शिक्षा मंत्रालय
भारत ने क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी - एशिया (2025) रैंकिंग में बाजी मारी
शीर्ष 100 संस्थानों में 07 भारतीय संस्थान
Posted On:
09 NOV 2024 4:05PM by PIB Delhi
क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी - एशिया 2025 रैंकिंग पूरे महाद्वीप में उच्च शिक्षा के सशक्त परिदृश्य को दर्शाती है। इसमें अकादमिक और शोध संबंधी उत्कृष्टता, नवाचार और अंतरराष्ट्रीयकरण में विशिष्ट प्रदर्शन करने वाले शीर्ष संस्थानों के बारे में बताया गया है। इस वर्ष की रैंकिंग एशियाई विश्वविद्यालयों के बीच बढ़ती प्रतिस्पर्धा पर जोर देती है और वैश्विक शैक्षिक मानकों को आगे बढ़ाने के लिए क्षेत्र की प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करती है।
इस वर्ष की रैंकिंग पूरे महाद्वीप में उच्च शिक्षा के क्षेत्र में भारत के तेजी से बढ़ते प्रभाव को उजागर करती है। भारत के दो संस्थान क्यूएस एशिया रैंकिंग 2025 के शीर्ष 50 में और सात संस्थान शीर्ष 100 में शामिल हैं। इसमें भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली (आईआईटीडी) 44वें स्थान पर है। भारतीय संस्थानों में सबसे महत्वपूर्ण सुधार यूनिवर्सिटी ऑफ पेट्रोलियम एंड एनर्जी स्टडीज (यूपीईएस) ने हासिल किया है। यह संस्थान 70 पायदान चढ़कर 148वें स्थान पर पहुंच गया है। यह 11 रैंकिंग मेट्रिक्स में से नौ में, खास तौर पर इंटरनेशनल रिसर्च नेटवर्क, प्रति पेपर उद्धरण और प्रति फैकल्टी पेपर में महत्वपूर्ण प्रगति के परिणाम स्वरूप संभव हुआ है। प्रति फैकल्टी पेपर और पीएचडी वाले स्टाफ के संदर्भ में भारत के सबसे मजबूत औसत संकेतक स्कोर हैं।
क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी एशिया 2025 रैंकिंग से प्राप्त प्रमुख अंतर्दृष्टि
यह रैंकिंग पूर्वी, दक्षिणी, दक्षिण-पूर्वी और मध्य एशिया के 25 देशों को कवर करने वाले 984 संस्थानों का मूल्यांकन करती है। क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी एशिया 2025 रैंकिंग, संस्थानों और छात्रों को अपने क्षेत्र के भीतर संस्थागत प्रदर्शन पर सीधी तुलना करने की सुविधा प्रदान करती है। इस रैंकिंग मेट्रिक्स में अधिक विस्तृत दृष्टिकोण होता है।
- नवीनतम रैंकिंग में भारत के सबसे अधिक संस्थान हैं, जो उभरते और अच्छी तरह से स्थापित दोनों तरह के विश्वविद्यालयों की विविधता को प्रदर्शित करता है।
- देश दक्षिणी एशिया के शीर्ष दस विश्वविद्यालयों में अपना वर्चस्व रखता है, जिसमें सात संस्थान इस सूची में शामिल हैं।
- शीर्ष 50: भारत में दो संस्थान हैं - आईआईटी दिल्ली (44वां) और आईआईटी बंबई (48वां)।
- शीर्ष 100: आईआईटी मद्रास (56), आईआईटी खड़गपुर (60), भारतीय विज्ञान संस्थान (62), आईआईटी कानपुर (67), और दिल्ली विश्वविद्यालय (81) सहित पांच संस्थान भारत के सशक्त शैक्षिक परिदृश्य को प्रदर्शित करते हैं।
- शीर्ष 150: आईआईटी गुवाहाटी, आईआईटी रुड़की, जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ विश्वविद्यालय (120), यूपीईएस (148) और वेल्लोर प्रौद्योगिकी संस्थान (150) जैसे संस्थान गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की गहराई को उजागर करते हैं।
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली (आईआईटीडी) ने भारत के लिए सर्वोच्च रैंकिंग हासिल की है, जो पिछले साल के 46वें स्थान से 44वें स्थान पर पहुंच गया है, जिसमें 99 प्रतिशत का प्रभावोत्पादक एंपलॉयर रेपुटेशन स्कोर है।
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान बॉम्बे (आईआईटीबी) 48वें स्थान पर है और इसका एंपलॉयर रेपुटेशन स्कोर 99.5 प्रतिशत और एकेडमिक रेपुटेशन स्कोर 96.6 प्रतिशत है।
- दिल्ली विश्वविद्यालय ने अपनी रैंकिंग में सुधार किया है, जो 94वें से 81वें स्थान पर पहुंच गया है, जिसने इंटरनेशनल रिसर्च नेटवर्क में 96.4 प्रतिशत का उच्च स्कोर प्राप्त किया है।
- अन्ना विश्वविद्यालय ने उच्च रिसर्च आउटपुट पर जोर देते हुए प्रति फैकेल्टी पेपर इंडिकेटर में 100 का पूर्ण स्कोर प्राप्त किया।
- 15 विश्वविद्यालयों ने पीएचडी स्टाफ इंडिकेटर में 99 प्रतिशत से अधिक स्कोर प्राप्त किया, जो शिक्षा और शिक्षण के उच्च मानक को चिन्हित करता है।
- नॉर्थ ईस्टर्न हिल यूनिवर्सिटी और कृषि विज्ञान विश्वविद्यालय, बैंगलोर ने फैकल्टी-स्टूडेंट इंडिकेटर में 100 का पूर्ण स्कोर प्राप्त किया, जो शीर्ष स्तरीय अकादमिक विश्वसनीयता को प्रदर्शित करता है।
भारतीय शिक्षा जगत ने वैश्विक स्तर के साथ ही एशिया के भीतर प्रभावशाली प्रगति की है। क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2025 से यह बिल्कुल स्पष्ट है। 2025 रैंकिंग में भारत के 46 संस्थान शामिल हैं, जबकि इससे पहले 2015 में सिर्फ 11 संस्थान थे। यह जी20 देशों के बीच पिछले 10 वर्षों में 318 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है। यह वृद्धि अकादमिक उत्कृष्टता और वैश्विक प्रतिस्पर्धात्मकता को बढ़ावा देने के लिए भारत की प्रतिबद्धता को चिन्हित करती है। भारत का शैक्षिक परिदृश्य एशिया स्तर पर भी विकास और लचीलेपन के एक मॉडल के रूप में चमक रहा है, जिसमें दक्षिण एशिया क्षेत्र में शीर्ष 50 में दो संस्थान और शीर्ष 100 में सात संस्थान शामिल हैं। रैंकिंग में 44वें स्थान पर सुशोभित भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली (आईआईटीडी) के नेतृत्व में, भारत ने "पेपर प्रति फैकल्टी" और "पीएचडी स्टाफ" जैसे प्रमुख क्षेत्रों में अपनी ताकत दिखाई है। यह परिदृश्य गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और प्रभावशाली रिसर्च के प्रति भारत के समर्पण को दर्शाता है। यह उपलब्धि भारत की रिसर्च प्रोडक्टिविटी को उच्च-क्षमता वाले शिक्षण के साथ संतुलित करने की क्षमता पर जोर देती है। इतना ही नहीं, यह उपलब्धि इसे वैश्विक स्तर पर शिक्षा क्षेत्र की महाशक्तियों के बीच एक दुर्जेय प्रतियोगी के रूप में स्थापित करती है और एशिया में उच्च शिक्षा के लिए एक उभरते हुए केंद्र के रूप में इसकी प्रतिष्ठा को मजबूत करती है।
कृपया क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी रैंकिंग के बारे में अधिक विस्तृत जानकारी के लिए देखें :
https://static.pib.gov.in/WriteReadData/specificdocs/documents/2024/jun/doc202467340601.pdf
संदर्भ https://www.qs.com/rankings-released-qs-world-university-rankings-asia-2025/
एक्सल टेबल: https://www.topuniversities.com/asia-university-rankings?countries=in
https://static.pib.gov.in/WriteReadData/specificdocs/documents/2024/jun/doc202467340601.pdf
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