गृह मंत्रालय
पंजाब में नशीले पदार्थों की जब्ती
Posted On:
31 JUL 2024 4:41PM by PIB Delhi
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) हर साल “भारत में अपराध” वार्षिक रिपोर्ट प्रकाशित करता है जिसमें उस विशेष वर्ष के अपराध आंकड़ों का विस्तृत सेट होता है। प्रकाशित वर्षवार जानकारी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों की पुलिस और केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ)/केंद्रीय पुलिस संगठन (सीपीओ) से प्राप्त की जाती है।
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) द्वारा वर्ष 2022 से संबंधित नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, 2020-2022 के दौरान पंजाब राज्य में जब्त किए गए नशीले पदार्थों का विवरण अनुलग्नक-I में है।
पंजाब में नशीले पदार्थों की तस्करी को रोकने के लिए उठाए गए कदम इस प्रकार हैं:-
- विशेष डीजीपी के अधीन एक समर्पित एंटी-नारकोटिक्स टास्क फोर्स (एएनटीएफ) राज्य में एएनटीएफ प्रमुख के रूप में कार्य कर रहा है।
- सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ), केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ), राजस्व खुफिया विभाग (डीआरआई), केंद्रीय उत्पाद शुल्क और सीमा शुल्क जैसी विभिन्न ड्रग कानून प्रवर्तन एजेंसियों और पुलिस तथा राज्य उत्पाद शुल्क जैसी राज्य एजेंसियों के साथ विभिन्न प्लेटफार्मों जैसे एलआईए (लीड इंटेलिजेंस एजेंसी), एसएमएसी (सहायक बहु एजेंसी केंद्र), आरईआईसी (क्षेत्रीय आर्थिक खुफिया परिषद) आदि के माध्यम से वास्तविक समय में खुफिया जानकारी का समन्वय और साझा करना।
- सभी हितधारकों के बीच बेहतर समन्वय बनाए रखने के लिए चंडीगढ़, पंजाब, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश का एक संयुक्त सचिवालय पंचकूला में स्थित है।
- महत्वपूर्ण जब्ती की जांच की निगरानी के लिए एनसीबी के महानिदेशक की अध्यक्षता में एक संयुक्त समन्वय समिति (जेसीसी) की स्थापना की गई है।
- सरकार ने 1933-मानस हेल्पलाइन शुरू की है। इसे नागरिकों के लिए विभिन्न संचार के माध्यम से ड्रग से जुड़े मुद्दों की रिपोर्ट करने के लिए एक एकीकृत मंच के रूप में डिज़ाइन किया गया है। यह नारकोटिक अपराधों/तस्करी पर इनपुट साझा करने के लिए जनता के साथ एक इंटरफेस के रूप में काम करेगा।
- पंजाब राज्य में मादक पदार्थों और मन:प्रभावी पदार्थों (पीआईटीएनडीपीएस) के अवैध व्यापार की रोकथाम के लिए सलाहकार बोर्ड का गठन किया गया है।
- मल्टी एजेंसी सेंटर (एमएसी) तंत्र के तहत डार्कनेट और क्रिप्टो-करेंसी पर एक टास्क फोर्स का गठन किया गया है। इसका ध्यान नार्को-तस्करी को आसान बनाने वाले सभी मंचों की निगरानी, एजेंसियों/एमएसी सदस्यों के बीच नशीली दवाओं की तस्करी पर मिली जानकारी साझा करने, ड्रग नेटवर्क को रोकने, ड्रग के प्रति रुझानों को लगातार समझने, नियमित डेटाबेस अपडेट के साथ कार्यप्रणाली और नोड्स तथा संबंधित नियमों और कानूनों की समीक्षा करने पर है।
- सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) सहित सीमा की सुरक्षा में लगे सभी बलों को अंतरराष्ट्रीय सीमा पर मादक पदार्थों की अवैध तस्करी की तलाशी, जब्ती और गिरफ्तारी करने के लिए एनडीपीएस अधिनियम 1985 के तहत अधिकार दिया गया है। इसके अलावा, रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) को भी रेल मार्गों पर नशीली दवाओं की तस्करी की जांच करने के लिए एनडीपीएस अधिनियम के तहत अधिकार दिया गया है।
- अमृतसर में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) का एक नया क्षेत्रीय कार्यालय स्थापित किया गया है और एनसीबी के अमृतसर उप-क्षेत्र को क्षेत्रीय इकाई में अपग्रेड किया गया है और यह पूरी तरह से चालू है।
- पंजाब राज्य की ड्रग कानून प्रवर्तन एजेंसियों की क्षमता निर्माण की दिशा में, एनसीबी लगातार बीएसएफ और अन्य ड्रग कानून प्रवर्तन एजेंसियों के अधिकारियों को प्रशिक्षण दे रहा है।
ड्रग्स की तस्करी को रोकने के लिए भारत-पाकिस्तान सीमा पर बीएसएफ के उठाए गए विशेष कदम इस प्रकार हैं: -
- भारत-पाकिस्तान सीमा पर अतिरिक्त विशेष निगरानी उपकरण, वाहन आदि तैनात करके निगरानी को मजबूत करने के लिए विस्तृत भेद्यता मानचित्रण किया गया है।
- सीमा पर चौबीसों घंटे निगरानी जैसे गश्त करना, नाके लगाना, अंतर्राष्ट्रीय सीमा पर निगरानी चौकियों पर जवानों को तैनात करना आदि के जरिए प्रभावी वर्चस्व स्थापित करना।
- रात में अंधेरे के दौरान क्षेत्र को रोशन करने के लिए सीमा सुरक्षा बाड़ के साथ बॉर्डर फ्लड लाइट लगाना।
- अंतर्राष्ट्रीय सीमा के नदी क्षेत्र पर वर्चस्व के लिए वाटर क्राफ्ट/बोट और फ्लोटिंग बॉर्डर आउटपोस्ट (बीओपी) का उपयोग करना।
- खुफिया (अंतर्राष्ट्रीय) नेटवर्क को मजबूत करना और सहयोगी एजेंसियों के साथ समन्वय करना।
- भारत-पाकिस्तान सीमा पर ड्रोन विरोधी प्रणाली स्थापित की गई है, ताकि दुश्मनों की ओर से आने वाले ड्रोनों के खतरे से बचा जा सके।
31.07.2024 के लिए आरएस यूएसक्यू संख्या 1017
अनुलग्नक-I
पंजाब में एनडीपीएस अधिनियम के तहत नशीली दवाओं की जब्ती
वर्ष
|
अफीम आधारित ड्रग्स
|
कैनाबिस आधारित ड्रग्स
|
कोकीन
|
मनोविकार जनक पदार्थ
|
औषधीय तैयारियां
|
अन्य औषधियां
|
कुल
|
किलोग्राम
|
किलोग्राम
|
किलोग्राम
|
किलोग्राम
|
किलोग्राम
|
संख्या
|
लीटर
|
किलोग्राम
|
संख्या
|
लीटर
|
किलोग्राम
|
संख्या.
|
लीटर
|
|
2020
|
36271.862
|
977.227
|
0.01
|
0.03
|
18.697
|
44649599
|
4507.19
|
96.85
|
259
|
10
|
37364.676
|
44649858
|
4517.19
|
|
2021
|
35911.914
|
2781.429
|
5.869
|
0.4
|
3.916
|
17772534
|
4800.729
|
79.642
|
141
|
0
|
38783.17
|
17772675
|
4800.729
|
|
2022
|
46502.577
|
1836.068
|
0.168
|
30.526
|
793.223
|
6246151
|
5017.2
|
259.296
|
0
|
0
|
49421.858
|
6246151
|
5017.2
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
|
स्रोत: भारत में अपराध, एनसीआरबी, 2022
गृह राज्य मंत्री श्री नित्यानंद राय ने राज्य सभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह बात कही।
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