श्रम और रोजगार मंत्रालय
azadi ka amrit mahotsav

भारत में रोजगार की बढ़ती प्रवृत्ति

Posted On: 25 NOV 2024 6:07PM by PIB Delhi

आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण (पीएलएफएस), सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय (एमओएसपीआई) द्वारा रोजगार एवं बेरोजगारी पर तैयार किया गया आधिकारिक डेटा स्रोत है जिसे 2017-18 से लागू किया जा रहा है। सर्वेक्षण की अवधि प्रत्येक वर्ष जुलाई से जून है। पीएलएफएस की नवीनतम उपलब्ध वार्षिक  रिपोर्टों के अनुसार, देश में 15 वर्ष और उससे अधिक उम्र के लोगों के लिए सामान्य स्थिति पर अनुमानित श्रमिक जनसंख्या अनुपात (डब्ल्यूपीआर) और बेरोजगारी दर (यूआर) निम्नानुसार है:

वर्ष

डब्ल्यूपीआर (% में)

यूआर (% में)

2017-18

46.8

6.0

2018-19

47.3

5.8

2019-20

50.9

4.8

2020-21

52.6

4.2

2021-22

52.9

4.1

2022-23

56.0

3.2

2023-24

58.2

3.2

 

 

 

स्रोत: पीएलएफएस, एमओएसपीआई

उपरोक्त आंकड़ों के अनुसार, डब्ल्यूपीआर यानी रोजगार में वृद्धि की प्रवृत्ति है और बेरोजगारी दर में पिछले कुछ वर्षों में कमी की प्रवृत्ति है।

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा प्रकाशित केएलईएमएस (के: कैपिटल, एल: लेबर, : एनर्जी, एम: मैटेरियल्स एंड एस: सर्विसेज) डेटाबेस अखिल भारतीय स्तर पर रोजगार का अनुमान प्रदान करता है। डेटाबेस के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, 2023-24 के अनंतिम अनुमान के अनुसार, देश में 2014-15 में रोजगार 47.15 करोड़ की तुलना में वर्ष 2023-24 में बढ़कर 64.33 करोड़ हो गया। 2014-15 से 2023-24 के दौरान रोजगार में कुल वृद्धि लगभग 17 करोड़ है।

देश के युवाओं को एक मंच पर विभिन्न रोजगार संबंधी सेवाएं प्रदान करने के लिए, भारत सरकार ने राष्ट्रीय कैरियर सेवा (एनसीएस) पोर्टल (www.ncs.gov.in) शुरू किया है, जिसमें पोर्टल के माध्यम से नौकरी खोज और मिलान, करियर परामर्श, व्यावसायिक मार्गदर्शन, कौशल विकास पाठ्यक्रमों की जानकारी, इंटर्नशिप आदि जैसी सेवाएं शामिल की गई हैं। वर्ष 2024-25 के दौरान (15.11.2024 तक), एनसीएस पोर्टल पर 1.12 करोड़ रिक्तियां डाली गईं और 2015 में इसकी शुरुआत के बाद से पोर्टल पर 3.53 करोड़ से अधिक रिक्तियां जुटाई गई है।

इसके अलावा, भारत सरकार ने माई भारत प्लेटफॉर्म भी शुरू किया है जो युवाओं को सार्थक गतिविधियों में शामिल करने के उद्देश्य से पोर्टल पर विभिन्न संगठनों के माध्यम से जुड़ने का असंख्य अवसर प्रदान करता है। माई भारत पोर्टल की कल्पना युवा विकास और युवाओं के नेतृत्व वाले विकास के लिए एक महत्वपूर्ण, प्रौद्योगिकी-संचालित सुविधा के रूप में की गई है, जिसका लक्ष्य युवाओं को उनकी आकांक्षाओं को साकार करने के लिए समान अवसर प्रदान करना है।

सरकार की प्राथमिकता रोजगार सृजन के साथ-साथ रोजगार क्षमता में सुधार करना है। इसलिए, भारत सरकार ने देश में रोजगार उत्पन्न करने के लिए विभिन्न कदम उठाए हैं।

भारत सरकार के विभिन्न मंत्रालय/विभाग जैसे सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय, ग्रामीण विकास मंत्रालय, आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय, वित्त मंत्रालय, कपड़ा मंत्रालय, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय विभिन्न रोजगार सृजन योजनाओं/कार्यक्रमों को लागू कर रहे हैं जैसे प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी), महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा), दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना (डीडीयू-जीकेवाई), ग्रामीण स्वरोजगार और प्रशिक्षण संस्थान (आरएसईटीआई), दीनदयाल अंत्योदय योजना-राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (डीएवाई-एनयूएलएम), प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) आदि जिसमें रोजगार सृजन को बढ़ावा देने के लिए पूंजीगत व्यय में वृद्धि करना भी शामिल है।

भारत सरकार द्वारा लागू की जा रही विभिन्न रोजगार सृजन योजनाओं/कार्यक्रमों का ब्यौरा https://dge.gov.in/dge/schemes_programmes पर देखा जा सकता है।

इसके अलावा, सरकार ने बजट 2024-25 में, 5 वर्षों की अवधि में 2 लाख करोड़ रुपये के केंद्रीय परिव्यय के साथ 4.1 करोड़ युवाओं के लिए रोजगार, कौशल और अन्य अवसरों की सुविधा के लिए प्रधानमंत्री के 5 योजनाओं और पहलों के पैकेज की घोषणा की है।

यह जानकारी केंद्रीय श्रम एवं रोजगार राज्य मंत्री सुश्री शोभा करंदलाजे ने आज लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी।

******

एमजी/केसी/एके

 


(Release ID: 2077070) Visitor Counter : 27


Read this release in: English , Urdu , Tamil