यावहारिक उपभोक्ता संरक्षण रणनीतियों के साथ अकादमिक अनुसंधान को संबद्ध करना है।
विभिन्न ई-पुस्तकों का विमोचन और रिपोर्ट प्रस्तुति:
(i) भारतीय प्रबंध संस्थान रोहतक द्वारा किए गए प्रभाव आकलन अध्ययन के तहत उपभोक्ता आयोगों के पुनर्संरचना पर रिपोर्ट प्रस्तुति
(ii) पैकेज्ड कमोडिटीज नियमों पर अद्यतन ई-बुक का शुभारंभ, जिसमें सभी संशोधनों/अद्यतन का सारांश है
प्रत्येक वर्ष 24 दिसंबर को राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस मनाया जाता है। यह दिन भारत में उपभोक्ता आंदोलन के बदलते महत्व को दर्शाता है। इसी दिन उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 1986 को राष्ट्रपति की स्वीकृति मिली थी और इसे लागू किया गया था। यह कानून उपभोक्ताओं को अनुचित व्यापार प्रथाओं, धोखाधड़ी और शोषण से बचाने और उनके हितों और अधिकारों की रक्षा के लिए लागू हुआ था। तब से ही उपभोक्ता दिवस प्रत्येक वर्ष अलग-अलग विषय वस्तु के साथ मनाया जाता है ताकि बदलते बाजार के माहौल में उपभोक्ताओं के सामने आने वाले विभिन्न मुद्दों, रुझानों और चुनौतियों पर ध्यान केंद्रित किया जा सके।
इस वर्ष दिल्ली में मनाए जाने वाले उपभोक्ता दिवस का विषय वर्चुअल सुनवाई और उपभोक्ता न्याय तक डिजिटल पहुंच है। यह विषय नए उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 के उद्देश्यों के अनुरूप है। इसका उद्देश्य उपभोक्ताओं को त्वरित, न्यूनतम व्यय में समाधान और व्यवधान मुक्त न्याय प्रदान कराना है। संशोधित अधिनियम में डिजिटल माध्यम और उपकरणों के महत्व पर जोर दिया गया है जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि उपभोक्ता तेजी से बदलती ऑनलाइन प्रणालियों में न्याय पा सकें। उपभोक्ता शिकायतों की ई-फाइलिंग और ई-कॉमर्स के प्रावधानों के साथ अधिनियम में डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म माध्यम से न्याय पाने के सक्षम प्रावधान शामिल किए गए हैं।
इसी के अनुसार विभाग ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग और एकीकृत वाद प्रबंधन सुविधाओं के साथ त्रि -स्तरीय अर्ध-न्यायिक न्याय प्रणाली को सुदृढ़ किया है। पिछले कुछ वर्षों में विभाग ने राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन, ई-दाखिल, ई-जागृति जैसे पोर्टल देश भर में उपभोक्ताओं को उपलब्ध कराए हैं तथा व्यवस्था में प्रौद्योगिकी और नवाचार अपनाया है। इन प्लेटफार्मों की लगातार समीक्षा की जाती है और उन्हें एकीकृत उन्नत तकनीकों एआई आधारित वाक् पहचान, संक्रमण प्रणाली, बहुभाषी चैटबॉट से युक्त किया जाता है। ये प्रणाली शिकायत दर्ज करने और निवारण प्रक्रिया को अधिक सहज, कुशल और समावेशी बनाते हैं। इसलिए, विभाग ई-कॉमर्स, डेटा गोपनीयता और ऑनलाइन विज्ञापन जैसे उभरते मुद्दों के लिए डिजिटल पद्धति अपनाने पर तेजी से ध्यान केंद्रित कर रहा है।
इस वर्ष राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस के एजेंडे में डिजिटलीकरण और वर्चुअल तरीके से न्याय प्रदान कराने को महत्व दिया गया है। उपभोक्ताओं को डिजिटल उपायों से न्याय दिलाने के महत्व के साथ ही डिजिटल-पत्रों के माध्यम से संवहनीयता बढ़ाने पर भी ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। इसके अलावा इस उपभोक्ता दिवस पर विषय का महत्व तीन तकनीकी सत्रों से भी परिलक्षित होता है। इस वर्ष चर्चा के विषय हैं: हेल्थ वॉशिंग (किसी उत्पाद को वास्तविकता से अधिक स्वास्थ्यवर्धक बताकर उपभोक्ताओं को गुमराह करने की विपणन रणनीति) और इससे उपभोक्ताओं पर पड़ने वाले प्रभाव, उपभोक्ता आयोग के आदेशों का प्रभावी निष्पादन सुनिश्चित करने और कुशल, व्यवधान मुक्त और कम व्यय से प्रभावी न्याय दिलाने की ओर बढ़ने के लिए ई-जागृति/आभासी सुनवाई।
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एमजी/केसी/एकेवी/केके
(रिलीज़ आईडी: 2087368)
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