रक्षा मंत्रालय

रक्षा मंत्रालय ने 'व्यापार में सुगमता' को और बढ़ावा देने के लिए सीलबंद विवरण रखने वाले प्राधिकरण (एएचएसपी) में सुधार शुरू किए


रक्षा उद्योग अब एएचएसपी के रूप में अपने उत्पादों और अपने फाइनल डिजाइन/विशिष्टताओं में समयगत सुधार ला सकता है

Posted On: 18 APR 2023 6:21PM by PIB Delhi

रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने सीलबंद विवरण रखने वाले प्राधिकरण (एएचएसपी) से जुड़े उद्योग अनुकूल सुधार लाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। एएचएसपी वो प्राधिकरण है जो रक्षा उत्पादों के संपूर्ण इतिहास और तकनीकी जानकारी को उत्पन्न करने, बनाए रखने, अपडेट करने या अप्रचलित घोषित करने के लिए जिम्मेदार है।

अब तक विभिन्न डीपीएसयू और निजी उद्योगों द्वारा डिजाइन, विकसित और निर्मित अधिकांश रक्षा वस्तुओं के लिए एएचएसपी प्राधिकरण, गुणवत्ता आश्वासन महानिदेशालय (डीजीक्यूए) था। बदलते वक्त के साथ इस उद्योग द्वारा अपने उत्पादों और प्रौद्योगिकियों में सुधार लाने में मौजूदा प्रक्रिया के दौरान कुछ बाधाओं का सामना किया गया था। इसलिए मंत्रालय ने अब एएचएसपी प्रक्रियाओं को उदार बनाने और इसे उद्योग अनुकूल बनाने का निर्णय लिया है।

भारतीय रक्षा कंपनियां, जिन्होंने अपनी खुद की स्वदेशी क्षमताओं (महत्वपूर्ण भंडारों को छोड़कर) के आधार पर उत्पाद, प्रणालियां, उप-प्रणालियां, पुर्जे विकसित किए हैं, अब उन्हें एएचएसपी के रूप में अपने फाइनल डिजाइन और विशिष्टताओं का स्वामित्व रखने और उनका हिसाब रखने की अनुमति होगी। सीलबंद विवरणों में किसी भी बदलाव के मामले में इस उद्योग सहित सभी संबंधित हितधारकों का प्रतिनिधित्व करने वाला एक सरलीकृत तंत्र फैसला करेगा। डीजीक्यूए दो महीने के भीतर इस संबंध में विस्तृत प्रक्रिया को अधिसूचित करेगा।

डीजीक्यूए को तमाम एएचएसपी की जांच करने और दो महीने के भीतर पूरी सूची को युक्तिसंगत बनाने के लिए भी कहा गया है। इसके अलावा, उन्हें जल्द से जल्द एएचएसपी को इस उद्योग को स्थानांतरित करने की सलाह दी गई है। 'व्यापार में सुगमता' को और बढ़ावा देने के लिए सरकार का ये एक और महत्वपूर्ण कदम होगा।

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