पूर्वोत्‍तर क्षेत्र विकास मंत्रालय
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शिक्षा एवं उत्‍तर पूर्वी क्षेत्र विकास राज्य मंत्री डॉ. सुकांत मजूमदार ने असम में हुए ऐतिहासिक विकास पर प्रकाश डाला

Posted On: 20 SEP 2024 10:07PM by PIB Delhi

शिक्षा एवं उत्‍तर पूर्वी क्षेत्र विकास राज्य मंत्री डॉ. सुकांत मजूमदार ने आज प्रमुख परियोजनाओं का उद्घाटन करने तथा शैक्षिक एवं अनुसंधान क्षेत्रों में प्रगति की समीक्षा करने के लिए गुवाहाटी का दौरा किया।

एनआईपीईआर में केंद्रीय पशु और इन विट्रो औषधि परीक्षण सुविधाओं का उद्घाटन

पूर्वोत्तर भारत के पहले राष्ट्रीय फार्मा संस्थान, गुवाहाटी के राष्ट्रीय औषधि शिक्षा एवं अनुसंधान संस्थान (एनआईपीईआर) में डॉ. मजूमदार ने केंद्रीय पशु एवं इन विट्रो औषधि परीक्षण सुविधाओं का उद्घाटन किया। उत्‍तर पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय के तत्वावधान में पूर्वोत्तर परिषद द्वारा प्रायोजित इन सुविधाओं को पूर्वोत्तर क्षेत्र में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी हस्तक्षेप (एसटीआईएनईआर) कार्यक्रम के तहत वित्त पोषित किया गया था।

डॉ. मजूमदार ने कहा, "यह परियोजना माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी जी के पूर्वोत्तर भारत को विकास और नवाचार के केंद्र में बदलने के दूरदर्शी नेतृत्व के अनुरूप है।" 20 करोड़ रुपये के निवेश वाली ये सुविधा स्वदेशी पौधों से हर्बल दवाओं पर शोध को आगे बढ़ाएंगी।

सुविधा के मुख्य उद्देश्य:

  • दवा खोज के लिए एक पूर्णतः सुसज्जित पशु गृह की स्थापना ।
  • पारंपरिक दवाओं की प्रभावकारिता और सुरक्षा का मूल्यांकन करें।
  • विशिष्ट रोगजनक मुक्त (एसपीएफ) पशुओं के लिए प्रजनन सुविधा का निर्माण करना।
  • छात्रों के लिए कौशल विकास कार्यक्रम आयोजित करें।

 

 

अपनी यात्रा के दौरान, डॉ. मजूमदार ने "एक पेड़ माँ के नाम" अभियान के तहत एक पौधा लगाया, जिसका लक्ष्य सितंबर 2024 तक 80 करोड़ और मार्च 2025 तक 140 करोड़ पेड़ लगाना है। यह पहल पर्यावरण संरक्षण और स्थायी विकास के प्रति गहरी प्रतिबद्धता को दिखाता है।

उच्च शिक्षा पर आईआईटी गुवाहाटी में समीक्षा बैठक

डॉ. मजूमदार ने असम और पूर्वोत्तर भारत में उच्च शिक्षण संस्थानों (एचईआई) की स्थिति और संभावनाओं का आकलन करने के लिए भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) गुवाहाटी में एक समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की। चर्चा में युवाओं को सशक्त बनाने के उद्देश्य से शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने और बुनियादी ढांचे के विकास पर ध्यान केंद्रित किया गया।

गुवाहाटी विश्वविद्यालय में ब्रह्मपुत्र अध्ययन केंद्र का उद्घाटन

बाद में, डॉ. मजूमदार ने गौहाटी विश्वविद्यालय में ब्रह्मपुत्र अध्ययन केंद्र के लिए भवन का उद्घाटन किया, जिसका उद्देश्य ब्रह्मपुत्र नदी पर स्थायी विकास और अनुसंधान करना है। यह केंद्र अनुसंधान, नीति-निर्माण और ज्ञान साझा करने का केंद्र होगा, जो नदी पर निर्भर लाखों लोगों के लिए महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्रदान करेगा।

उन्होंने कहा, "यह केंद्र पूर्वोत्तर में स्थिरता और नवाचार पर आधारित

समग्र विकास के लिए हमारी सरकार के दृष्टिकोण को दर्शाता है।

ब्रह्मपुत्र अध्ययन केंद्र की मुख्य विशेषताएं:

  • ब्रह्मपुत्र के प्रभाव पर बहुविषयक अनुसंधान का संचालन करना।
  • अनुसंधान और नीति निर्माण के लिए डेटा भंडार स्थापित करना।
  • बाढ़ और कटाव जैसी चुनौतियों से निपटने के लिए राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय संस्थाओं के साथ सहयोग करना।
  • प्रशिक्षण और जागरूकता कार्यक्रमों से क्षमता निर्माण पर ध्यान केंद्रित करना।

पूर्वोत्तर परिषद (एनईसी) द्वारा 28 करोड़ रुपये के वित्त पोषण से समर्थित यह केंद्र ब्रह्मपुत्र नदी की चुनौतियों से निपटने के लिए समर्पित एक विश्व स्तर पर मान्यता प्राप्त संस्थान बनने के लिए तैयार है।

डॉ. मजूमदार ने इस बात पर जोर दिया कि माननीय प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में, पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय पूर्वोत्तर भारत में शिक्षा को समृद्ध बनाने के लिए प्रतिबद्ध है, तथा इसे ज्ञान और विकास के केंद्र के रूप में स्थापित कर रहा है, जो राष्ट्र की प्रगति में योगदान देगा।

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एमजी/एआर/पीएस



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