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पीएफआरडीए ने आज नई दिल्ली में अटल पेंशन योजना के वार्षिक सम्मान समारोह का आयोजन किया

8.11 करोड़ से अधिक नामांकनों के साथ, अटल पेंशन योजना (एपीवाई) ने सफलता का एक दशक पूरा किया

पीएफआरडीए ने पेंशन की पहुंच में बैंकिंग समुदाय की महत्वपूर्ण भूमिका की सराहना की, क्योंकि बीते वित्त वर्ष में 1.17 करोड़ से अधिक नए सदस्य जुड़े हैं

Posted On: 25 AUG 2025 5:29PM by PIB Delhi

पेंशन निधि विनियामक और विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) ने आज नई दिल्ली में एपीवाई वार्षिक सम्मान समारोह का आयोजन किया। इस कार्यक्रम में, वित्त वर्ष 2024-25 के दौरान एपीवाई के अंतर्गत वार्षिक लक्ष्य प्राप्त करने में उत्कृष्ट प्रदर्शन के चलते 44 एपीवाई एसपी, 10 एसएलबीसी और देश भर की शीर्ष पांच शाखाओं और सर्वश्रेष्ठ जिला प्रबंधकों को सम्मानित किया गया।

 

 

पीएफआरडीए अध्यक्ष श्री एस. रमन ने अपने विशेष संबोधन में विजेताओं को बधाई दी और सभी हितधारकों से पेंशन पाने वाले समाज के निर्माण के लिए समर्पित भाव से कार्य करते रहने का आग्रह किया। उन्होंने बैंकिंग जगत के महत्वपूर्ण सहयोग की सराहना की और बताया कि अपने दसवें वर्ष में, एपीवाई ने किसी एक वित्त वर्ष में अब तक का सबसे तेज 50 लाख ग्राहक प्राप्त किए हैं, जिसमें 46% नामांकन 18-25 वर्ष की आयु के युवाओं का है। उन्होंने इस विषय पर जोर दिया कि 48,000 करोड़ से अधिक के एसेट अंडर मैनेजमेंट और शुरुआत से ही 9.12% सीएजीआर के साथ, एपीवाई एक मजबूत और संपोषित पेंशन उत्पाद है, और उन्होंने सभी बैंकों, विशेष रूप से निजी क्षेत्र के बैंकों से पेंशन संतृप्ति प्राप्त करने के लिए प्रयास बढ़ाने, निरंतरता में सुधार लाने और वित्तीय साक्षरता को प्रोत्साहन देने का आग्रह किया।

 

अटल पेंशन योजना (एपीवाई) को पूरे देश में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को शामिल करते हुए विस्तृत रूप से लागू किया गया है। 21 अगस्त 2025 तक, अटल पेंशन योजना के तहत कुल नामांकन 8.11 करोड़ को पार कर गए, जिनमें से 1.17 करोड़ से अधिक नए सदस्य वित्त वर्ष 2024-25 में नामांकित हुए। अटल पेंशन योजना देश की महिला आबादी और युवा पीढ़ी के बीच तेजी से लोकप्रिय हो रही है। वित्त वर्ष 2024-25 में, कुल नामांकनों में से 55% महिलाएं थीं।

 

वित्त वर्ष 2024-25 में, बैंकिंग जगत ने एपीवाई की सफलता के प्रति उत्कृष्ट प्रतिबद्धता दिखाई।

 

पब्लिक सेक्टर बैंकों में, बैंक ऑफ इंडिया (126%), भारतीय स्टेट बैंक (123%), और इंडियन बैंक (118%) सबसे आगे रहे, इसके बाद पंजाब एंड सिंध बैंक (106%) और यूनियन बैंक ऑफ इंडिया (103%) का स्थान रहा।

 

प्रमुख निजी बैंकों की श्रेणी में, आईडीबीआई बैंक ने 145% उपलब्धि के साथ सबसे बेहतर प्रदर्शन किया।

 

क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक (आरआरबी) अग्रणी रहे, जिनमें झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक (393%) और त्रिपुरा ग्रामीण बैंक (351%) ने मानक स्थापित किए, साथ ही पंजाब ग्रामीण बैंक (157%), आंध्र प्रदेश ग्रामीण बैंक (152%) और असम ग्रामीण विकास बैंक (149%) ने भी अच्छा प्रदर्शन किया। एयू स्मॉल फाइनेंस बैंक ने भी 109% उपलब्धि के साथ महत्वपूर्ण योगदान दिया।

 

सहकारी बैंकों ने भी अपनी छाप छोड़ी, जिनमें श्री महिला सेवा सहकारी बैंक (400%), आंध्र प्रदेश राज्य सहकारी बैंक (207%), साउथ केनरा डीसीसी बैंक (142%), मिजोरम को-ऑप एपेक्स बैंक (125%) और साबरकांठा डीसीसी बैंक (111%) शामिल हैं।

 

राज्य स्तर पर, झारखंड (184%), बिहार (175%), और त्रिपुरा (158%) जैसे राज्य स्तरीय पिछड़ा वर्ग (एसएलबीसी) शीर्ष पर रहे, जबकि पश्चिम बंगाल (148%) और असम (130%) ने भी अच्छा प्रदर्शन किया। जिला स्तर पर, शीर्ष 5 एलडीएम सिवनी, मध्य प्रदेश (530%), पाकुड़, झारखंड (509%), गया, बिहार (289%), मालदा, पश्चिम बंगाल (285%), और मुर्शिदाबाद, पश्चिम बंगाल (268%) थे।

 

शाखा स्तर पर, सबसे अधिक नामांकन इंडियन बैंक की मनकापुर शाखा (5,123), बैंक ऑफ इंडिया की सकरा शाखा (5,050), बैंक ऑफ इंडिया की कांति टी.पी.सी. शाखा (4,224), पंजाब नेशनल बैंक की गौरारू शाखा (4,200) और इंडियन बैंक की बड़ागांव शाखा (3,883) से हुए। कुल मिलाकर, ये उपलब्धियां एपीवाई की पहुंच बेहतर करने और लाखों लोगों के लिए पेंशन सुरक्षा सुनिश्चित करने में बैंकों और संस्थानों के अथक प्रयासों को प्रदर्शित करती हैं।

 

लाखों लोगों के लिए एपीवाई एक विश्वसनीय सेवानिवृत्ति समाधान के रूप में उभर रहा है, ऐसे में पीएफआरडीए ने बैंकों और डाकघरों के साथ मिलकर काम करने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि प्रत्येक पात्र नागरिक इस योजना के अंतर्गत कवर हो और सभी के लिए सम्मानजनक भविष्य सुनिश्चित हो।

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पीके/केसी/एमएम/डीके



(Release ID: 2160701)


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