नीति आयोग
नीति आयोग ने हिमालय के ऊंचे क्षेत्रों में सभी मौसमों में नल के पानी की आपूर्ति पर विचार-विमर्श सत्र का आयोजन किया
प्रविष्टि तिथि:
09 OCT 2025 7:33PM by PIB Delhi
नीति आयोग ने आज एक विचार- विमर्श सत्र में हिमालय के ऊँचे क्षेत्रों में बारहमासी नल जल आपूर्ति पर एक संग्रह जारी किया। इस सत्र में जल शक्ति मंत्रालय - पेयजल एवं स्वच्छता विभाग, हिमालयी राज्यों लद्दाख और हिमाचल प्रदेश, शिक्षा जगत - आईआईटी मंडी और विभिन्न राज्यों में इस क्षेत्र में कार्यरत जमीनी स्तर के संगठनों के विशेषज्ञ प्रतिभागी शामिल हुए। सत्र के दौरान, जीवन और आजीविका के लिए जल सुरक्षा में सुधार हेतु क्षेत्र-स्तरीय जानकारी पर चर्चा की गई।
चर्चा के दौरान, जल और प्राकृतिक संसाधन संरक्षण के लिए केंद्र और राज्यों दोनों द्वारा किए गए हस्तक्षेपों में समुदाय की भागीदारी पर जोर दिया गया। इससे परिसंपत्तियों के सामुदायिक स्वामित्व को गहरा करने और जल सुरक्षा सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी। भूगोल, कठोर मौसम, कार्यान्वयन के मुद्दों, प्रौद्योगिकी के उपयोग, डेटा संग्रह और विश्लेषण से उत्पन्न चुनौतियों पर काबू पाने पर प्रकाश डाला गया। सुझाए गए समाधानों में अन्य बातों के अलावा टिकाऊ कृषि मॉडल बनाना, कृषि वानिकी विकसित करना, स्प्रिंग्स कायाकल्प, सुनिश्चित जल आपूर्ति के लिए अभिनव ड्रिप आधारित जल आपूर्ति प्रणालियों और इंजीनियरिंग सामग्री को अपनाना शामिल था। विशेषज्ञों ने सेवा वितरण की दक्षता में सुधार के तरीके सुझाए। स्थानीय समुदाय की क्षमता निर्माण ने उनकी भागीदारी को बनाए रखने में मदद की है। ऐसे कार्यों में शामिल समुदाय के सदस्यों की औपचारिक कौशल मान्यता प्रणाली उनकी बेहतर आजीविका और रोजगार के अवसरों के लिए आवश्यक है।
इस संग्रह में हिमालयी राज्यों से केस स्टडी, नवाचार और क्षेत्रीय अनुभवों को एक साथ प्रस्तुत किया गया है, जो दर्शाता है कि कैसे प्रौद्योगिकी, सामुदायिक सहभागिता और नीति एकीकरण सबसे चुनौतीपूर्ण इलाकों में भी स्थायी जल आपूर्ति सुनिश्चित कर सकते हैं।
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पीके/केसी/जेएस
(रिलीज़ आईडी: 2177143)
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