रक्षा मंत्रालय
भारत के पश्चिमी तट पर अभ्यास कोंकण-2025 शुरू हुआ
Posted On:
05 OCT 2025 5:08PM by PIB Delhi
भारत के पश्चिमी तट पर दिनांक 05 अक्टूबर 2025 को भारतीय नौसेना और रॉयल नेवी का द्विपक्षीय अभ्यास कोंकण-2025 शुरू हुआ। पिछले दो दशकों में इस अभ्यास का आकार एवं जटिलता बहुत बढ़ चुकी है, जिससे दोनों नौसेनाओं के बीच समुद्री अभियानों में बेहतर पारस्परिकता एवं आपसी समझ को बढ़ावा मिला है।
इस अभ्यास का आयोजन 05 से 12 अक्टूबर 2025 तक दो चरणों में किया जाएगा। अभ्यास के बंदरगाह चरण में नौसेना कर्मियों के बीच पेशेवर बातचीत, क्रॉस-डेक दौरा, खेल एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम आदि शामिल होंगे। इसके अलावा संयुक्त कार्य समूह की बैठकें और विषय-वस्तु विशेषज्ञों के आदान-प्रदान का भी कार्यक्रम है।
अभ्यास के समुद्री चरण में जटिल समुद्री परिचालन अभ्यास शामिल है, जिसमें वायुरोधी, सतहरोधी, पनडुब्बीरोधी अभ्यास, उड़ान संचालन एवं अन्य नौसैन्य कौशल विकास पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। इस अभ्यास में शामिल दोनों देश विमानवाहक पोत, विध्वंसक, फ्रिगेट, पनडुब्बी तथा अभिन्न एवं तटवर्ती वायु परिसंपत्तियों सहित अग्रिम पंक्ति की परिसंपत्तियों की तैनाती करेंगे। एचएमएस प्रिंस ऑफ वेल्स के नेतृत्व में यूके कैरियर स्ट्राइक ग्रुप (यूके सीएसजी 25) की भागीदारी, जिसमें नॉर्वे एवं जापान की परिसंपत्तियां भी शामिल हैं, ने इस वर्ष के अभ्यास को और भी ज्यादा आकर्षक बना दिया है। भारतीय पक्ष का प्रतिनिधित्व स्वदेशी विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत के वाहक युद्ध समूह द्वारा किया जाएगा जिसमें अन्य सतह, उप-सतह और वायु लड़ाकू विमान शामिल होंगे।
यह अभ्यास सुरक्षित, खुला एवं मुक्त समुद्र सुनिश्चित करने की साझा प्रतिबद्धता की पुनः पुष्टि करता है और यह ‘भारत-यूके विजन 2035’ में उल्लिखित व्यापक रणनीतिक साझेदारी का उदाहरण प्रस्तुत करेगा।
दिनांक 12 अक्टूबर 2025 को भारतीय नौसेना के साथ अभ्यास कोंकण-2025 के समापन के पश्चात, यूके सीएसजी 25 को अपनी नियोजित तैनाती जारी रखने से पहले 14 अक्टूबर 2025 को भारत के पश्चिमी तट पर भारतीय वायु सेना के साथ एक दिवसीय अभ्यास में हिस्सा लेना है।
अभ्यास कोंकण-2025 दोनों देशों के बीच रणनीतिक संबंधों को मजबूत करने, पारस्परिकता को बढ़ावा देने और क्षेत्रीय समुद्री स्थिरता में योगदान देने के लिए एक मंच के रूप में कार्य करेगा।


पीके/केसी/एके
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