युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय
मुझे अचार खाना बेहद पसंद था, लेकिन जब मैंने संतुलित आहार लेना शुरू किया, तो मुझे अधिक ऊर्जावान होने का अहसास होने लगा और मेरे खेल में सुधार हुआ: अवनि लेखरा
Posted On:
28 MAR 2022 8:28PM by PIB Delhi
“लोगों की हास्यास्पद टिप्पणियों और आलोचनाओं से सामना होने की संभावना बेहद आम बात है। वे सोच सकते हैं कि आप जो चाहते हैं उसे हासिल नहीं कर सकते, लेकिन यदि आप अपना प्रयास जारी रखते हैं, तो आप एक दिन उत्कृष्ट बनेंगे और वो लोग इसे देखेंगे भी" -यह महत्वपूर्ण संदेश नई दिल्ली के शहीद हेमू कलानी सर्वोदय बाल विद्यालय में सोमवार को आयोजित अनूठे स्कूल-विजिट अभियान- मीट द चैंपियंस के दौरान 90 स्कूलों के छात्रों के बीच दृष्टिबाधित दिव्यांग छात्रों के एक समूह को पैरालिंपिक में भारत की पहली महिला डबल पदक विजेता अवनि लेखरा ने अपने संबोधन के दौरान दिया।

जयघोषों और तालियों के साथ, पैरालिंपिक में निशानेबाज़ी में अपनी पहली विरासत कायम करने वाली अवनि लेखरा का स्वागत नई दिल्ली के दक्षिण पूर्व जिले के छात्रों ने संतुलित आहार, फिटनेस और खेल पर उनके साथ हुए एक अंतरंग वार्तालाप के दौरान किया।
उत्कृष्ठ निशानेबाज ने इस अनूठी पहल- चैंपियंस से मिलें में प्रधानमंत्री को धन्यवाद देते हुए कार्यक्रम की शुरुआत की जिसमें सभी ओलंपियन और पैरालिंपियनों को संतुलित आहार के महत्व का संदेश देने की जिम्मेदारी उन्हें दी गई।
विभिन्न मनोरंजक किस्सों, वीडियो और सवालों का उत्तर देते हुए कार्यक्रम के दौरान 20 वर्षीय अवनी ने आहार, प्रतिदिन की फिटनेस और पढ़ाई से जुड़ी अपनी बचपन की यादें साझा कीं। अवनी ने कहा "मेरी खाने में बहुत रूचि थी और फास्ट फूड मेरा पसंदीदा रहा है लेकिन एक बार जब मैंने संतुलित आहार लेना शुरू किया तो मैंने महसूस किया कि मैं अपने आप को अधिक ऊर्जावान महसूस कर रही हूं और मेरे खेल में सुधार हुआ है। यदि आप अच्छा आहार लेते हैं, चाहे आप कुछ भी करें, चाहे खेल खेलें या अध्ययन करें, आप इसे बेहतर तरीके से कर पाएगें और आपका मन प्रसन्न रहेगा।"

उन्होंने जीवन में अच्छे मित्रों और सहायक माता-पिता के होने के महत्व पर भी जोर दिया और अवनि ने कहा, "जब आपके पास अच्छे दोस्त और सहायक माता-पिता होते हैं, तो जीवन की चुनौतियों को दूर करना और लक्ष्य का हासिल करना आसान हो जाता है। छात्रों के रूप में, एक दूसरे का समर्थन करना आपका कर्तव्य है। आपके आस-पास अगर कोई किसी विषय में कमजोर हैं तो उनका मजाक न बनाएं, बल्कि उनकी मदद करें।"
गोल्डन गर्ल ने शूटिंग में अपने शुरुआती दिनों के शुरूआती अनुभवों को साझा करते हुए बताया कि लोगों ने उनका मजाक उड़ाया कि वह कितनी पतली थी। अवनि ने कहा कि “खेल में अपने शुरुआती दिनों के दौरान, मैं बहुत पतली था इसलिए लोग मजाक में कहते थे कि आप 5 किलो की राइफल उठाकर कैसे शूट कर पाओगी लेकिन इसके बावजूद भी मैंने जो कुछ भी करने का दृढ़ संकल्प किया, उसे कभी छोड़ा नहीं और अच्छे आहार, अत्यधिक अभ्यास और आत्मविश्वास के साथ, मैंने पैरालिंपिक में पोडियम के शीर्ष पर पहुँचने का अपना रास्ता तय कर लिया।”

अवनी के साथ वह राइफल भी थी जिससे उन्होंने पैरालिंपिक में अपना स्वर्ण पदक जीता। उन्होंने कार्यक्रम के दौरान बंदूक दिखाते हुए इसकी क्षमता और तकनीकी के बारे में जानकारी दी।

इस अनूठी पहल का आयोजन युवा मामले और खेल मंत्रालय और शिक्षा मंत्रालय द्वारा संयुक्त रूप से किया जा रहा है और यह सरकार के 'आजादी का अमृत महोत्सव' कार्यक्रम का हिस्सा है।
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