भारी उद्योग मंत्रालय
पूंजीगत वस्तु क्षेत्र के उत्पादन में वृद्धि
Posted On:
08 AUG 2025 4:10PM by PIB Delhi
2020-21 से पूंजीगत वस्तु क्षेत्र में उत्पादन में वृद्धि;
(करोड़ रुपये में)
क्रम संख्या
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पूंजीगत वस्तुओं का उप-क्षेत्र
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2020-21
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2021-22
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2022-23
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2023-24
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2024-25*
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1
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मशीन टूल्स-उत्पादन
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6602
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9307
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11956
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13571
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14286
|
2
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डाई, मोल्ड और प्रेस उपकरण
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12294
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13128
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13915
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15600
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18400
|
3
|
कपड़ा मशीनरी
|
5093
|
11658
|
14033
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14639
|
10461
|
4
|
मुद्रण मशीनरी-उत्पादन
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10058
|
13215
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16107
|
23479
|
29716
|
5
|
भू-संचालन और खनन मशीनरी
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29021
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28674
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37551
|
73000
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80750
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6
|
प्लास्टिक प्रसंस्करण मशीनरी- उत्पादन
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3710
|
3850
|
3912
|
4310
|
4827
|
7
|
खाद्य प्रसंस्करण मशीनरी
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10250
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12210
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13203
|
13863
|
15249
|
8
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प्रक्रिया संयंत्र उपकरण
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21938
|
24000
|
23415
|
27396
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31505
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9
|
भारी विद्युत उपकरण
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167706
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219158
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258832
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302900
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372200
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*वित्त वर्ष 2024-25 के लिए अनुमानित आंकड़े
स्रोत: उद्योग संघ अर्थात् आईईईएमए, आईएमटीएमए, टीएजीएमए, एएफटीपीएआई, पीएमएमएआई, पीपीएमएआई, टीएमएमए, आईसीईएमए और आईपीएएमए
वर्तमान अनुमानों के अनुसार, पूंजीगत वस्तु उद्योग देश के सकल घरेलू उत्पाद में लगभग 1.9 प्रतिशत का योगदान देता है।
भारी उद्योग मंत्रालय (एमएचआई) ने 25 जनवरी, 2022 को सामान्य प्रौद्योगिकी विकास और सेवा अवसंरचना को सहायता प्रदान करने के लिए "भारतीय पूंजीगत वस्तु क्षेत्र में प्रतिस्पर्धात्मकता बढ़ाने की योजना- चरण-II" शुरू की। इसका कुल वित्तीय परिव्यय 1207 करोड़ रुपये है, जिसमें 975 करोड़ रुपये का बजटीय समर्थन और 232 करोड़ रुपये का उद्योग योगदान शामिल है। इस योजना के तहत कुल 33 परियोजनाओं को मंजूरी दी गई है। इन 33 परियोजनाओं में 9 उत्कृष्टता केंद्र (सीओई), 5 सामान्य इंजीनियरिंग सुविधा केंद्र (सीईएफसी), 7 परीक्षण और प्रमाणन केंद्र, प्रौद्योगिकी विकास के लिए 9 उद्योग त्वरक और कौशल स्तर 6 तथा उससे ऊपर के कौशल के लिए योग्यता पैक (क्यूपी) निर्माण हेतु 3 परियोजनाएं शामिल हैं।
यह जानकारी भारी उद्योग एवं इस्पात राज्य मंत्री श्री भूपतिराजू श्रीनिवास वर्मा ने आज राज्यसभा में एक लिखित उत्तर में दी।
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पीके/केसी/एके/केके
(Release ID: 2154314)