कार्मिक, लोक शिकायत एवं पेंशन मंत्रालय

केंद्रीय मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह ने कहा, प्रशासनिक सुधारों का उद्देश्य अधिक दक्षता, पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त शासन एवं जवाबदेही को प्रोत्साहित करना और विवेक के दायरे को कम करना है

Posted On: 05 AUG 2021 3:58PM by PIB Delhi

केंद्रीय राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) विज्ञान और प्रौद्योगिकी; राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) पृथ्वी विज्ञान; राज्य मंत्री प्रधानमंत्री कार्यालय, कार्मिक, लोक शिकायत, पेंशन मंत्रालय, परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष विभाग डॉ जितेंद्र सिंह ने कहा है कि प्रशासनिक सुधार एक सतत प्रक्रिया है और सरकार "न्यूनतम सरकार- अधिकतम शासन" का पालन करती है। आज राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में उन्होंने कहा, सरकार समय-समय पर प्रशासनिक सुधार लाती है, ताकि अधिक दक्षता, पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त शासन, जवाबदेही को प्रोत्साहित किया जा सके और विवेक के दायरे को कम किया जा सके। कुछ प्रमुख कदम इस प्रकार हैं:

  1. "मिशन कर्मयोगी" का शुभारंभ- सिविल सेवा क्षमता निर्माण के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम (एनपीसीएससीबी): सिविल सेवा क्षमता निर्माण के लिए एक नयी राष्ट्रीय व्यवस्था   शुरू की गई है। यह कुशल सार्वजनिक सेवा देने के लिए व्यक्तिगत, संस्थागत और प्रक्रिया स्तरों पर क्षमता निर्माण तंत्र का व्यापक सुधार है;
  2. ई-समीक्षा- महत्वपूर्ण सरकारी कार्यक्रमों/परियोजनाओं के कार्यान्वयन के संबंध में शीर्ष स्तर पर सरकार द्वारा लिए गए निर्णयों की निगरानी और अनुवर्ती कार्रवाई के लिए एक वास्तविक समय ऑनलाइन प्रणाली;
  3. ई-ऑफिस- ई-ऑफिस मिशन मोड प्रोजेक्ट (एमएमपी) को मजबूत किया गया है ताकि मंत्रालयों/विभागों को कागज रहित कार्यालय में बदलने और कुशल निर्णय लेने में सक्षम बनाया जा सके;
  4. नियुक्तियों के लिए दस्तावेजों का स्व-प्रमाणन- जून, 2016 से, भर्ती एजेंसियां ​​उम्मीदवारों द्वारा स्व-प्रमाणित दस्तावेजों को जमा करने के आधार पर अनंतिम नियुक्ति पत्र जारी करती हैं;
  5. कनिष्ठ स्तर के पदों की भर्ती में साक्षात्कार की समाप्ति- विभाग/संबद्ध कार्यालय/अधीनस्थ कार्यालय/स्वायत्त निकाय/सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम कदाचार को रोकने और चयन प्रक्रिया में निष्पक्षता लाने के लिए जनवरी, 2016 से भारत सरकार के सभी मंत्रालयों में समूह 'सी', समूह 'बी' (अराजपत्रित पदों) और अन्य समकक्ष पदों पर भर्ती के लिए साक्षात्कार को समाप्त कर दिया गया है।
  6. वरिष्ठ पदों पर नियुक्ति- संयुक्त सचिव और उससे ऊपर के पदों के लिए पैनल में शामिल करने के लिए बहु-स्रोत फीडबैक शुरू किया गया है;
  7. सिटीजन चार्टर्स-सरकार ने सभी मंत्रालयों/विभागों के लिए सिटीजन चार्टर्स को अनिवार्य कर दिया है जिनका नियमित अंतराल पर अद्यतन करने के बाद उनकी  समीक्षा भी की जाती है। केंद्र सरकार के विभागों के नागरिक चार्टर सभी मंत्रालयों/विभागों की संबंधित वेबसाइटों और https://goicharters.nic.in/public/website/home पर उपलब्ध हैं;
  8. अयोग्य  और संदिग्ध सत्यनिष्ठा वाले अधिकारियों को समय से पहले सेवानिवृत्ति देने के लिए गहन समीक्षा;
  9. ऑनलाइन मॉड्यूल आधारित प्रशिक्षण के लिए एकीकृत सरकारी ऑनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रम का उपयोग;
  10. सुशासन सूचकांक 2019- शुरू किया गया था, यह शासन की स्थिति और राज्य सरकार और केंद्र शासित प्रदेशों (यूटी) द्वारा उठाए गए विभिन्न कदमों के प्रभाव का आकलन करता है। जीग्लेयर का उद्देश्य सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में शासन की स्थिति की तुलना करने के लिए मात्रात्मक आंकड़े उपलब्ध कराना, राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को अपने शासन में सुधार के लिए उपयुक्त रणनीति तैयार करने और उसे लागू करने एवं परिणाम उन्मुख दृष्टिकोण और प्रशासन में बदलाव करने में सक्षम बनाना है;
  11. 2014 में और उसके बाद 2020 में 'लोक प्रशासन में उत्कृष्टता के लिए प्रधानमंत्री पुरस्कार' योजना का व्यापक पुनर्गठन;
  12. ई-गवर्नेंस को समग्र रूप से बढ़ावा देने के लिए, प्रमुख एवं सहायक अवसंरचना (कोर और सपोर्ट इंफ्रास्ट्रक्चर) विकसित करने के लिए विभिन्न नीतिगत पहलें और परियोजनाएं शुरू की गई हैं;
  13. ई-गवर्नेंस पर राष्ट्रीय सम्मेलन - सरकार को ई-गवर्नेंस पहल से संबंधित अनुभवों का आदान-प्रदान करने के लिए उद्योग और शैक्षणिक संस्थानों के विशेषज्ञों और बुद्धिजीवियों के साथ जुड़ने के लिए एक मंच प्रदान करता है;
  14. राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस सेवा वितरण का मूल्यांकन- का उद्देश्य ई-गवर्नेंस सेवा वितरण की दक्षता पर राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों और केंद्रीय मंत्रालयों का आकलन करना है;
  15. केंद्रीकृत लोक शिकायत निवारण और निगरानी प्रणाली (सीपीजीआरएएमएस)-सरकार सर्वाधिक शिकायत प्राप्त करने वाले मंत्रालयों/विभागों में सीपीजीआरएएमएस सुधार कर रही है ताकि इससे प्रश्नावली निर्देशित पंजीकरण प्रक्रिया को सक्षम बनाया जा सके और शिकायतों को क्षेत्र स्तर के अधिकारियों को स्वत: अग्रेषित करने (भेजने) की सुविधा प्रदान की जा सके जिससे शिकायत के निवारण समय में कमी लाई जा  सके;
  16. केंद्रीय सचिवालय में जमा करने के चैनलों को 4 तक कम करने, ई-ऑफिस संस्करण 7.0 को अपनाने, केंद्रीय पंजीकरण इकाइयों का डिजिटलीकरण, केंद्रीय सचिवालय कार्यालय प्रक्रिया 2019 के मैनुअल के तहत आभासी निजी (वर्चुअल प्राइवेट) नेटवर्क का अधिक से अधिक प्रतिनिधित्व और डेस्क अधिकारी प्रणाली अपना कर केन्द्रीय  सचिवालय में निर्णय लेने की  दक्षता बढ़ाना।

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