निर्वाचन आयोग
बिहार चुनाव: ईसीआईनेट पर इंडेक्स कार्ड प्रकाशित
Posted On:
17 NOV 2025 5:45PM by PIB Delhi
- निर्वाचन आयोग (ईसीआई) ने बिहार विधानसभा चुनाव, 2025 सफलतापूर्वक आयोजित करने के साथ ही पहली बार कई उपलब्धियां हासिल की हैं।
- चुनाव आरंभ करने के साथ ही निर्वाचन आयोग ने 17 नई पहल की हैं। (अनुलग्नक)
- 1951 के बाद से बिहार में 67.13 प्रतिशत* मतदान हुआ, जो सर्वाधिक है।
- 1951 के बाद से बिहार में सर्वाधिक 71.78 प्रतिशत* महिला मतदाताओं की भागीदारी रही।
- बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के बाद 38 जिलों में से किसी भी मतदाता या 12 मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों में से किसी ने भी गलत तरीके से मतदाता शामिल करने या हटाने करने के खिलाफ अपील दायर नहीं की।
- बिहार विधानसभा चुनाव, 2025 में पुनर्मतदान शून्य रहा।
- 2,616 उम्मीदवारों में से किसी ने भी पुनर्मतदान का अनुरोध नहीं किया।
- 12 मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों में से किसी ने भी पुनर्मतदान का अनुरोध नहीं किया।
- मतगणना 243 मतगणना पर्यवेक्षकों और 2,616 उम्मीदवारों द्वारा नियुक्त 31,768 मतगणना एजेंटों की उपस्थिति में 243 निर्वाचन अधिकारियों (आरओ) द्वारा की गई।
- एक अन्य प्रमुख पहल में बिहार चुनाव और आठ विधानसभा क्षेत्रों के उपचुनावों के इंडेक्स कार्ड** पहली बार चुनाव परिणामों की घोषणा के 72 घंटों के भीतर उपलब्ध करा दिए गए। ईसीआई नेट आरंभ होने से पहले इंडेक्स कार्ड के प्रकाशन में कई सप्ताह या महीनों का समय लगता था क्योंकि आंकड़े फील्ड अधिकारियों द्वारा हाथ से भरे जाते थे।
- प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में 5 क्रमरहित रूप से चयनित मतदान केन्द्रों (कुल 1,215 मतदान केन्द्र) के लिए मतदाता पुष्टि पर्चियों (वीवीपीएटी) पर्चियों का अनिवार्य सत्यापन किया गया और इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में कहीं कोई विसंगति नहीं पाई गई ।
- इंडेक्स कार्ड रिपोर्ट में कई आयामों जैसे उम्मीदवार, मतदाता, डाले गए वोट, गिनती किये गए वोट, पार्टी-वार और उम्मीदवार-वार डाले गए वोट आदि के आंकड़े शामिल हैं। इंडेक्स कार्ड रिपोर्टों को दोनों प्लेटफार्मों यानी ईसीआईनेट ऐप और ईसीआई वेबसाइट पर देखा जा सकता है।
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*दिनांक 13.11.2025 के प्रेस नोट में दिए गए आंकड़ों में सेना के मतदाता और डाक मतपत्र शामिल नहीं हैं। सभी समावेशी अंतिम आंकड़े ईसीआई इंडेक्स कार्ड के माध्यम से साझा किए जा रहे हैं।
**इंडेक्स कार्ड, चुनाव संबंधी आंकड़ों की सुलभता बढ़ाने के लिए आयोग की एक गैर-वैधानिक, स्व-प्रेरित पहल है। ये रिपोर्ट इंडेक्स कार्ड में भरे गए द्वितीयक आंकड़ों से केवल अकादमिक और शोध उद्देश्यों के लिए तैयार की जाती हैं। प्राथमिक आंकड़े, संबंधित निर्वाचन अधिकारियों द्वारा तैयार वैधानिक प्रपत्रों में दर्ज होते हैं और वैधानिक प्रपत्रों में प्रदर्शित आंकड़े ही अंतिम हैं।
अनुलग्नक
चुनाव आयोग की 17 बिहार प्रथम पहल
मतदाता सूची
- बिहार में मतदाता सूची त्रुटिहीन बनाने के लिए शून्य अपील के साथ विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान चलाया गया ताकि यह सुनिश्चित हो कि कोई भी पात्र मतदाता न छूटे, साथ ही कोई भी अपात्र व्यक्ति इसमें शामिल न हो।
- बूथ स्तरीय अधिकारी का पारिश्रमिक दोगुना किया गया, बूथ स्तरीय पर्यवेक्षकों और मतदान/मतगणना कर्मचारियों, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल, निगरानी टीमों और लघु स्तर पर तैनात पर्यवेक्षकों का पारिश्रमिक बढ़ाया गया। निर्वाचक पंजीकरण अधिकारी और सहायक निर्वाचक पंजीकरण अधिकारी के लिए पहली बार मानदेय बढ़ाया गया।
- मतदाता सूची अद्यतन किये जाने के 15 दिनों के भीतर इलेक्ट्रॉनिक वोटर आईडी कार्ड का त्वरित वितरण किया गया।
- क्षेत्र स्तर पर पारदर्शिता बढ़ाने के लिए बूथ स्तरीय अधिकारी के लिए मानक फोटो पहचान पत्र।
प्रशिक्षण
- बिहार के बूथ लेवल अधिकारियों (बीएलओ) को पहली बार भारत अंतर्राष्ट्रीय लोकतंत्र एवं चुनाव प्रबंधन संस्थान – आईआईआईडीईएम - दिल्ली में प्रशिक्षित किया गया।
- बिहार में सभी राजनीतिक दलों द्वारा नियुक्त बूथ स्तरीय एजेंटों – बीएलए को पहली बार आईआईआईडीईएम में मतदाता सूची तैयार करने में सहायता के विभिन्न पहलुओं का प्रशिक्षण दिया गया।
- चुनाव के दौरान कानून व्यवस्था की तैयारियां सुदृढ़ करने के लिए बिहार पुलिस के लिए विशेष सत्र आयोजित किए गए।
चुनाव संचालन
- मतदाताओं की भीड़भाड़ कम करने के लिए प्रति मतदान केंद्र बारह सौ मतदाताओं की सीमा निर्धारित की गई, साथ ही ऊंचे आवासीय परिसरों और सोसायटियों में अतिरिक्त मतदान केंद्र बनाये गये।
- मतदाताओं की सुविधा के लिए मतदान केंद्रों के बाहर मोबाइल जमा कराने की सुविधा स्थापित की गई।
- मतदाता सूचना पर्चियों – वीआईएस - पर प्रमुखता से सीरियल और भाग संख्या प्रदर्शित की गई।
- ईसीआईनेट ऐप पर मतदाताओं और मतदान कर्मचारियों के लिए सेवाएं प्रदान करने वाले महत्वपूर्ण मॉड्यूल सक्रिय किए गए।
- पीठासीन अधिकारी द्वारा लगभग वास्तविक समय के आधार पर मतदान के आंकड़े ईसीआईनेट पर अद्यतन किये गये, ताकि इसमें कम से कम देरी हो।
- मतदान केन्द्र के 100 मीटर के बाहर उम्मीदवारों को बूथ स्थापित करने की अनुमति दी गयी।
- महत्वपूर्ण मतदान गतिविधियों की निगरानी के लिए सभी मतदान केंद्रों पर शत-प्रतिशत वेबकास्टिंग सुविधा सुनिश्चित की गई।
- ईवीएम मतपत्रों पर उम्मीदवारों की रंगीन तस्वीरें जारी की गयीं और उन्हें अधिक पठनीय बनाया गया।
मतगणना
- फॉर्म 17सी और ईवीएम डेटा के बीच मेल न होने की स्थिति में और जहां भी मॉक पोल डेटा गलती से मिटाया न गया, वहां अनिवार्य मतदाता पुष्टि पर्ची गणना के निर्देश दिये गये।
- डाक मतपत्रों की गणना के बाद ही ईवीएम/वीवीपीएटी की गणना का अंतिम से पहले का चरण आरंभ किया गया।
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पीके/केसी/एकेवी/एसके
(Release ID: 2190953)
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