सूचना और प्रसारण मंत्रालय
केंद्रीय गृह मंत्री ने उपराष्ट्रपति के दो वर्षों के कार्याकाल पर आधारित पुस्तक, “लिस्निंग, लर्निंग एंड लीडिंग” का विमोचन किया
सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने इस कार्यक्रम को आयोजित किया
Posted On:
11 AUG 2019 5:20PM by PIB Delhi
उपराष्ट्रपति श्री वेंकैया नायडू ने कहा कि अनुच्छेद 370 को निरस्त करना राष्ट्रहित में है। उपराष्ट्रपति “लिस्निंग, लर्निंग एंड लीडिंग” पुस्तक के विमोचन समारोह को संबोधित कर रहे थे। यह पुस्तक उपराष्ट्रपति के दो वर्षों के कार्याकाल पर आधारित है। उपराष्ट्रपति श्री नायडू ने कहा कि धारा 370 को निरस्त करने को एक राजनीतिक मुद्दा नहीं माना जाना चाहिए बल्कि इसे राष्ट्र की सुरक्षा और जम्मू-कश्मीर के लोगों के भविष्य के लिए एक साहसिक कदम के रूप में देखा जाना चाहिए।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि हमें इतिहास से सीखना चाहिए और आगे बढ़ना चाहिए। वर्तमान स्थिति में हमें कश्मीर के लोगों के साथ खड़े होना चाहिए और सामान्य को स्थिति बहाल करने का प्रयास करना चाहिए।
केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह ने “लिस्निंग, लर्निंग एंड लीडिंग” पुस्तक का विमोचन किया उपराष्ट्रपति श्री वेंकैया नायडू ने पुस्तक की पहली प्रति प्राप्त की। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने इस कार्यक्रम का आयोजन किया था।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि सरकार ने धारा 370 निरस्त करने के विधेयक को राज्यसभा में पेश किया। सदन ने दो तिहाई बहुमत से विधेयक को पारित किया।
उपराष्ट्रपति श्री वेंकैया नायडू ने कहा कि वे साधारण किसान परिवार से आते है। एक छात्र नेता के रूप में उनमें प्रतिबद्धता, समर्पण और ईमानदारी की भावना थी। वे बीजेपी और सरकार के विभिन्न पदो पर रहे। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के मंत्र सुधार, कार्य और बदलाव की सराहना करते हुए कहा कि इससे लोगों के विकास संबंधी दृष्टिकोण में काफी बदलाव आया है और पूरी दुनिया का ध्यान भारत पर केन्द्रित हुआ है।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि संसद सदस्य को सदन में अवरोध पैदा करने से बचना चाहिए। सदस्यों को संविधान निर्माताओं के सपनों को पूरा करने का प्रयास करना चाहिए।
उपराष्ट्रपति श्री वेंकैया नायडू ने कहा कि सरकार को नीति और कार्यान्वयन के अंतर को समाप्त करना चाहिए। परिणाम आधारित प्रबंधन प्रणाली तैयार की जानी चाहिए।
न्याय व्यवस्था के बारे में उपराष्ट्रपति ने कहा कि न्याय प्रणाली तक पहुंच आसान और विश्वसनीय होनी चाहिए तथा इसे समानता औऱ पारदर्शिता पर आधारित होना चाहिए। उन्होंने सरकार से पूर्व और पश्चिम के अलावा चेन्नई में भी सुप्रीम कोर्ट की खंडपीठ स्थापित करने का आग्रह किया।
दलबदल विरोधी कानून की कमियों का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि कानून का प्रभावी कार्यान्वयन होना चाहिए। उन्होंने कहा कि अध्यक्ष या चेयरमैन की निष्क्रियता के कारण दलबदल करने वाले विधायक नई पार्टी में बने रहते है, जो न्यायसंगत नहीं है।
केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह ने कहा कि अनुच्छेद 370 के हटने से आतंकवाद समाप्त होगा और कश्मीर विकास के मार्ग पर आगे बढ़ेगा। अनुच्छेद 370 बहुत पहले ही समाप्त हो जाना चाहिए था। श्री अमित शाह ने कहा कि उनके मन में कोई भ्रम नहीं है कि अनुच्छेद 370 को खत्म करना कश्मीर के लोगों के हित में है।
उन्होंने कहा कि उपराष्ट्रपति और राज्यसभा के सभापति ने कुशलता से तथा सभी दलों के विचारों को ध्यान में रखते हुए अनुच्छेद 370 को निरस्त करने का विधेयक पारित किया। गृह मंत्री ने को याद करते हुए कहा कि एक छात्र नेता के रूप में वेंकैया नायडू ने अनुच्छेद 370 के खिलाफ आंदोलन का नेतृत्व किया था और यह बहुत बड़ा संयोग है कि जब अनुच्छेद 370 निरस्त हुआ तो वे राज्यसभा के सभापति थे।
केंद्रीय सूचना और प्रसारण और पर्यावरण, वन तथा जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि उपराष्ट्रपति का विभिन्न पार्टियों के संसद सदस्यों के साथ निजी संबंध है। इससे राज्यसभा की कार्यवाही सुचारू रूप से चलती है। पिछले सत्र में रिकार्ड संख्या में विधेयक पारित हुए। उपराष्ट्रपति श्री वेंकैया नायडू की हाजिर जवाब टिप्पणियों से सदन का माहौल खुशनुमा रहता है।
समारोह में तमिलनाडु के राज्यपाल श्री बनवारीलाल पुरोहित, मुख्यमंत्री श्री ई. पलानीस्वामी, उपमुख्यमंत्री श्री ओ. पनीरसेल्वम और अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।
सूचना और प्रसारण मंत्रालय के सचिव श्री अमित खरे ने धन्यवाद ज्ञापन दिया।
पुस्तक विमोचन के अवसर पर क्षेत्रीय आउटरीच ब्यूरो, चेन्नई ने एक फोटो प्रदर्शनी का आयोजन किया। इसमें उपराष्ट्रपति के एक छात्र नेता, समाज के विभिन्न वर्गों के लोगों के साथ बातचीत, विश्व नेताओं के साथ मुलाकात और विश्वविद्यालयों, अनुसंधान संस्थानों के दौरों से संबंधित छायाचित्र प्रदर्शित किये गये हैं।
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आर.के.मीणा/आरएनएम/एएम/जेके/एनके -2427
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