कृषि एवं किसान कल्‍याण मंत्रालय
azadi ka amrit mahotsav

किसानों हेतु वैकल्पिक आय स्रोतों को बढ़ावा देना

प्रविष्टि तिथि: 02 DEC 2025 5:42PM by PIB Delhi

भारत सरकार किसानों की आय बढ़ाने और कृषि क्षेत्र के व्यापक विकास के लिए निम्नलिखित समेकित कार्यनीति को अपनाती है:-

 

  1. फसल उत्पादन/उत्पादकता में वृद्धि
  2. उत्पादन लागत में कमी
  3. किसानों की आय बढ़ाने के लिए उनकी उपज लाभकारी मूल्य सुनिश्चित करना।
  4. कृषि विविधीकरण
  5. फसलोपरांत मूल्य संवर्धन का विकास
  6. स्थायी कृषि के लिए जलवायु परिवर्तन के साथ अनुकूलन और फसल हानि को कम करना

 

कृषि राज्य का विषय होने के कारण भारत सरकार उचित नीतिगत उपायों, बजटीय आवंटन और विभिन्न योजनाओं के माध्यम से राज्यों की सहायता करती है। सरकार ने कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के बजट आवंटन को वर्ष  2013-14 के बजट अनुमान में 21,933.50 करोड़ रुपये से बढ़ाकर वर्ष 2025-26 के बजट अनुमान में 1,27,290.16 करोड़ रुपये कर दिया है।

 

भारत में किसानों की आय बढ़ाने और कृषि क्षेत्र के विकास के लिए कृषि एवं किसान कल्याण विभाग की प्रमुख योजनाएं इस प्रकार हैं:

1. प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान)

2. प्रधानमंत्री किसान मान धन योजना (पीएम-के.एम.वाई.)

3. प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (पी.एम.एफ.बी.वाई.)/रीस्ट्रक्चर्ड वेदर बेस्ड क्रॉप इंश्योरेंस स्कीम (आर.डब्ल्यू.बी.सी.आई.एस.)

4. संशोधित ब्याज छूट योजना (एम.आई.एस.एस.)

5. एग्रीकल्चर इन्फ्रास्ट्रक्चर फंड (ए.आई.एफ.)

6. 10,000 नए किसान उत्पादक संगठनों (एफ.पी.ओ.) का गठन और संवर्धन

7. राष्ट्रीय मधुमक्खी पालन और शहद मिशन (एन.बी.एच.एम.)

8. नमो ड्रोन दीदी

9. राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन (एन.एम.एन.एफ.)

10. प्रधानमंत्री अन्नदाता आय संरक्षण अभियान (पीएम-आशा)

11. स्टार्ट-अप और ग्रामीण उद्यमों के लिए एग्री फंड (एग्रीश्योर)

12. पर ड्रॉप मोर क्रॉप (पी.डी.एम.सी.)

13. कृषि मशीनीकरण उप-मिशन (एस.एम.ए.एम.)

14. परम्परागत कृषि विकास योजना (पी.के.वी.वाई.)

15. मृदा स्वास्थ्य एवं उर्वरता (एस.एच. एंड एफ.)

16. वर्षा सिंचित क्षेत्र विकास (आर.ए.डी.)

17. कृषि वानिकी

18. फसल विविधीकरण कार्यक्रम (सी.डी.पी.)

19. कृषि विस्तार उप-मिशन (एस.एम.ए.ई.)

20. बीज एवं रोपण सामग्री उप-मिशन (एस.एम.एस.पी.)

21. राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा एवं पोषण मिशन (एन.एफ.एस.एन.एम.)

22. एकीकृत कृषि विपणन योजना (आई.एस.ए.एम.)

23. समेकित बागवानी विकास मिशन (एम.आई.डी.एच.)

24. राष्ट्रीय खाद्य तेल मिशन (एन.एम.ई.ओ.)- ऑयल पाम

25. राष्ट्रीय खाद्य तेल मिशन (एन.एम.ई.ओ.)- तिलहन

26. पूर्वोत्तर क्षेत्र जैविक मूल्य श्रृंखला विकास मिशन

27. डिजिटल एग्रीकल्चर मिशन

28. राष्ट्रीय बांस मिशन

 

 

सरकार, राज्य सरकारों और संबंधित केंद्रीय मंत्रालयों/विभागों के अभिमतों पर विचार करने के बाद, कृषि लागत एवं मूल्य आयोग की सिफारिशों के आधार पर 22 अधिसूचित कृषि फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य और गन्ने के लिए उचित और लाभकारी मूल्य तय करती है। 22 अधिसूचित फसलों में 14 खरीफ फसलें जैसे धान, ज्वार, बाजरा, मक्का, रागी, तूअर (अरहर), मूंग, उड़द, मूंगफली, सोयाबीन, सूरजमुखी, तिल, नाइजरसीड, कपास और 6 रबी फसलें, जैसे गेहूं, जौ, चना, मसूर (मसूर), रेपसीड और सरसों, कुसुम और दो कमर्शियल फसलें जैसे जूट और खोपरा शामिल हैं।

न्यूनतम समर्थन मूल्य की सिफारिश करते समय, कृषि लागत एवं मूल्य आयोग कई महत्वपूर्ण कारकों पर विचार करता है, जैसे उत्पादन लागत, समग्र मांग-आपूर्ति की स्थिति, घरेलू एवं अंतरराष्ट्रीय मूल्य, अंतर-फसल मूल्य समानता, कृषि एवं गैर-कृषि क्षेत्रों के बीच व्यापार की शर्तें, अर्थव्यवस्था पर संभावित प्रभाव। इसके अतिरिक्त, भूमि, जल एवं अन्य उत्पादन संसाधनों के तर्कसंगत उपयोग को सुनिश्चित करते हुए उत्पादन लागत पर न्यूनतम 50 प्रतिशत का लाभांश भी जोड़ा जाता है। न्यूनतम समर्थन मूल्य फ्रेमवर्क में फसलों को शामिल करना कई कारकों पर निर्भर करता है, जिनमें अपेक्षाकृत लंबी भंडारण क्षमता, व्यापक रूप से उगाई जाने वाली फसलें, जनसामान्य द्वारा उपभोग की जाने वाली वस्तुएँ तथा खाद्य सुरक्षा के लिए आवश्यक फसलें आदि शामिल हैं।

वर्ष 2018-19 के यूनियन बजट में यह पूर्व-निर्धारित सिद्धांत घोषित किया गया था कि न्यूनतम समर्थन मूल्य उत्पादन लागत के डेढ़ गुना स्तर पर रखा जाएगा। तदनुसार, सरकार ने वर्ष 2018-19 से सभी अधिसूचित खरीफ, रबी तथा अन्य कॉमर्शियल फसलों के एमएसपी में वृद्धि की, ताकि अखिल भारतीय भारित औसत उत्पादन लागत पर न्यूनतम 50 प्रतिशत का लाभ सुनिश्चित किया जा सके। वर्ष 2018-19 से अब तक सरकार द्वारा(मार्केटिंग सीजन-वार) निर्धारित एमएसपी का विवरण अनुबंध में दिया गया है।

कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के पास कृषि-संबंधित पर्यटन गतिविधियों हेतु कोई योजना नहीं है। पर्यटन स्थलों एवं उत्पादों का विकास और प्रोत्साहन, जिसमें ग्रामीण पर्यटन भी शामिल है, संबंधित राज्य सरकारों/केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन द्वारा किया जाता है। पर्यटन मंत्रालय अपनी केंद्रीय क्षेत्र की योजनाओं — ‘स्वदेश दर्शन (एसडी)’, ‘तीर्थयात्रा पुनरुद्धार और आध्यात्मिक विरासत संवर्द्धन अभियान (प्रसाद)’ तथा ‘पर्यटन इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास हेतु केंद्रीय एजेंसियों को सहायता’ — के माध्यम से देश में पर्यटन इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास के प्रयासों में सहयोग करता है। इसके अंतर्गत राज्य सरकारों/केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन को वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। स्वदेश दर्शन योजना के अंतर्गत ग्रामीण परिपथ (Rural Circuit) को एक थीम आधारित परिपथ के रूप में चिन्हित किया गया है। पर्यटन मंत्रालय ने स्वदेश दर्शन योजना को पुनर्गठित कर ‘स्वदेश दर्शन 2.0 (SD 2.0)’ के रूप में प्रस्तुत किया है, जिसका उद्देश्य सतत एवं पर्यटन स्थलों का विकास करना है, जो डेस्टिनेशन एवं पर्यटक-केंद्रित दृष्टिकोण पर आधारित है। पर्यटन मंत्रालय ने भारत में ग्रामीण पर्यटन के विकास तथा ग्रामीण होमस्टे के प्रोत्साहन हेतु राष्ट्रीय कार्यनीतियाँ भी तैयार की हैं।

 

 

अनुबंध

न्यूनतम समर्थन मूल्य
(मार्केटिंग सीजन-वार) (रुपये/क्विंटल)

 (दिनांक 01.10.2025 तक की स्थिति के अनुसार)

क्र. सं.

वस्तुएं

केएमएस 2021-22

केएमएस 2022-23

केएमएस 2023-24

केएमएस 2024-25

केएमएस 2025-26

 

खरीफ फसलें

 

 

 

 

 

 

1

धान (कॉमन)

1940

2040

2183

2300

2369

धान (ग्रेड ‘ए’)

1960

2060

2203

2320

2389

2

 

ज्वार (हाइब्रिड)

2738

2970

3180

3371

3699

ज्वार (मालदंडी)

2758

2990

3225

3421

3749

3

बाजरा

2250

2350

2500

2625

2775

4

रागी

3377

3578

3846

4290

4886

5

मक्का

1870

1962

2090

2225

2400

6

अरहर

6300

6600

7000

7550

8000

7

मूंग

7275

7755

8558

8682

8768

8

उड़द

6300

6600

6950

7400

7800

9

 

कपास
(मीडियम स्टेपल)

5726

6080

6620

7121

7710

कपास
(लॉन्ग स्टेपल)

6025

6380

7020

7521

8110

10

मूंगफली

5550

5850

6377

6783

7263

11

सूरजमुखी के बीज

6015

6400

6760

7280

7721

12

सोयाबीन पीला

3950

4300

4600

4892

5328

13

तिल

7307

7830

8635

9267

9846

14

नाइजरसीड

6930

7287

7734

8717

9537

 

रबी फसलें

आरएमएस 2022-23

आरएमएस 2023-24

आरएमएस 2024-25

आरएमएस 2025-26

आरएमएस 2026-27

15

गेहूँ

2015

2125

2275

2425

2585

16

जौ

1635

1735

1850

1980

2150

17

चना

5230

5335

5440

5650

5875

18

मसूर

5500

6000

6425

6700

7000

19

रेपसीड और सरसों

5050

5450

5650

5950

6200

20

कुसुम

5441

5650

5800

5940

6540

 

कमर्शियल फसलें

 

 

 

 

 

 

 

2021-22

2022-23

2023-24

2024-25

2025-26

21

जूट

4500

4750

5050

5335

5650

 

 

2021

2022

2023

2024

2025

 

 

 

22

 

खोपरा (मिलिंग)

10335

10590

10860

11160

11582

खोपरा (बॉल)

10600

11000

11750

12000

12100

 

 

टिप्पणी: केएमएस का अर्थ है खरीफ मार्केटिंग सीजन, तथा आरएमएस का अर्थ है रबी मार्केटिंग सीजन।

 

यह जानकारी कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री श्री रामनाथ ठाकुर ने आज लोकसभा में एक लिखित जवाब में दी।

 

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