पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय
                
                
                
                
                
                    
                    
                        स्वच्छता और दक्षता के प्रति दृढ़ प्रतिबद्धता के साथ पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय ने विशेष अभियान 5.0 चलाया
                    
                    
                        
केंद्रीय मंत्री श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने विशेष अभियान 5.0 के तहत पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय की प्रगति की समीक्षा की, स्थायी कार्यस्थल पहल का सुझाव दिया
                    
                
                
                    Posted On:
                30 OCT 2025 7:14PM by PIB Delhi
                
                
                
                
                
                
                प्रशासनिक सुधार और लोक शिकायत विभाग (डीएआरपीजी) द्वारा जारी दिशानिर्देशों के अनुसार, पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय (एमडीओएनईआर) और उसके स्वायत्त संगठनों ने दो से 31 अक्टूबर 2025 तक विशेष अभियान 5.0 में सक्रिय रूप से भाग लिया। अभियान का मुख्य उद्देश्य मंत्रालय और इसकी संबद्ध संस्थाओं में स्वच्छता को संस्थागत रूप देना, स्थिरता को बढ़ावा देना तथा लंबित मामलों के कुशल निपटान को सुनिश्चित करना था।

अभियान में चार मुख्य क्षेत्रों - ई-कचरे का निपटान, रिकॉर्ड प्रबंधन, स्थान का सर्वोत्तम उपयोग और त्वरित शिकायत निवारण पर जोर दिया गया, जो भारत सरकार के स्वच्छता, डिजिटल परिवर्तन और सुशासन के दृष्टिकोण के अनुरूप है।

अभियान के दौरान, केंद्रीय पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री ज्योतिरादित्य एम. सिंधिया ने विशेष अभियान 5.0 के तहत चल रही गतिविधियों की व्यक्तिगत रूप से समीक्षा करने के लिए पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय के कार्यालय का दौरा किया। केंद्रीय मंत्री ने सचिव और मंत्रालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों से बातचीत की तथा परिसर में स्वच्छता और व्यवस्था बनाए रखने के लिए किए गए सामूहिक प्रयासों की सराहना की।
श्री सिंधिया ने स्थायी कार्यस्थल प्रथाओं की दिशा में मंत्रालय के सक्रिय कदमों की सराहना की और मंत्रालय एवं उसके संगठनों के लिए मार्गदर्शक सिद्धांत के रूप में “रिड्यूस, रीयूज, रीसायकल (कम करें, पुनः उपयोग करें, पुनर्चक्रण करें)” मंत्र के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने अधिकारियों से अभियान की अवधि के बाद भी इस गति को बनाए रखने का आग्रह किया और इस बात पर जोर दिया कि स्वच्छता और दक्षता सुशासन का अभिन्न अंग हैं। मंत्री ने विभिन्न प्रभागों द्वारा की गई डिजिटल और स्थान के सर्वोत्तम उपयोग से जुड़ी पहलों की भी समीक्षा की तथा अभियान की सफलता में योगदान देने वाले कर्मचारियों की प्रतिबद्धता की सराहना की।

पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय और उससे संबद्ध संगठनों की मुख्य बातें
अभियान के दौरान, पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय ने अपने कार्यालयों और क्षेत्रीय इकाइयों में 36 स्वच्छता अभियान चलाए। कुल 315 फाइलों को छांटा गया और 217 फाइलों की समीक्षा की गई, जिसके परिणामस्वरूप प्रशासनिक दक्षता और स्थान का बेहतर उपयोग हुआ।
मंत्रालय ने 46 जन शिकायतों का शत-प्रतिशत निपटारा किया, सांसदों और राज्य सरकारों से प्राप्त सभी शिकायतों का समाधान किया और लगभग 3,664 वर्ग फुट कार्यालय स्थान खाली किया। इसके अलावा, मंत्रालय ने कबाड़ और पुनर्चक्रण योग्य सामग्रियों के जिम्मेदारीपूर्ण निपटान के माध्यम से 7.82 लाख रुपये का राजस्व अर्जित किया।
मंत्रालय के अंतर्गत सभी सहभागी संगठनों - एनईडीएफआई, एनईएचएचडीसी, एनईसीबीडीसी, एनईआरसीओआरएम और एनईआरएएमएसी में स्वच्छता, स्थिरता और रिकॉर्ड प्रबंधन को बढ़ावा देने के लिए कई प्रभावशाली पहलों को लागू किया गया।
पूर्वोत्तर विकास वित्त निगम (एनईडीएफआई) ने असम, त्रिपुरा, मिजोरम और मेघालय में स्वच्छता और वृक्षारोपण अभियान आयोजित किए। इन प्रयासों के परिणामस्वरूप 115 किलोग्राम कचरा एकत्र किया गया, 20 कूड़ेदान दान किए गए और हरित कार्यालय वातावरण को बढ़ावा देने के लिए 40 पौधे वितरित किए गए।
पूर्वोत्तर हस्तशिल्प और हथकरघा विकास निगम (एनईएचएचडीसी) ने गुवाहाटी स्थित अपने मुख्यालय में नवीनीकरण और सौंदर्यीकरण अभियान चलाया, संग्रहालय प्रदर्शनियों में सुधार किया और युवाओं में रचनात्मक जागरूकता को बढ़ावा देने के लिए “अपशिष्ट से धन” पर एक छात्र कला प्रतियोगिता का आयोजन किया।
पूर्वोत्तर बेंत और बांस विकास परिषद (एनईसीबीडीसी) ने नोंगस्पुंग गारो एलपी स्कूल (मेघालय), बर्निहाट मार्केट (असम) और एनईसीबीडीसी कार्यालय परिसर में बड़े पैमाने पर स्वच्छता एवं जागरूकता अभियान का आयोजन किया, जिसमें कर्मचारियों और ग्रामीणों दोनों को शामिल किया गया।
पूर्वोत्तर क्षेत्रीय सामुदायिक संसाधन प्रबंधन परियोजना (एनईआरसीओआरएम) ने ई-कचरा हटाने और डिजिटल परिवर्तन पर जोर दिया, 75-100 परियोजना फाइलों को डिजिटल किया और शिलांग पीक, रोडोडेंड्रोन ट्रेक और एनईआरसीओआरएम कार्यालय परिसर में स्वच्छता अभियान आयोजित किए।
इस बीच, पूर्वोत्तर क्षेत्र कृषि विपणन निगम (एनईआरएएमएसी) ने अपने गुवाहाटी मुख्यालय और निकटवर्ती प्राग्ज्योतिष आदर्श विद्यालय में व्यापक ई-कचरा पृथक्करण, फाइल व्यवस्था और सामुदायिक सफाई अभियान चलाए। निगम ने कैंटीन के कचरे से जैविक खाद बनाने का भी काम किया और एक तरफा मुद्रित कागजों के पुन: उपयोग को प्रोत्साहित किया, जिससे पर्यावरण-अनुकूल कार्यालय प्रथाओं को बल मिला।

सर्वोत्तम अभ्यास की मुख्य बातें
विशेष अभियान 5.0 के अंतर्गत एक उल्लेखनीय क्षेत्र-स्तरीय उपलब्धि बर्निहाट (असम) में आयोजित स्वच्छता अभियान था। बर्निहाट असम-मेघालय सीमा पर स्थित एक औद्योगिक शहर है जो केंद्रीकृत औद्योगिक गतिविधियों के कारण उच्च प्रदूषण स्तर के लिए जाना जाता है। स्थानीय निवासियों के सहयोग से एनईसीबीडीसी द्वारा संचालित इस पहल से स्थानीय स्वच्छता की स्थिति में उल्लेखनीय सुधार हुआ और आस-पास के क्षेत्रों में भी इसी तरह के अभियान को प्रेरणा मिली, जो मंत्रालय की समुदाय-आधारित पर्यावरणीय कार्रवाई के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
अपने कर्मचारियों, संबद्ध कार्यालयों और स्वायत्त संगठनों के संयुक्त प्रयासों के माध्यम से पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय ने विशेष अभियान 5.0 के उद्देश्यों को सफलतापूर्वक गौर करने लायक कार्रवाई में परिवर्तित किया। मंत्रालय की पहलों ने न केवल कार्यस्थल की दक्षता और सार्वजनिक सेवा वितरण को बढ़ाया, बल्कि पूर्वोत्तर क्षेत्र में स्वच्छता और स्थिरता की संस्कृति को भी मजबूत किया।
इस अभियान ने स्वच्छ, हरित और नागरिक-केंद्रित प्रशासनिक पारिस्थितिकी तंत्र के निर्माण के लिए पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय के समर्पण की पुष्टि की है, जो सहयोगात्मक और टिकाऊ शासन के माध्यम से “स्वच्छ भारत” और “संपूर्ण विकास” की सच्ची भावना को दर्शाता है।

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पीके/केसी/एसएस
                
                
                
                
                
                (Release ID: 2184426)
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